Psoriasis Symptoms And Prevention In Hindi: सोरायसिस एक तरह की ऑटोइम्यून डिजीज है। everydayhealth.com में प्रकाशित लेख के अनुसार, सोरायसिस होने पर त्वचा में मोटी, सूखी, फीकी पपड़ी नजर आने लगती है। इसमें खुजली हो सकती है और दर्द वाले धब्बे भी होते हैं। सोरायसिस से शरीर का कोई भी हिस्सा प्रभावित हो सकता है। आमतौर पर सोरायसिस से प्लेक अक्सर कोहनी, घुटनों, स्कैल्प, पीठ, हथेलियों और पैरों पर विकसित होते हैं। किसी भी ऑटोइम्यून डिजीज की तरह, सोरायसिस तब होता है जब आपका इम्यून सिस्टम हेल्दी सेल्स को अटैक करने लगता है। वैसे, इम्यून सिस्टम का काम होता है, संक्रामक जर्म्स पर अटैक करना है। जब आपका अपना सिस्टम अपनी ही हेल्दी सेल्स को अटैक करने लगे, तो उसे ऑटोइम्यून डिजीज के नाम से जाना जाता है।" सोरायसिस कई तरह के होते हैं। mayoclinic.org के अनुसार, "प्लेक सोरायसिस, गुटेट सोरायसिस, इनवर्स सोरायसिस, नेल सोरायसिस आदि सोरायसिस के कुछ प्रकार हैं। इनके लक्षणों को जानकर आप इनसे बचाव कर सकते हैं।"
सोरायसिस के लक्षण- Psoriasis Symptoms In Hindi
नई दिल्ली स्थित अभिवृत एस्थेटिक्स के कॉस्मेटोलॉजिस्ट और स्किन एक्सपर्ट डॉ. जतिन मित्तल कहते हैं, "सोरायसिस के लक्षण उसके प्रकार पर आधारित होते हैं। हालांकि, कुछ सामान्य लक्षण हर तरह के सोरायसिस में नजर आते हैं। इनमें से कुछ इस प्रकार हैं-
टॉप स्टोरीज़
- शरीर के किसी हिस्से में धब्बेदार दाना हो सकता है। वैसे, हर व्यक्ति में अलग-अलग तरह का दाना दिखता है, जैसे रूसी जैसी पपड़ीदार धब्बे होना। इसके अलावा, शरीर के कई हिस्सों में बड़े-बड़े दाने हो सकते हैं।
- शरीर में हो रहे रैशेज अलग-अलग रंग के हो सकते हैं, इसमें ब्राउन, ब्लैक ग्रे कलर शामिल हैं।
- छोटे आकार के दाने या फिर छोटे हिस्से में रैशेज हो सकता है। इस तरह के लक्षण आमतौर पर बच्चों में दिखाई देते हैं।
- सूखी, फटी हुई स्किन, जिसमें से खून आ सकता है। इसमें खुजली, जलन या खराश भी हो सकती है।
- कई बार स्किन में साइक्लिक रैशेज हो जाते हैं, जो हफ्तों से महीनों तक बढ़ते रहते हैं। फिर धीरे-धीरे कम होने लगते हैं।"
सोरायसिस से कैसे करें बचाव- Prevention Of Psoriasis In Hindi
डॉ. जतिन मित्तल कहते हैं, "वैसे तो सोरायसिस के प्रकार पर उसका ट्रीटमेंट निर्भर करता है। हालांकि, सोरायसिस किसी भी प्रकार का हो, आप कुछ विशेष किस्म के उपाय आजमाकर, इनसे बचाव कर सकते हैं-
- सोरायसिस से बचाव के लिए जरिए है कि आप रोजाना नहाएं। अपनी त्वचा को जोर-जोर से रगड़ें नहीं, बल्कि हल्के हाथों से रगड़ें।
- अपनी स्किन को हमेशा हाइड्रेट रखें। स्किन को ड्राई न होने दें। ड्राईनेस की वजह से सोरायसिस की समस्या बिगड़ सकती है।
- रात को सोते समय हमेशा अपनी प्रभावित हिस्से को ढककर रखें।
- अगर किसी को सोरायसिस है, तो उन्हें धूप के संपर्क से बचना चाहिए। अगर धूप में जाना ही है, तो प्रभावित हिस्से को ढककर रखें।
- सोरायसिस शरीर के जिस भी हिस्से में हुआ है, वहां आमतौर पर खुजली होती है। लेकिन, आप खुजलाए नहीं।
- उन चीजों से हमेशा दूर रहें, जो सोरायसिस को ट्रिगर कर सकते हैं।
- सोरायसिस से बचाव एक अचूक नुस्खा यही है कि अच्छी जीवनशैली अपनाएं, अपने खानपान की आदतों को बेहतर करें।"
अक्सर पूछे जाने वाले सवाल
सोरायसिस को जड़ से कैसे खत्म किया जा सकता है?
डॉ. जतिन मित्तल की मानें, तो सोरायसिस स्किन से जुड़ी प्रॉब्लम है। इसे जड़ से खत्म करने के लिए डॉक्टर से ट्रीटमेंट करवाना जरूरी है। हालांकि, जिसे सोरायसिस है, उन्हें अपनी डाइट में ज्यादा से ज्यादा फलों को शामिल करना चाहिए, करेले, खीरे और चुकुरंदर का जूस पीना चाएह। इसके अलावा, अपनी डाइट में विटामिन-ई को ज्यादा से ज्यादा शामिल करना चाहिए। इसके लिए, अखरोट, नट्स खा सकते हैं।
सोरायसिस के 3 लक्षण क्या हैं?
डॉ. जतिन मित्तल के अनुसार, "सोरायसिस के लक्षण उसके प्रकार पर निर्भर करते हैं। हालांकि, सोरायसिस होने पर आमतौर पर त्वचा में छोटे या बड़े धब्बेदार दाने हो जाते हैं, खुजली होती है और रूसी जैसी त्वचा नजर आती है।"
किस विटामिन की कमी से सोरायसिस होता है?
सोरायसिस को ऑटो इम्यून डिजीज कहा जाता है। विटामिन-डी की कमी के कारण सोरायसिस हो सकता है।
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