
Rare Disease Day 2023 In Hindi: हर साल 28 फरवरी को दुर्लभ रोग दिवस या रेयर डिजीज डे (Rare Disease Day) के रूप में मनाया जाता है। इस दिन को मनाने का उद्देश्य ऐसे रोगों के बारे में समाज में जागरुकता फैलाना है, जिनके बारे में लोगों को ज्यादा जानकारी नहीं है। आज भी हमारे देश में कई ऐसी बीमारियां हैं, जिनके बारे में लोगों को पता ही नहीं है। आपको बता दें कि रेयर डिजीज डे की स्थापना यूरोपियन यूनियन ने साल 2008 में की थी। दुर्लभ रोग दिवस को मनाने का एक मकसद यह सुनिश्चित करना है कि ऐसी बीमारियों से पीड़ित लोगों को अच्छे चिकित्सा उपचार की सुविधा आसानी से मिल सके। यह दिन दुर्लभ बीमारियों से पीड़ित लोगों की जरूरतों को पूरा करने के लिए शोधकर्ताओं और नीति निर्माताओं, दोनों को शामिल करने और प्रोत्साहित करने के लिए मनाया जाता है। आइए जानते हैं दुर्लभ रोग दिवस का इतिहास और इससे जुड़ी कुछ जरूरी बातें -
दुर्लभ रोग दिवस का इतिहास - History Of Rare Disease Day In Hindi
दुर्लभ रोग दिवस हर साल फरवरी के अंतिम दिन मनाया जाता है। यह पहली बार 29 फरवरी 2008 को यूरोप और कनाडा में मनाया गया था। दिलचस्प बात यह है कि इस तारीख को 'रेयर डिजीज डे' मनाने के लिए इसलिए चुना गया क्योंकि यह एक दुर्लभ दिन है, जो हर 4 साल में एक बार आता है।
दुर्लभ रोग क्या है? - What Is Rare Disease In Hindi
बता दें कि दुर्लभ रोग वो होते हैं, जो आबादी के एक छोटे प्रतिशत को प्रभावित करते हैं। दुर्लभ रोग शरीर के कई अंगों को प्रभावित करते हैं और अक्सर विकलांगता या समय से पहले मौत का कारण बनते हैं। चूंकि अधिकांश दुर्लभ रोगों के लिए बहुत कम या लगभग कोई मौजूदा इलाज नहीं हैं, इसलिए मरीजों की परेशानी और अधिक बढ़ जाती है।
इसे भी पढ़ें: इस बीमारी की वजह से काली पड़ जाती है बच्चों की त्वचा, जानें इसके लक्षण, कारण और इलाज
दुर्लभ रोग दिवस 2023 थीम - Rare Disease Day 2023 Theme In Hindi
इस साल दुर्लभ रोग दिवस 2023 यानि रेयर डिजीज डे की थीम शेयर योर कलर्स (Share Your Colors) तय की गई है। यह रोगियों, सरकारों और विश्व नेताओं से दुर्लभ रोगों से पीड़ित लोगों से जुड़े भेदभाव को समाप्त करने और इन रोगियों के सामने आने वाली कठिनाइयों के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए मिलकर काम करने की अपील है।
इसे भी पढ़ें: इस गंभीर बीमारी के कारण बंदर जैसा हुआ इस युवक का चेहरा, पूरे शरीर में उगते हैं बाल
भारत में दुर्लभ रोग - Rare Diseases In India
भारत में ऑर्गेनाइजेशन फॉर रेयर डिजीजेस इन इंडिया (ORDI), एक एक गैर-लाभकारी संगठन है, जो दुर्लभ बीमारियों से पीड़ित मरीजों को संसाधनों की पहुंच सुनिश्चित करने के लिए काम करता है। यह संस्थान दुर्लभ रोगों के बारे में जागरूकता को भी बढ़ावा देता है। ORDI एक बीमारी को तब दुर्लभ मानता है, अगर यह हर 5000 लोगों में से 1 को प्रभावित करती है। ORDI ने भारत में 263 दुर्लभ बीमारियों को सूचीबद्ध किया है। इनमें एसेंथोसाइटोसिस कोरिया (Acanthocytosis Chorea), फ्रैगाइल एक्स-सिंड्रोम (Fragile X-Syndrome), गौचर डिजीज (Gaucher Disease) आदि शामिल हैं।