ब्‍लड सर्कुलेशन नियमित करने के लिए अधो मुख व्रक्‍सासन करने का तरीका

यूं तो शरीर में ब्‍लड सर्कुलेशन को बढ़ाने के लिए कई उपचार विकल्‍प उपलब्‍ध है। लेकिन दवाएं और योग विशेष रूप से अधो मुख व्रक्‍सासन, ब्‍लड सर्कुलेशन को बढ़ाने वाला सबसे अच्‍छा विकल्‍प माना जाता है।
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ब्‍लड सर्कुलेशन नियमित करने के लिए अधो मुख व्रक्‍सासन करने का तरीका


अपने अद्भुत फायदों के कारण आज योग दुनिया भर में जाना जाता है। सर्दी और खांसी से लेकर अर्थराइटिस, डायबिटीज और अन्‍य दर्द प्रबंधन से जुड़ी सभी समस्‍याओं का इलाज योग से संभव है। यहां तक की ब्‍लड सर्कुलेशन को सुचारु करने के लिए भी आप योग की मदद ले सकते हैं।  

ब्‍लड हमारे शरीर के सबसे महत्‍वपूर्ण घटकों में से एक है। एक उचित और स्थिर ब्‍लड सर्कुलेशन हमारे शरीर के सामान्‍य कामकाज को बनाये रखने के लिए आवश्‍यक होता है। लेकिन ब्‍लड सर्कुलेशन में परेशानी आने पर रक्‍त के थक्‍के, तंत्रिका, पैरों में सूजन आदि जैसी कई स्‍वास्‍थ्‍य समस्‍याएं हो सकती है।

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ब्‍लड सर्कुलेशन बढ़ाने में मददगार है अधो मुख व्रक्‍सासन

हालांकि शरीर में ब्‍लड सर्कुलेशन को बढ़ाने के लिए कई उपचार विकल्‍प उपलब्‍ध है। लेकिन दवाएं और योग विशेष रूप से अधो मुख व्रक्‍सासन, ब्‍लड सर्कुलेशन को बढ़ाने वाला सबसे अच्‍छा विकल्‍प माना जाता है। अधो मुख व्रक्‍सासन संस्‍कृत शब्‍द से लिया गया है, जिसमें 'मुख' का अर्थ 'चेहरा', 'अधो' का अर्थ 'नीचे', 'व्रक्‍सा' का अर्थ 'पेड़' और 'आसन' का अर्थ 'मुद्रा' है।

क्‍योंकि हमारा चेहरा पेड़ की तरह नीचे की ओर होता है, तो अधो मुख व्रक्‍सासन को करने से हमारे शरीर में रक्‍त की ताजा आपूर्ति होती है। शुरुआत में इस आसन को करने में परेशानी हो सकती है। इसलिए इसे दीवार के समर्थन के साथ किया जाता है। ऐसा करने से गिरने के डर पर भी काबू पाने में मदद मिलती है। धीरे-धीरे आप इस आसन को बिना किसी सहारे के कर सकते हैं।

 

अधो मुख व्रक्‍सासन करने का तरीका

  • दीवार से कुछ इंच दूर जमीन पर अपने हाथों को रखें।
  • कलाई को अपने कंधे की सीध पर रखें।
  • फिर एक घुटने को मोड़ते हुए अपने दूसरे पैर पर रखें।
  • जब आप इस स्थिति में आरामदायक महसूस करें तो पैरों को सीधा कर लें।
  • फिर धीरे-धीरे दूसरे पैर को ऊपर उठा लें और उसे ऐसी ही मुद्रा में खुद को आरामदायक महसूस होने तक रखें।
  • सुनिश्चित करें कि आपका सिर ऊपरी बाजू के बीच में हो।
  • एक या दो मिनट के लिए मुद्रा में रहें और एक गहरी सांस लें।
  • धीरे-धीरे एक-एक करके अपने पैरों को नीचे लायें।

यह आसन किसी के लिए भी शुरुआत में मुश्किल हो सकता है, लेकिन एक बार इसे करने की आदत हो जाने पर यह आसान हो जाता है।


अधो मुख व्रक्‍सासन के अन्य लाभ

  • यह कंधों, हाथ और कलाई को मजबूत करने में मदद करता है।
  • तनाव को कम कर दिमाग को रिलैक्‍स करता है।
  • शरीर के संतुलन में सुधार करने में मदद करता है और स्थिरता लाता है।
  • पेट में खिंचाव में मदद करता है।
  • हल्‍के डिप्रेशन के शिकार लोगों की मदद करता है।


सावधानी

जिन लोगों की गर्दन, पीठ या कंधे में चोट है, उन लोगों को इस आसन को करने से बचना चाहिए। इसके अलावा दिल की समस्‍याओं और हाई ब्‍लड प्रेशर से ग्रस्‍त लोगों को भी योग प्रशिक्षक की देखरेख में इस आसन को करना चाहिए।

इस लेख से संबंधित किसी प्रकार के सवाल या सुझाव के लिए आप यहां पोस्‍ट/कमेंट कर सकते है।

Image Source : Getty

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