
Myocarditis In Hindi: किसी भी कारण से हृदय की मांसपेशियों में आने वाली सूजन 'मायोकार्डिटिस' के नाम से जानी जाती है। हृदय की मांसपेशियों में सूजन कुछ वायरस, बैक्टीरिया, परजीवी और विषाक्त पदार्थों या दवाओं के कारण हो सकता है। यह सेल्फ एंटीजन के खिलाफ ऑटोइम्यून के सक्रिय होने के कारण भी हो सकता है। वायरस अब तक मायोकार्डिटिस का सबसे आम संक्रामक कारण है।
वरिष्ठ हृदय रोग विशेषज्ञ डॉक्टर संतोष कुमार डोरा ने ओनली माय हेल्थ से बातचीत कर मायोकार्डिटिस के बारे में विस्तार से बातचीत कर जानकारी दी।
मायोकार्डिटिस के लक्षण- Symptoms of myocarditis
मायोकार्डिटिस के लक्षण निम्नलिखित हैं:
- मायोकार्डिटिस के लक्षणों में सीने में दर्द, सांस की तकलीफ, तालु फड़कना आदि हो सकते हैं।
- यदि मायोकार्डिटिस के कारण हृदय की मांसपेशियों शिथिल पड़ गई हैं, तो रोगी का हार्ट फेल भी हो सकता है।
- हृदय गति रुकने पर रोगी को सांस लेने में तकलीफ भी हो सकती है, लेटने में परेशानी और द्रव प्रतिधारण (fluid retention) के कारण टखने में सूजन आदि।
- मायोकार्डिटिस भी दिल की धड़कन (heart rhythm) की गड़बड़ी को जन्म दे सकता है, जिससे घबराहट, आंखों के आगे अंधेरा छा जाना और बहुत गंभीर मामलों में बेहोशी और हृदय गति रुकना यानी कार्डियक अरेस्ट होने की संभावना बढ़ जाती है।

मायोकार्डिटिस का निदान कैसे करें- How to diagnose myocarditis
खासतौर से, एंडोमॉकोकार्डियल बायोप्सी के माध्यम मायोकार्डिटिस का निदान किया जाता है। हालांकि, इस प्रक्रिया की आक्रामकता ज्यादा है इसलिए यह कम प्रयोग में लाया जाता है। कार्डियोक बायोमार्कर जैसे ट्रोप I और सीपीके एमबी मायोकार्डिटिस की घटना के दौरान बढ़ जाते हैं। कार्डिएक एमआरआई मायोकार्डिटिस का निदान करने में मदद कर सकता है, जो कि खतरनाक नहीं है। ईसीजी और 2डी इकोकार्डियोग्राम भी आमतौर पर जांच के लिए प्रयोग की जाती है। इकोकार्डियोग्राम हृदय की मांसपेशियों और वाल्व की कार्यक्षमता को दर्शाता है।
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मायोकार्डिटिस का इलाज कैसे करते हैं- How is myocarditis treated
मायोकार्डिटिस का इलाज की एक प्रक्रिया है, जिसमें वेंट्रिकुलर सहायक उपकरणों का उपयोग किया जाता है, जो हृदय के निचले कक्षों से रक्त को शरीर के बाकी हिस्सों में रक्त पंप करने में मदद करता है। यह प्रक्रिया हृदय के कार्यों में सहायता प्रदान करती है। इसके अलावा कई अन्य प्रक्रिया भी है। कुछ मामलों में सडेन कार्डियक अरेस्ट से बचाने के लिए AICD आरोपण की आवश्यकता हो सकती है।
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मायोकार्डिटिस से बचाव कैसे करें- Prevention of Myocarditis in Hindi
इन्फ्लुएंजा का टीका वायरल संक्रमण से कुछ सुरक्षा देता है और इस प्रकार मायोकार्डिटिस से बचा जा सकता है। एक्सपर्ट की मानें तो, हर किसी को सर्दी से पहले हर साल फ्लू का टीका लगवाना चाहिए। कोकीन जैसे ड्रग्स और टॉक्सिन्स मायोकार्डिटिस को जन्म दे सकते हैं। तो, इस तरह की दवाओं से दृढ़ता से बचा जाना चाहिए। अत्यधिक शराब हृदय की मांसपेशियों को कमजोर कर सकती है और कार्डियोमायोपैथी को जन्म दे सकती है। इस प्रकार, अधिक शराब पीने से बचना चाहिए।
नियमित शारीरिक व्यायाम, धूम्रपान से परहेज, बहुत सारे फलों और सब्जियों के साथ स्वस्थ आहार जैसी प्रतिरक्षा आदतें इम्यून सिस्टम को उत्तेजित करती हैं और मायोकार्डिटिस के लिए जिम्मेदार अधिकांश वायरस के लिए प्रतिरक्षा विकसित करती हैं। (हार्ट अटैक और कार्डियक अरेस्ट में अंतर)
नोट: यह लेख डॉक्टर संतोष कुमार डोरा, वरिष्ठ हृदय रोग विशेषज्ञ, एशियन हार्ट इंस्टीट्यूट, मुंबई से हुई बातचीत पर आधारित है।
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