
कई बच्चों को हर छोटी-बड़ी बात पर गुस्सा आता है। वह अपने माता-पिता और परिवार के लोगों के साथ भी अच्छे से बात नहीं करते हैं और उनके बर्ताव में कई और बदलाव देखने को मिलते हैं। वह छोटी-बड़ी बात पर चिड़चिड़ा व्यवहार कर सकते हैं। आमतौर पर छोटे बच्चे गुस्सा अपनी बात मनवाने या किसी नई चीज की मांग को लेकर करते हैं लेकिन इसके पीछे कई कारण हो सकते हैं। यह व्यवहारिक समस्या के साथ किसी शारीरिक या मानसिक समस्या के कारण भी हो सकता है। कई बार पेरेंट्स बच्चों के गुस्से को उनकी जिद्द और आदत समझकर इग्नोर कर देते है लेकिन एक माता-पिता के रूप में आपको ऐसा नहीं करना चाहिए क्योंकि इससे बच्चे की सेहत और मन पर बुरा असर पड़ता है। ऐसे में आपको हमेशा पहले उनकी परेशानी समझनी चाहिए। फिर उसके अनुसार बच्चे के गुस्से को कंट्रोल करने के लिए कदम उठाना चाहिए। आइए इसके बारे में विस्तार से जानते हैं गुड़गांव के आर्टेमिल अस्पताल के पीडियाट्रीशयन डॉक्टर राजीव छाबड़ा से।
बच्चों में अधिक गुस्सा आने के कारण (Causes of Anger in Kids)
1. अपनी बात मनवाने के लिए
बच्चे पेरेंट्स से अपनी बात मनवाने के लिए कई तरह के बहाने बनाते हैं। साथ ही वह गुस्सा या खाना न खाने की धमकी भी देते हैं ताकि पेरेंट्स उनकी जिद्द मान लें। ऐसे कई बार स्कूल न जाने, कोई नई चीज खरीदने या दोस्तों के साथ बाहर खेलने जाने के लिए हो सकता है। गुस्सा करने पर वह कई बार घर की चीजें तोड़ते हैं और स्कूल न जानें को भी कहते हैं।
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2. घर बदलने के कारण
कुछ बच्चे आसानी से बदलाव को स्वीकार नहीं कर पाते हैं। आपने ध्यान दिया होगा कि जब आप घर बदलते या किसी नयी जगह पर चले जाते हैं, तो आपके बच्चे को नये दोस्त बनाने में मुश्किल आती है और वह अपने पुराने दोस्तों को मिस कर रहे होते हैं। ऐसे में कई बच्चे उदास हो जाते हैं, तो कुछ बच्चे इस बात का गुस्सा अपने माता-पिता पर निकालते हैं। ये गुस्सा अपने दोस्तों के छुटने और नयी जगह के कारण हो सकता है। हालांकि नए दोस्त बनने के बाद या कुछ समय बाद बच्चे खुद ठीक हो जाते हैं।
3. गुस्सा करने का स्वभाव
बढ़ती उम्र में बच्चों में कई परिवर्तन आते हैं। बच्चों का स्वभाव में बदलाव उनके दोस्तों और परिवेश पर भी निर्भर करता है। अगर आपका बच्चे के दोस्त अच्छे नहीं है या आपके घर का माहौल ऐसा है, जिसमें बच्चा अधिक परेशान रहता है, तो उसके स्वभाव में अधिक गुस्सा करना आ सकता है।
4. तंत्रिका तंत्र संबंधित समस्याओं के कारण
कई बार न्यूरोलॉजिकल डिसऑर्डर के कारण भी बच्चे में अधिक गुस्सा आता है लेकिन पेरेंट्स को इस समस्या को समझ नहीं पाते है। बच्चों में गुस्सा का कारण ऑटिज्म, एस्परगर सिंड्रोम और टॉरेट सिंड्रोम हो सकता है। इससे बच्चे को सिर में दर्द और बेचैनी की समस्या भी हो सकती है।
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5. आनुवांशिक गुणों के कारण
कई बार पेरेंट्स को अगर अधिक गुस्सा आता है, तो बच्चे का स्वभाव भी गुस्सैला हो सकता है। वह हर छोटी-बड़ी बात पर गुस्सा कर सकते हैं। ऐसा माता-पिता में से किसी एक को भी अगर अधिक गुस्सा आता है, तो बच्चे को ये परेशानी हो सकती है।
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बच्चों के गुस्से पर कैसे करें कंट्रोल
1. बच्चे के गुस्से को कंट्रोल करने के लिए आपको सबसे पहले गुस्से का कारण समझना चाहिए और उसके अनुरूप व्यवहार करना चाहिए। अगर आपका बच्चा किसी चीज को लेकर गुस्सा कर रहा है, तो आपको उन्हें प्यार से समझना चाहिए।
2. अगर आपका बच्चा बिना किसी कारण के गुस्सा कर रहा है, तो उसे थोड़ी देर अकेला छोड़ दें।
3. अगर दोस्तों से अलग होने पर या घर बदलने के कारण बच्चे में गुस्सा है, तो आप उनसे प्यार से बात करें और उन्हें दोस्त बनाने में मदद करें।
4. बच्चे को कभी मारें नहीं, इससे वह और अधिक चिड़चिड़े हो सकते हैं।
5. अगर बच्चे को कोई बीमारी है, तो तुरंत डॉक्टर की सलाह लें और इलाज करवाएं।
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