
न्यूरोपैथी एक ऐसी स्थिति है, जिसमें तंत्रिका तंत्र (नर्व्स) को नुकसान पहुंचता है, जिसके कारण व्यक्ति को कई तरह के समस्याएं महसूस होती हैं। हालांकि, कई बार ऐसा देखा गया है कि लोगों को लंबे समय तक समझ ही नहीं आता है कि उन्हें न्यूरोपैथी की समस्या है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि लोग न्यूरोपैथी के शुरुआती लक्षणों इग्नोर कर देते हैं और जब संमस्या गंभीर होती है तब इसका पता चलता है। यह समस्या मुख्य रूप से हाथों और पैरों में होती है, लेकिन गंभीर स्थिति में यह शरीर के अन्य हिस्सों को भी प्रभावित कर सकती है। इस लेख में यथार्थ अस्पताल, ग्रेटर नोएडा के डिपार्टमेंट ऑफ न्यूरोलॉजी के डायरेक्टर डॉ. अमित श्रीवास्तव से जानिए न्यूरोपैथी में कैसे लक्षण नजर आते हैं?
डॉक्टर का कहना है कि शरीर में सब कुछ तंत्रिकाओं द्वारा नियंत्रित होता है, इसलिए शरीर के सभी अंग, गैस्ट्रिक सिस्टम, ब्रेन मेमोरी, ब्लड प्रेशर और हार्ट प्रभावित होता है।
न्यूरोपैथी के लक्षण क्या हैं?
1. झुनझुनाहट और जलन
शरीर के प्रभावित हिस्सों में विशेष रूप से हाथों और पैरों में झुनझुनी, जलन और सुई चुभने जैसी स्थिति महसूस हो सकती है। यह बहुत सामान्य लक्षण है जो न्यूरोपैथी के शुरुआत में दिखाई देता है। लोग कई बार इस लक्षण को इग्नोर कर देते हैं।
2. सुन्नपन
यदि आप अपने हाथों या पैरों में सुन्नपन महसूस करते हैं, तो यह भी न्यूरोपैथी का संकेत हो सकता है। यह स्थिति आपकी नसों के खराब होने के कारण होती है, जिससे मस्तिष्क को सही संदेश नहीं मिल पाता। अगर आपको अक्सर इस समस्या की शिकायत रहती है तो आप डॉक्टर से सलाह लें।
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3. दर्द
नसों में सूजन या दबाव के कारण, प्रभावित हिस्से में असहनीय दर्द हो सकता है। यह दर्द हल्का या तेज हो सकता है और कभी-कभी जलन और कांपने जैसा भी महसूस हो सकता है।
4. मांसपेशियों की कमजोरी
यदि न्यूरोपैथी हाथों या पैरों की नसों को प्रभावित करती है, तो मांसपेशियों में कमजोरी की समस्या भी हो सकती है। इससे चलने, उठने या सामान पकड़ने में कठिनाई हो सकती है। जब नसें प्रभावित होती हैं, तो संतुलन बनाए रखना मुश्किल हो सकता है। यह विशेष रूप से पैरों में महसूस होता है, जिससे गिरने का खतरा बढ़ जाता है।
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न्यूरोपैथी के कारण
1. डायबिटीज
न्यूरोपैथी का सबसे सामान्य कारण डायबिटीज है। जब ब्लड शुगर का स्तर लंबे समय तक बिगड़ा रहता है, तो यह नर्व्स को नुकसान पहुंचा सकता है। इसे डायबिटिक न्यूरोपैथी कहा जाता है और यह हाथ और पैरों में सबसे अधिक असर डालता है। डायबिटीज के मरीजों को अपने ब्लड शुगर को कंट्रोल रखना चाहिए ताकि नर्व्स को नुकसान से बचाया जा सके।
2. थायराइड का असंतुलन
हाइपोथायराइडिज्म भी न्यूरोपैथी का एक कारण हो सकता है। थायराइड हार्मोन का असंतुलन नर्व्स को नुकसान पहुंचा सकता है जिससे झुनझुनी, दर्द और सुन्नपन जैसे लक्षण उभर सकते हैं। डायबिटीज और थायराइड जैसी बीमारियों से बचने के लिए हेल्दी डाइट और नियमित एक्सरसाइज को अपनाना चाहिए। बैलेंस डाइट में प्रोटीन, फाइबर और विटामिन्स शामिल करना जरूरी है।
3. विटामिन B12 की कमी
नर्व्स की सेहत के लिए विटामिन B12 बहुत जरूरी है। इसकी कमी से नर्व्स कमजोर हो सकती हैं और न्यूरोपैथी जैसी समस्याएं हो सकती हैं। बी12 की कमी विशेषकर वेजिटेरियन लोगों में ज्यादा देखी जाती है। यदि आपके भोजन में विटामिन B12 की कमी है, तो इसके लिए डॉक्टर की सलाह पर सप्लीमेंट्स लें।
निष्कर्ष
न्यूरोपैथी एक गंभीर समस्या हो सकती है, इसके लक्षणों का समय पर पहचानना और सही इलाज लेना जरूरी है। यदि आप किसी भी प्रकार के लक्षण जैसे झुनझुनी, दर्द या सुन्नपन महसूस कर रहे हैं, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें। सही इलाज और लाइफस्टाइल में बदलाव के साथ आप न्यूरोपैथी को कंट्रोल कर सकते हैं।
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