हमारा शरीर 50 से ज्यादा हार्मोन से बना हुआ है। जब हम खानपान में लापरवाही करते हैं या लाइफस्टाइल में किसी तरह की गलती हैं, तो शरीर के हार्मोन भी गड़बड़ा जाते हैं। थायराइड, मोटापा, कोर्टिसोल, इंसुलिन और पीरियड्स संबंधी समस्या हार्मोन में गड़बड़ी के कारण ही होती है। आजकल की जीवनशैली में कम उम्र के लोगों को भी हार्मोन संबंधी समस्याएं होती हैं। हार्मोन संबंधी परेशानियों से राहत पाने के लिए कई तरह के डाइट प्लान, एक्सरसाइज और फिजिकल वर्कआउट करते हैं, लेकिन यह समस्या ऐसी है, जो एक बार हो जाए, तो लंबे समय तक आपको परेशान कर सकती है।
जीवनशैली के कारण अगर आप भी इन दिनों किसी हार्मोनल समस्या से जूझ रहे हैं और कई तरह के डाइट प्लान को फॉलो करके थक गए तो, अब वक्त आ चुका है कुछ खास करने का। हार्मोन को बैलेंस करने के लिए आपको अपनी जीवनशैली में प्राणायाम को भी शामिल करना चाहिए। गट व हार्मोन हेल्थ कोच डाइटिशियन मनप्रीत कालरा का कहना है कि रोजाना कुछ खास तरह के प्राणायाम करने से हार्मोन संबंधी परेशानियों से राहत मिल सकती है। आज इस लेख में हम आपको कुछ ऐसे ही प्राणायाम के बारे में जानकारी देने जा रहे हैं।
किस हार्मोन संबंधी समस्या में कौन सा प्राणायाम करना चाहिए?
गट व हार्मोन हेल्थ कोच मनप्रीत कालरा ने अपने इंस्टाग्राम पर एक वीडियो पोस्ट करके बताया है कि किस हार्मोन संबंधी समस्या में कौन सा प्राणायाम करना चाहिए।
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1. इंसुलिन: मंडूकासन (मेंढक मुद्रा)
अगर आप इंसुलिन संबंधी समस्या जैसे की हाई ब्लड शुगर या लो ब्लड शुगर होने की समस्या से जूझ रहे हैं तो मंडूक आसन करें। मंडूकासन करने से शरीर में पैंक्रियाज उत्तेजित होकर ब्लड शुगर को कंट्रोल करती है और इंसुलिन का फ्लो सुधारती है। मंडूकासन प्राणायाम करने से पेट और पेट के निचले हिस्से वाले हिस्से की अच्छे से मालिश हो जाती है, जिससे पाचन संबंधी समस्याओं से भी राहत मिलती है।
मंडूकासन करने की विधि - How to Do Mandukasana
- मंडूकासन करने के लिए जमीन पर वज्रासन में शांति से बैठ जाएं। इसके बाद हाथों की मुट्ठी को बंद कर लें।
- अब दोनों हाथों की मुट्ठियों को नाभि पर लेकर आएं और पेट को अंदर खींचते हुए गहरी सांस लें।
- इस दौरान छाती को नीचे की ओर झुकाएं और जांघों से छूने दें।
- इस प्रक्रिया को 10 से 15 बार दोहराए। (मंडूकासन करने के दौरान आपको पेट में हल्का खिंचाव महसूस हो सकता है।)
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2. थायराइड हार्मोन: भ्रामरी प्राणायाम
जो लोग थायराइड जैसी लाइलाज बीमारी से जूझ रहे हैं वह भ्रामरी प्राणायाम का अभ्यास कर सकते हैं। भ्रामरी प्राणायाम नींद और ब्लड प्रेशर संबंधी परेशानियों से भी राहत दिलाता है। इसके साथ ही यह प्राणायाम मानसिक तनाव को कम करके डिप्रेशन और अनिद्रा की समस्या से बचाता है।
भ्रामरी प्राणायाम करने की विधि- How to do Brahmi
- भ्रामरी प्राणायाम करने के लिए सबसे पहले शांति से जमीन पर बैठ जाएं।
- अब आंखों को बंद करें और तर्जनी उंगलियों को दोनों कानों पर रख लें।
- इसके बाद मुंह को बंद करके नाक से गहरी सांस लें या किसी मंत्र का उच्चारण करें।
- एक दिन में इस प्रक्रिया को 2 से 3 बार दोहरा सकते हैं।
3. मेलाटोनिन - योग निद्रा
मेलाटोनिन हार्मोन मुख्य रूप से हमारे सोने और जागने में अहम भूमिका निभाता है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार, जिन लोगों को अनिद्रा, नींद में परेशानी और सुबह जागने में परेशानी होती है, तो इसका मतलब यह है कि उनके शरीर में मेलाटोनिन हार्मोन प्रभावित हो रहा है। मेलाटोनिन हार्मोन को बैलेंस करने के लिए योग निद्रा करना फायदेमंद साबित होता है।
योग निद्रा कैसे करें
- योग निद्रा का अभ्यास आप रात को सोने से पहले बिस्तर पर भी कर सकते हैं।
- इसके लिए सबसे पहले जमीन पर बिस्तर बिछा कर लेट जाएं और आंखों को बंद करें।
- शुरू में गहरी श्वास लेते हुए धीरे-धीरे सामान्य अवस्था में आएं।
- इस दौरान दिमाग में चलने वाली किसी बात को भूल जाए और मन को बिल्कुल शांत रखें।
- 5 से 7 मिनट तक योग निद्रा में रहें, इससे आपको अच्छी नींद आएगी।