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चौथे महीने में जरूर करवाना चाहिए नवजात शिशु का चेकअप, जानें कब और कैसे करवाएं जांच?

चौथे महीने की जांच शिशु के विकास का अहम हिस्सा है, जो यह सुनिश्चित करती है कि शिशु स्वस्थ तरीके से बढ़ रहा है या नहीं। 
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चौथे महीने में जरूर करवाना चाहिए नवजात शिशु का चेकअप, जानें कब और कैसे करवाएं जांच?


Importance of Fourth Month Checkup For Newborn: नवजात श‍िशु की सेहत के ल‍िए चौथे महीने की जांच जरूरी मानी जाती है। डॉक्टर इस दौरान शिशु के विकास के माइलस्टोन पर भी ध्यान देते हैं, जैसे हाथों और पैरों की गति, शारीर‍िक प्रतिक्रिया जैसे मुस्कुराना या आवाज निकालना। अगर शिशु इन माइलस्टोन तक नहीं पहुंचा है, तो डॉक्टर इस पर माता-प‍िता से बात करते हैं और उन्‍हें जरूरी सुझाव देते हैं। नियमित जांच से संभावित समस्याओं का समय रहते पता लगाया जा सकता है, जिससे शिशु का संपूर्ण विकास सुनिश्चित हो सके। कई बीमार‍ियां और शारीर‍िक समस्‍याएं ऐसी होती हैं, ज‍िनका समय पर पता लगाकर बढ़ने से रोका जा सकता है। इस लेख में हम जानेंगे क‍ि श‍िशु के व‍िकास के ल‍िए चौथे महीने की जांच क्‍यों जरूरी है और इस दौरान कौन से टीके और जांच करवाई जानी चाह‍िए। इस व‍िषय पर बेहतर जानकारी के ल‍िए हमने लखनऊ के डफर‍िन हॉस्‍प‍िटल के वर‍िष्‍ठ बाल रोग व‍िशेषज्ञ डॉ सलमान खान से बात की।

शिशु के लिए चौथे महीने की जांच क्यों जरूरी है?- Importance of Fourth Month Checkup For Newborn

importance of fourth month checkup for newborn

डॉ सलमान ने बताया क‍ि चौथे महीने की जांच नवजात शिशु के स्वस्थ विकास के लिए जरूरी होती है। इस चरण में शिशु का शारीरिक, मानसिक और सामाजिक विकास तेजी से होता है, इसल‍िए डॉक्टर यह सुनिश्चित करते हैं कि श‍िशु का व‍िकास सामान्‍य रूप से हो। चौथे महीने की जांच के दौरान, डॉक्टर शिशु के वजन, लंबाई का माप लेते हैं, ताकि यह देखा जा सके कि शिशु की ग्रोथ उसकी उम्र के अनुसार हो रही है या नहीं। यह माप शिशु के पोषण और विकास के बारे में जानकारी देती है। साथ ही, इस जांच में डॉक्टर शिशु की आंखों की रोशनी, सुनने की क्षमता और शारीरिक प्रतिक्रिया की भी जांच करते हैं। इसके अलावा, चौथे महीने पर शिशु को कुछ टीके लगाए जाते हैं, जो उसे कई बीमारियों से सुरक्षित रखने में मदद करते हैं। इनमें डिप्थीरिया, टि‍टनस, पर्टुसिस, हेपेटाइटिस-बी और पोलियो के टीके शामिल होते हैं। ये टीके शिशु की इम्‍यून‍िटी को बढ़ाते हैं और उसे गंभीर बीमारियों से बचाते हैं।

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चौथे महीने में शिशु के ल‍िए जरूरी टीके- Vaccines For Four Month Old Baby

चौथे महीने में शिशु को कुछ जरूरी वैक्सीन लगाई जाती हैं, जो उसे गंभीर बीमारियों से बचाने में मदद करती हैं-

  • डीपीटी (DPT) वैक्सीन तीन बीमारियों से बचाव करती है- डिप्थीरिया (गले में संक्रमण), पर्टुसिस (काली खांसी) और टि‍टनस। पोलियो वैक्सीन, पोल‍िया नाम की गंभीर बीमारी से श‍िशु की रक्षा करती है। पोल‍िया के कारण श‍िशु के अंगों में पैराल‍िस‍िस हो सकता है इसल‍िए बचाव के ल‍िए वैक्‍सीन जरूरी है। 
  • हेपेटाइटिस-बी वैक्सीन शिशु को हेपेटाइटिस-बी वायरस से बचाती है, जो लिवर की बीमारियों का कारण बन सकता है।
  • एचआईबी (HIB) वैक्सीन हेमोफिलस इन्फ्लुएंजा टाइप बी नामक बैक्टीरिया से सुरक्षा देती है, जो शिशु के फेफड़ों और ब्रेन में गंभीर संक्रमण का कारण बन सकता है।
  • न्यूमोकोकल वैक्सीन न्यूमोकोकल बैक्टीरिया से बचाव करती है, जो निमोनिया, मेनिन्जाइटिस और ब्‍लड इंफेक्‍शन का कारण बन सकता है।
  • रोटावायरस वैक्सीन रोटावायरस से बचाव करती है, जो शिशु में गंभीर डायरिया (दस्त) का कारण बन सकता है।

चौथे महीने में श‍िशु की कौन सी जांच करवाएं?- Important Tests For Four Month Old Baby

चौथे महीने में शिशु की जरूरी जांच करवाना उसके स्वस्थ विकास के लिए जरूरी होती हैं। इस समय डॉक्टर शिशु के शारीरिक और मानसिक विकास का आंकलन करते हैं और यह सुनिश्चित करते हैं कि वह अपने माइलस्टोन तक पहुंच रहा है या नहीं। चौथे महीने में डॉक्‍टर श‍िशु की ये जांच करते हैं- 

  • डॉक्टर शिशु का वजन और लंबाई मापते हैं, जिससे यह देखा जा सके कि वह उम्र के अनुसार सही ढंग से बढ़ रहा है या नहीं। सिर के आकार का भी माप ल‍िया जाता है, क्योंकि यह दिमागी विकास का सूचक होता है।
  • डॉक्टर यह सुनिश्चित करते हैं कि शिशु की मांसपेशियां और हड्डियां सही तरीके से विकसित हो रही हैं। शिशु की गर्दन को सहारा देना, हाथ और पैर की गतिविधियों को देखना जरूरी है। शिशु की पकड़ने और चलने की क्षमता की भी जांच की जाती है।
  • डॉक्टर शिशु की आंखों और कानों की जांच करते हैं ताकि यह पता लगाया जा सके कि वह सही तरीके से देख और सुन पा रहा है या नहीं। 
  • इस उम्र में शिशु का मुस्कुराना, आवाजें निकालना और दूसरों की ओर ध्यान देना उसकी मानसिक और सामाजिक ग्रोथ का संकेत होता है। डॉक्टर शिशु की इन प्रतिक्रियाओं की जांच करते हैं।
  • डॉक्टर यह सुनिश्चित करते हैं कि शिशु को समय पर सभी जरूरी टीके लग चुके हैं या नहीं। चौथे महीने में दिए गए टीके शिशु को गंभीर बीमारियों से बचाने में मदद करते हैं।

इस तरह चौथे महीने में जरूरी जांच करवाकर आप श‍िशु की स्‍वस्‍थ ग्रोथ सुनिश्चित कर सकते हैं।

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