Complications Of Liver Fibrosis In Hindi: लिवर के बिना स्वस्थ रहने की कल्पना नहीं की जा सकती है। यह भोजन को पचाने में मदद करता है। साथ ही, एनर्जी को स्टोर करके इससे जरूरी कार्यों को नियंत्रित करता है। लेकिन, कई बार हमारी गलतियों की वजह से लिवर पर दबाव पड़ने लगता है। ऐसे में किसी तरह के दबाव, सूजन और चोट की वजह से लिवर के नॉर्मल टिश्यू की जगह पर फाइब्रस (Fibrous) टिश्यू विकसित होने लगते हैं। इसी प्रक्रिया को लिवर फाइब्रोसिस (Liver Fibrosis) कहा जाता है। शुरुआत में यह रोग अक्सर बिना किसी लक्षण के धीरे-धीरे विकसित होता है, लेकिन समय के साथ यह गंभीर जटिलताओं का कारण बन सकता है। यदि इसका समय पर इलाज न किया जाए, तो यह लिवर सिरोसिस (Cirrhosis), लिवर फेलियर और यहां तक कि लिवर कैंसर में भी बदल सकता है। इस लेख में डॉ. सावन बोपन्ना, सीनियर कंसल्टेंट, गैस्ट्रोएंटरोलॉजी और हेपेटोलॉजी, श्री बालाजी एक्शन मेडिकल इंस्टीट्यूट से जानते हैं कि लिवर फाइब्रोसिस की मुख्य जटिलताओं (Complications) क्या होती हैं?
लिवर फाइब्रोसिस क्या होता है?- What is Liver Fibrosis In Hindi
लिवर फाइब्रोसिस एक ऐसी स्थिति है जिसमें लिवर की सामान्य कोशिकाएं डैमेज होकर स्कार टिशू (घाव ऊतक) में बदल जाती हैं। यह स्थिति आमतौर पर हेपेटाइटिस बी/सी, शराब का अत्यधिक सेवन, फैटी लिवर या टॉक्सिक पदार्थों के संपर्क से होती है। यह रोग कई स्तरों में विकसित होता है, और जब यह गंभीर रूप लेता है तो सिरोसिस में बदल जाता है। आगे जानते हैं कि लीवर फाइब्रोसिस से शरीर को क्या-क्या नुकसान हो सकता है।
लिवर फाइब्रोसिस की प्रमुख जटिलताएं - Common Complications Of Liver Fibrosis In Hindi
लिवर सिरोसिस (Liver Cirrhosis)
लिवर फाइब्रोसिस की सबसे गंभीर अवस्था सिरोसिस होती है, जिसमें पूरा लिवर स्कार टिशू (चोट के निशान जैसे घाव) में बदल जाता है और उसकी कार्यक्षमता बुरी तरह प्रभावित होती है। इस स्थिति में व्यक्ति की पाचन तंत्र प्रभावित होती है। जिससे भोजन से पोषण के अवशोषण में बाधा आ सकती है। ऐसे में लिवर धीरे-धीरे काम करना बंद कर देता है। सिरोसिस में व्यक्ति को ज्यादा थकान लगती है, साथ ही स्किन पीली होने लगती है, जैसे पीलिया में और पेट फूलना और भूख न लगाने के लक्षण देखने को मिल सकते है।
पोर्टल हाइपरटेंशन (Portal Hypertension)
लिवर में फाइब्रस टिशू की अधिकता से ब्लड फ्लो रुकता है और लिवर में खून का दबाव बढ़ जाता है। इसे ही पोर्टल हाइपरटेंशन कहते हैं। इस स्थित में भोजन नली (Esophagus) और पेट में नसें फूल जाती हैं (Varices)। इन नसों के फटने पर आंतरिक रक्तस्राव हो सकता है, जो जानलेवा भी हो सकता है। ऐसे में व्यक्ति को काले रंग का मल, खून की उल्टी, कमजोरी हो सकती है।
