इम्यूनिटी मजबूत करने के लिए जरूरी है कार्डियो रेस्पिरेटरी फिटनेस, जानें क्या है ये

अगर आपको बार बार सर्दी जुखाम होता है तो यही समय है जब आप मालूम कर सकते हैं कि आपका कार्डियो रेस्पिरेटरी फिटनेस कितनी मजबूत है।  
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इम्यूनिटी मजबूत करने के लिए जरूरी है कार्डियो रेस्पिरेटरी फिटनेस, जानें क्या है ये

रोजाना कसरत करना आपकी ओवरऑल हेल्थ के लिए फायदेमंद है। कसरत करने से आपका कार्डियोवैस्कुलर सिस्टम भी स्वस्थ रहता है। साथ ही इससे आपके शरीर के सभी फंक्शन, आपका मूड, आपकी नींद सभी सुचारू रूप से चलते हैं। जब आप एक तेज भाग दौड़ वाला वर्कआउट करते हैं तो आपकी सांस काफी फूल जाती है। लेकिन इससे आप के फेफड़े मजबूत होते हैं और इम्यूनिटी बढ़ने में मदद मिलती है। आपके फेफड़े और आपका हृदय इम्यूनिटी को मजबूत करने में सहायक हैं। इसलिए ही आपकी इम्यूनिटी मजबूत बनाने के लिए कार्डियो वर्कआउट करना भी आवश्यक है। पारस हॉस्पिटल, एसोसिएट डायरेक्टर एंड यूनिट हैड, कार्डियोलॉजी, डॉक्टर अमित भूषण शर्मा के मुताबिक आप के फेफड़े ऑक्सीजन से भरे खून को कैपिलरी के माध्यम से हृदय तक पहुंचाते हैं। इसके बाद आप का हृदय इस खून से ऑक्सीजन को बाहर निकाल लेता है और शरीर में ब्लड पंप करके देता है। जब आप एक्सरसाइज करते हैं तो एक्टिव मसल्स इम्यून सिस्टम की सेल्स में अधिक सर्कुलेशन बढ़ा देती हैं। 

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पैरासंफाथेटिक सिस्टम

एक्सरसाइज आप के फेफड़ों और हृदय को ब्लड अच्छे से पंप करने में मदद करती है। इससे एक्टिव रहने के कारण अधिक इम्यून सेल्स काम करने लगती हैं। यही नहीं यदि आप बैठते समय भी अपनी सांसों पर सही ढंग से ध्यान देते हैं तो इससे भी आप अपनी इम्यूनिटी तेज कर सकते हैं। जब आप पूरी तेजी से या धीमे से सांस अंदर खींचते हैं या बाहर छोड़ते हैं तो आप अपने पैरासंफाथेटिक सिस्टम को एक्टिव कर लेते हैं। यह सिस्टम हमारे नर्वस सिस्टम को शांत करता है। 

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सही तरह से ब्रीदिंग

लेकिन अगर आप ऐसा नहीं करते हैं या इसका उल्टा कर देते हैं तो यह सिस्टम भी टर्न ऑफ हो जाता है जिसके कारण स्ट्रेस हार्मोन पंप होने लगते हैं। कोर्टिसोल और एड्रेनलीन जैसे हार्मोन शरीर में अधिक बढ़ जाते हैं। यह हार्मोन हमारे लिंफोइड टिश्यू में जगह बना लेते हैं। यह हार्मोन सेल डेवलपमेंट नहीं होने देते और इस प्रक्रिया को नष्ट कर देते है। इसलिए ढंग से सांस लेने से भी आप अपनी सेहत को बढ़ा सकते हैं।

ब्रीदिंग एक्सरसाइज

अगर आप बैली ब्रीदिंग एक्सरसाइज रोजाना 10 मिनट भी करते हैं जिसमे आपके फेफड़ों का बेस एक्सपैंड हो, आपको काफी अंतर देखने को मिल सकता है। योग में प्रयोग होने वाली प्राणायाम तकनीक का प्रयोग भी किया जा सकता है। अपनी नाक के द्वारा धीरे-धीरे सांस अंदर की ओर खींचे और नाक के द्वारा पूरे जोर से बाहर छोड़ दें। सांस छोड़ने और अंदर लेने को ऐसे ही जारी रखें।

क्यों जरूरी है एक्सरसाइज

यह एक्सरसाइज करने की ही शक्ति है जो इम्यून सेल्स के सर्कुलेशन को बेहतर बनाती है। इसमें आप के फेफड़े और हृदय भी एक अहम भूमिका निभाते हैं। जब आप आराम करते हैं तो आपकी इम्यून सेल्स लिंफोइड टिश्यू में घुसने और तबाही मचाने के लिए तैयार रहती है। लेकिन जब आप सांस अधिक तेजी से लेते हैं तो हमारा हार्ट रेट बढ़ जाता है। 

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जिससे एक्सरसाइज के दौरान हमारी मसल्स भी कॉन्ट्रैक्ट होने लगती हैं। इस समय इम्यून सेल्स को सर्कुलेट होने का सिग्नल पहुंचता है और ऐसा करने के लगभग तीन घंटे बाद तक वह शरीर में सर्कुलेट होती रहती हैं। इस दौरान अगर शरीर में कोई कीटाणु या बैक्टीरिया होते हैं तो यह सेल्स उन्हें पूरी तरह से नष्ट कर देती हैं। आप को बीमार होने से बचाती हैं। जो लोग रोजाना एक्सरसाइज करते हैं वह एक्सरसाइज न करने वाले लोगों के मुकाबले कम बीमार पड़ते हैं। 

रोजाना कुछ समय के लिए एक्सरसाइज करने से आप अपनी ओवर ऑल सेहत को बढ़ा सकते हैं। इसके लिए यह जरूरी नहीं है कि आप केवल कार्डियो या हाई इंटेंस एक्सरसाइज ही करें। बल्कि आप प्राणायाम जैसी बैठ कर करने वाली एक्सरसाइज भी कर सकते हैं। जो हर प्रकार के व्यक्ति कर सकते हैं। इनसे आपको काफी लाभ और भी मिलते हैं।

all images credit: freepik

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