Cervical Cancer After Vaccination: ह्यूमन पेपिलोमा वायरस (HPV) वैक्सीन सर्वाइकल कैंसर को रोकने में एक प्रभावी उपचार है। यह वैक्सीन उन कुछ एचपीवी टाइपों से सुरक्षा प्रदान करती है जो सर्वाइकल कैंसर का सबसे आम कारण होते हैं। हालांकि, यह जरूरी नहीं है कि वैक्सीन हर तरह के सर्वाइकल कैंसर को रोकने में सक्षम होती है। सर्वाइकल कैंसर, गर्भाशय के मुख्य भाग को सबसे ज्यादा प्रभावित करता है। ज्यादातर मामलों में पेशाब के कारण होने वाले इन्फेक्शन की वजह से सर्वाइकल कैंसर की शुरुआत होती है। आइए इस लेख में विस्तार से समझते हैं, क्या वाकई वैक्सीन लगवाने के बाद सर्वाइकल कैंसर नहीं होता है?
क्या वैक्सीन लगवाने के बाद सर्वाइकल कैंसर नहीं होता?- Cervical Cancer After Vaccine in Hindi
एचपीवी एक बहुत ही आम वायरस है जो यौन संपर्क के माध्यम से फैलता है। यह वायरस कई प्रकार का होता है, जिनमें से कुछ जननांग मस्सों (genital warts) का कारण बनते हैं जबकि अन्य सर्वाइकल कैंसर और अन्य कैंसर सहित गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकते हैं। एससीपीएम मेडिकल कॉलेज और हॉस्पिटल के कैंसर रोग विशेषज्ञ डॉ सुदीप सिंह कहते हैं, "एचपीवी वैक्सीन शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली को कुछ विशेष एचपीवी के प्रकारों से लड़ने के लिए तैयार करती है। जब किसी व्यक्ति को वैक्सीन की खुराक मिलती है, तो शरीर उन वायरस के निष्क्रिय रूपों के संपर्क में आता है। इससे शरीर एंटीबॉडी का निर्माण करता है, जो भविष्य में वास्तविक वायरस के संपर्क में आने पर उससे लड़ने में सक्षम होते हैं।" लेकिन यह जरूरी नहीं है कि वैक्सीन लगने के बाद आप हर तरह के सर्वाइकल कैंसर के खतरों से बच सकते हैं।
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एचपीवी वैक्सीन कितनी प्रभावी है?- How Effective is the HPV Vaccine in Hindi
एचपीवी वैक्सीन सर्वाइकल कैंसर के लिए सबसे अधिक जोखिम वाले एचपीवी प्रकारों से 90% से अधिक सुरक्षा प्रदान करती है। यह योनि कैंसर, वल्वार कैंसर और गुदा कैंसर के कुछ मामलों को रोकने में भी मदद कर सकती है। लेकिन एचपीवी वैक्सीन कोई चमत्कारी इलाज नहीं है। इसका मतलब यह है कि-
- यह सभी प्रकार के एचपीवी को रोक नहीं सकती है।
- यह उन लोगों में काम नहीं करेगी जो पहले से ही एचपीवी से संक्रमित हैं।
- इसलिए, एचपीवी वैक्सीन के अलावा सर्वाइकल कैंसर की रोकथाम के लिए अन्य उपाय भी जरूरी हैं।
सर्वाइकल कैंसर की रोकथाम के तरीके- Ways to Prevent Cervical Cancer in Hindi
एचपीवी वैक्सीन के साथ-साथ सर्वाइकल कैंसर की रोकथाम के लिए इन चीजों का ध्यान रखना चाहिए-
नियमित Pap स्मीयर टेस्ट करवाना (Regular Pap Smear Tests): Pap स्मीयर टेस्ट असामान्य कोशिकाओं का पता लगा सकता है जो बाद में सर्वाइकल कैंसर बन सकती हैं। डॉक्टर आमतौर पर 21 साल की उम्र से शुरू होकर महिलाओं के लिए नियमित Pap स्मीयर टेस्ट की सलाह देते हैं।
एचआईवी से बचाव (HIV Prevention): एचआईवी कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली का कारण बनता है, जिससे एचपीवी संक्रमण का जोखिम बढ़ जाता है। इसलिए एचआईवी से बचाव के लिए सुरक्षित यौन संबंध बनाने और साफ सुई का इस्तेमाल करने जैसे उपाय जरूरी हैं।
स्मोकिंग से बचें (Avoid Smoking): धूम्रपान सर्वाइकल कैंसर सहित कई कैंसर के खतरे को बढ़ा देता है। धूम्रपान छोड़ने से आपके समग्र स्वास्थ्य में सुधार होगा और कैंसर का खतरा कम होगा।
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व्यस्कों में संभोग (सेक्स) के कारण इंफेक्शन होने का खतरा रहता है, लेकिन इस वैक्सीन को लगाने वाली महिलाओं को इंफेक्शन का खतरा काफी कम रहता है। इस वैक्सीन के दो प्रकार होते हैं। पहले प्रकार को सर्वेरिक्स कहा जाता है और दूसरे को गारडासिल। डॉक्टर की सलाह लेकर आप इस वैक्सीन को लगवा सकते हैं।
एचपीवी एक आम वायरस है जो तेजी से फैलता है और इसे बहुत खतरनाक माना जाता है। एक प्रकार के वायरल इन्फेक्शन के रूप में एचपीवी को देखा जाता है। इस वायरस से बचाव के लिए वैक्सीन भी लगाई जाती है। सेक्सुअल पेनेट्रेशन के आलावा यह वायरस कई अन्य कारणों से भी फैल सकता है। इस गंभीर वायरस से बचने के लिए डॉक्टर एचपीवी वैक्सीन (HPV Vaccine) लगवाने की सलाह देते हैं।
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