भारतीय घरों में आमतौर पर पारंपरिक भोजन की शुरुआत दाल, सब्जी, चपाती, चावल और अचार से करते है और भोजन के अंत में मिठाई दी जाती है। हमारे बुजुर्ग भी भोजन की शुरुआत मसालों और अंत में कुछ मीठे खाने पर बल देते हैं। लेकिन क्या कभी आपने सोचा है कि हम पहले मीठा और फिर मसालेदार खाना क्यों नहीं खाते? शायद नहीं, तो आइए इस आर्टिकल के माध्यम से जानें कि खाने की शुरुआत में मसाले से और अंत मीठा क्यों खाना चाहिये।
इसे भी पढ़ें: इन सीक्रेट्स को आजमाएं खाने का स्वाद बढ़ाएं!
क्यों खाते हैं मिठाई
भोजन की शुरुआत में मसाले और अंत में कुछ मीठे खाने का तर्क के पीछे वैज्ञानिक तर्क भी है। जब हम मसालेदार भोजन खाते हैं तो हमारे पेट के अंदर पाचन तत्व एवं अम्ल सक्रिय हो जाते हैं। इससे पाचन तंत्र ठीक तरह से संचालित होता है। मसालेदार खाना इस बात को भी सुनिश्चित करता है कि पाचन ठीक तरह से काम कर रहा है। दूसरी तरफ मीठे में कार्बोहाइड्रेट होता है जो पाचन को धीमा करता है।
इसे भी पढ़ें: पार्टी में ओवरईटिंग से बढ़ता है वजन, खाते समय फॉलो करें ये 7 टिप्स
इसी समय, चीनी का सेवन अमिनो एसिड ट्रीप्टोफन के अवशोषण को बढ़ाता है। ट्रीप्टोफन सेरोटोनिन न्यूरोट्रांसमीटर के स्तर में वृद्धि करता है, जो पूरा होने की भावनाओं से जुड़ा होता है। और हमें पूर्णता का अहसास भोजन के अंत में अनुभव करने की जरूरत होती हैं। यह कुछ मसालेदार से खाने की शुरुआत और मिठाई से अंत के पीछे की परंपरा का तर्क है।
मीठे के तौर इन फूड का करें सेवन
हालांकि, सफेद चीनी से बना मीठा सेहत के लिए अच्छा नहीं माना जाता है। यह न केवल चीनी के सेवन को बढ़ाता है बल्कि लंबे समय तक इसका सेवन करने से मोटापा और अन्य स्वास्थ्य संबंधित समस्याओं का खतरा भी बढ़ जाता है। इसलिए कोशिश करें कि घर की बनी मिठाई का ही सेवन करें और मिठाई बनाते समय उसमें गुड़ य ब्राउन शुगर का इस्तेमाल करें। वास्तव में आर्गेंनिक गुड़ आपके लिए सबसे अच्छा हो सकता है। इसके अलावा आप गुड़ से बनने वाले ओट्स और नट्स के लड्डू भी ट्राई कर सकते हैं।
ऐसे अन्य स्टोरीज के लिए डाउनलोड करें: ओनलीमायहेल्थ ऐप
Read More Articles On Healthy Eating In Hindi