भारतीय संस्कृति में व्रत रखने की परंपरा सदियों से चली आ रही है। डाक्टरों का भी कहना है कि व्रत कई बीमारियों जैसे हृदय रोग, उच्च रक्तदाब, गठिया, एक्जिमा और चर्म रोग से लड़ने में असरकारी होता है। यह तनाव और अवसाद को दूर करने में मदद देता है।
वैज्ञानिकों ने भी शोध में पाया है व्रत करनेसे कुछ जीन सक्रिय हो जाते हैं जो उम्र बढ़ाने के लिए क्षतिग्रस्त कोशिकाओं की मरम्मत करने का काम करते है। यह शरीर के प्रतिरक्षा तंत्र को मजबूत करने का काम करता है। लेकिन व्रत रखने के भी कुछ नियम होते हैं। आम तौर पर लोग व्रत में कुछ भी खाने से परहेज करते हैं। लेकिन आहार विशेषज्ञों का कहना है भूखे पेट व्रत रखना स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होता है। दिन में खाने को सीमित करके भी व्रत किया जा सकता है। चिकित्सकी भाषा में खाना खाने के बाद 8 से 12 घंटे तक आसानी से व्रत रखा जा सकता हैं। आमतौर पर लोग वजन कम और शरीर से विषैले तत्वों को निकालने के लिए व्रत रखते हैं।
डाक्टरों के अनुसार डायबिटीज के शिकार, गर्भवती महिलाओं व किडनी के मरीजों को व्रत रखने से परहेज करना चाहिए।
लेकिन अगर आप वजन कम करने के लिए व्रत रखना चाहते हैं तो इन बातों का रखें ख्याल :
- अपने डाक्टर से सलाह लेकर ही व्रत रखें। वो आपको खानपान के संबंध में सलाह दे सकता है।
- लंबा व्रत रखने के कुछ दिन पहले प्रसंस्कृत खानपान बंद कर दें।
- व्रत कब शुरू करना है और कब खत्म करना है इस बात का पूरा ध्यान रखें।
- खाली पेट व्रत रखना स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होता है। इसलिए फल या जूस का सेवन जरूर करें।
- दिन में खूब सारा पानी पिएं ताकि शरीर में पानी की कमी नहीं होने पाए।
- व्रत तोड़ने के बाद बहुत सारा खाना एक साथ न खाएं।
- कच्ची सब्जियों जैसे गाजर, चुकंदर, टमाटर आदि का सेवन करें।
- नींबू पानी जरूर पिएं।
- अंगूर को खाने से दिल की धड़कन सामान्य रहती है और यह किडनी की सफाई का काम करता है।
- व्रत के दौरान फलों का जूस जरूर पीएं। इसमें मौजूद प्राकृतिक शुगर शरीर को ऊर्जा प्रदान करने का काम करती है।