लिवर फेलियर (Liver Failure)
जब लिवर अपनी सारी कार्यक्षमता खो देता है, तो उसे लिवर फेलियर कहा जाता है। यह लिवर फाइब्रोसिस की अंतिम अवस्था हो सकती है। ऐसे में शरीर के विषैले तत्व शरीर से नहीं निकल पाते हैं। जिससे मस्तिष्क, किडनी और अन्य अंग प्रभावित होते हैं। कई मामलों में मरीज कोम तक में जा सकता है। इस समस्या में व्यक्ति को कंफ्यूजन होना, चक्कर आना, बोलने में कठिनाई, झटके आने की समस्या होती है।
लिवर कैंसर (Hepatocellular Carcinoma)
लंबे समय तक चलने वाली लिवर फाइब्रोसिस सिरोसिस में और अंत में लिवर कैंसर में बदल सकती है। कैंसर कोशिकाएं तेजी से फैलती हैं और अन्य अंगों को भी प्रभावित कर सकता है। ऐसे में इलाज करना मुश्किल हो सकता है। इसमें व्यक्ति का वजन तेजी से घटता है और ऊपरी पेट में दर्द, भूख न लगना, कमजोरी आने के लक्षण महसूस होते हैं।
पेट में पानी भरना (Ascites)
लिवर की कार्यक्षमता खराब होने से प्रोटीन का उत्पादन घट जाता है और रक्त का दबाव बढ़ने से पेट में तरल (Fluid) जमा हो जाता है। ऐसे में व्यक्ति को सांस लेने में कठिनाई, संक्रमण का खतरा (Spontaneous bacterial peritonitis), पेट में भारी और फूला हुआ लगता है।
लिवर फाइब्रोसिस से बचाव कैसे करें? - Prevention Tips Of Liver Fibrosis In Hindi
- अधिक मात्रा में शराब का सेवन न करें
- हेपेटाइटिस के लिए वैक्सीनेशन कराएं
- फैटी लिवर की जांच और नियंत्रण रखें
- वजन नियंत्रित रखें और संतुलित आहार लें
- डॉक्टर की सलाह पर नियमित रूप से लीवर फंक्शन टेस्ट कराएं
इसे भी पढ़ें: लिवर फाइब्रोसिस क्या है? जानें इस बीमारी के लक्षण, कारण और इलाज
Liver Fibrosis Complications: लिवर फाइब्रोसिस एक धीमा लेकिन गंभीर रोग है, जो समय के साथ जीवन के लिए खतरनाक साबित हो सकता है। इसके कारण सिरोसिस, लिवर फेल्योर, कैंसर जैसी जटिल बीमारियाँ जन्म ले सकती हैं। लेकिन अच्छी बात यह है कि यदि शुरुआत में पहचान हो जाए और सही जीवनशैली अपनाई जाए, तो इस रोग को रोका या नियंत्रण में रखा जा सकता है।
FAQ
लिवर में दिक्कत आने से क्या-क्या प्रॉब्लम होती है?
लिवर में परेशानी होने पर व्यक्ति को भूख में कमी, थकान, कमजोरी, वजन कम होना, दस्त और पीलिया जैसे समस्याएं हो सकती हैं।लिवर का ग्रेड 4 फाइब्रोसिस क्या है?
लिवर फाइबोसिस की यह सबसे अधिक जोखिम भरी स्थिति होती है। इसमें व्यक्तिक को लिवर फेलियर का खतरा सबसे अधिक होता है। साथ ही, उसको अन्य बीमारियां भी हो सकती हैं।लिवर में इन्फेक्शन होने के क्या लक्षण होते हैं?
लिवर में इन्फेक्शन होने से व्यक्ति को भूख कम लगना, बार-बार उल्टी आने की इच्छा होना, पेट के ऊपरी दाहिने हिस्से में दर्द महसूस होता है। ऐसे में व्यक्ति को लगातार थकान बनी रहती है।