बुढ़ापे में मांसपेशियों के नुकसान को कम करने और लंबे जीवन का राज है रोजाना एक्‍सरसाइज

शोध कहता है बुढ़ापे में एक्‍सरसाइज करने से मांसपेशियों के नुकसान को कम करने और लंबे जीवन जीने में मदद मिलती है। 

Sheetal Bisht
Written by: Sheetal BishtUpdated at: Jul 21, 2020 10:42 IST
बुढ़ापे में मांसपेशियों के नुकसान को कम करने और लंबे जीवन का राज है रोजाना एक्‍सरसाइज

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क्‍या आप जानते हैं कि बुढ़ापे में भी एक्‍सरसाइज करने से आपको लंबा जीवन जीने में मदद मिलती है? जी हां, रोजाना एक्‍सरसाइज करने से व्‍यक्ति को फिट और एक्टिव रहने में मदद मिलती है। इसके अलावा, यदि आप अपने बुढ़ापे के दिनों में भी एक्‍सरसाइज करते हैं, तो यह उस दौरान होने वाले मांसपेशियों के नुकसान को कम करने में भी सहायक है। ज्‍यादातर लोग मानते हैं कि बुढ़ापे के दिनों में हम सबको अधिक आराम की जरूरत है, जबकि ऐसा नहीं है। स्‍वस्‍थ और लंबा जीवन जीने के लिए इस दौरान शारीरिक रूप से सक्रिय रहना और हल्‍की-फुल्‍की एक्‍सरसाइज करना जरूरी है। ऐसा केवल हम नहीं, हाल में हुआ यह शोध भी कहता है। 

Exercise Can Help Reduce Muscles Loss

बुढ़ापे में एक्‍सरसाइज से मांसपेशियों के नुकसान का खतरा होता है कम    

जर्नल ऑफ द अमेरिकन गेरिएट्रिक्स सोसाइटी में प्रकाशित एक शोध के अनुसार , वृद्ध लोगों में शारीरिक गतिविधि या एक्‍सरसाइज से पुरानी बीमारियों, कमजोर मांसपेशियों और मांसपेशियों के नुकसान होने का खतरा कम हो जाता है। इसके अलावा, ऐसा देखा गया है, जो बुजुर्ग लोग शारीरिक रूप से निष्क्रिय हैं, उनमें कोरोनावायरस संक्रमित होने की भी अधिक संभावना हो सकती है। अध्‍ययन कहता है ऐसा इसलिए हो सकता है क्‍योंकि एक्‍सरसाइज करने से आपकी प्रतिरक्षा मजबूत होती है। ब्राजील के साओ पाउलो विश्वविद्यालय के इस अध्ययन ने हाल ही में COVID-19 के लिए पुराने वयस्कों के लिए शारीरिक निष्क्रियता के खतरों पर रिपोर्ट की है। । 

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अध्‍ययन में शोधकर्ताओं ने उल्लेख किया कि आपकी मांसपेशियों को सिकुड़ने और बर्बाद करने में केवल 5 से 10 दिनों की शारीरिक निष्क्रियता काफी है। यह सार्कोपेनिया (मांसपेशियों की हानि) की प्रगति को गति दे सकता है और पुरानी बीमारियों को जन्म दे सकता है।

रोजाना चलें कम से कम 1500 कदम 

अध्‍ययन यह सुझाव देता है कि बुढ़ापे में मांसपेशियों के नुकसान को रोकने और स्‍वस्‍थ लंबे जीवन जीने के लिए बुजुर्गो को कम से कम रोजाना 1500 कदम चलने चाहिए। इसके अलावा वे हल्‍की स्‍ट्रेचिंग के साथ कुछ सरल अभ्‍यास कर सकते हैं। क्‍योंकि अध्‍ययन में पाया गया है कि जो बुजुर्ग प्रतिदिन 1500 से कम कदम चलते हैं, तो इससे केवल 2 ही हफ्तों में पैरों की मांसपेशियों के टिश्‍यु का 4 प्रतिशत खो सकते हैं। 

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इसलिए शोधकर्ताओं का सुझाव है कि आप बुढ़ापे में आपको कम बैठने और अधिक चलने पर ध्‍यान केंद्रित करना चाहिए। इसके अलावा आप घर पर भी कुछ हल्‍की एक्‍सरसाइज कर सकते हैं, जिससे आपके मांसपेशियों के स्वास्थ्य और गतिशीलता को बनाए रखने में मदद मिले। व्‍यायाम आपको बुढ़ापे में गिरने और दूसरों पर निर्भर न रहने में मदद करेगा, जो कि बुढ़ापे में एक सामान्य समस्‍या होती है। 

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