हर साल पूरी दुनिया में 1 दिसंबर को विश्व एड्स दिवस मनाया जाता है। लोगों को एड्स के बारे में जागरूक करने के लिए वर्ल्ड एड्स डे मनाया जाता है। एड्स एक ऐसी बीमारी है, जिसमें व्यक्ति के शरीर में संक्रमण से लड़ने की क्षमता खत्म या फिर कम हो जाती है। कई सालों के अध्ययनों के बावजूद अभी तक इसका कोई प्रभावी इलाज नहीं मिला है। हम में से कई लोग अभी भी एड्स और एचआईवी के बीच अंतर नहीं समझ पाते हैं। ऐसे में लोगों को दोनों समस्याओं के बारे में विस्तार से जानने की आवश्यकता है। इसलिए आज हम इस लेख में आपको एचआईवी और एड्स के बीच अंतर के बारे में बताना जा रहे हैं। ताकि आप इस विषय के बारे में विस्तार से जान सकें।
एचआईवी और एड्स के बीच क्या है अंतर? (HIV and Aids Difference in Hindi)
नोएडा स्थित निराम्या हॉस्पिटल के सेक्सुअल एंड रिप्रोडक्टिव स्पेशलिस्ट डॉक्टर संजीव कालरा का कहना है कि एचआईवी एक वायरस है, जिसकी वजह से व्यक्ति एड्स से प्रभावित होता है। वहीं, लंबे समय तक एचआईवी से संक्रमित होने वाले व्यक्ति को एड्स का खतरा रहता है। आइए विस्तार से जानते हैं एड्स और एचआईवी के बीच अंतर क्या है?
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एचआईवी (HIV) क्या है?
डॉक्टर कालरा का कहना है कि एचआईवी एक वायरस है, जो शरीर के इम्यून सिस्टम को प्रभावित करता है। इम्यून सिस्टम कमजोर होने से शरीर में कई तरह की बीमारियां हो सकती हैं। अगर कोई व्यक्ति एचआईवी से संक्रमित है, तो उसका शरीर बीमारियों से लड़ने में सक्षम नहीं हो पाता है। दरअसल, एचआईवी संक्रमण हमारे शरीर के टी सेल्स (टी लिम्फोसाइट) को नष्ट कर देता है। यह एक तरह का ल्यूकोसाइट (व्हाइट ब्लड सेल) है, जो इम्यून सिस्टम का अहम हिस्सा माना जाता है। डॉक्टर बताते हैं कि टी-सेल्स हमारे शरीर में किसी भी प्रकार के संक्रमण को नष्ट करने में मददगार होते हैं। संक्रमित कोशिकाओं को नष्ट करने के बाद यह नए इम्यून सेल्स को सक्रिय करने में भी मदद करते हैं। ऐसे में अगर समय पर एचआईवी का इलाज नहीं किया गया, तो व्यक्ति एड्स ग्रसित हो सकता है।
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एड्स (Aids) क्या है?
डॉक्टर कालरा का कहना है कि अगर एचआईवी का समय पर इलाज नहीं किया गया, तो यह एड्स में बदल सकता है। वहीं, जिन लोगों का इम्यून सिस्टम कमजोर होता है, उन्हें एचआईवी संक्रमण के बाद एड्स होने का खतरा अधिक रहता है। की स्थिति में व्यक्ति को एड्स हो सकता है। शरीर में एचआईवी वायरस बढ़ने से हमारा शरीर खुद की सुरक्षा नहीं कर पाता है, जिसकी वजह से व्यक्ति कई तरह की बीमारियों की चपेट में आ सकता है। फिलहाल एड्स का कोई प्रभावी इलाज नहीं है। लेकिन अगर आप एचआईवी का समय पर इलाज करवाते हैं, तो आप एक स्वस्थ जीवन जी सकते हैं।
एचआईवी और एड्स में क्या है अंतर?
एचआईवी का पूरा नाम ह्यूमन इम्यूनोडिफिशिएंसी वायरस (Human immunodeficiency viruses) है। यह हमारे शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली की टी सेल्स को नष्ट कर देती है। वहीं, एड्स का पूरा नाम एक्वायर्ड इम्यूनो-डिफिशिएंसी सिंड्रोम (Acquired immune deficiency syndrome) है। जो एचआईवी संक्रमण के बाद की स्थिति है। एचआईवी और एड्स एक इंसान से दूसरे इंसान को हो सकता है। हालांकि, यदि कोई व्यक्ति एचआईवी से संक्रमित है, तो यह जरूरी नहीं कि उसे एड्स हुआ हो।
एचआईवी कैसे फैलता है? (How Is HIV Transmitted)
- कंडोम के बिना वजाइनल या एनल सेक्सुअल कॉन्टैक्ट करने से एचआईवी फैल सकता है। एक्सपर्ट का कहना है कि वजाइनल की तुलना में एनल (गुदा) सेक्सुअल कॉन्टैक्ट से एचआईवी का खतरा ज्यादा रहता है।
- संक्रमित व्यक्ति के साथ शारीरिक संबंध बनाने से भी एचआईवी संक्रमण फैल सकता है।
- संक्रमित इंजेक्शन या फिर संक्रमित ब्लड के जरिए एचआईवी फैल सकता है।
- अगर मां एचआईवी से संक्रमित है, तो इससे शिशु को स्तनपान कराने से भी एचआईवी का खतरा हो सकता है। हालांकि, एंटीरेट्रोवायरल दवाओं (Antiretroviral drugs) की मदद से इस संक्रमण को फैलने से रोका जा सकता है।
- अगर आप एचआईवी से संक्रमित हैं, तो एड्स भी होगा या नहीं, यह इस बात पर निर्भर करता है कि आपने अपना इलाज कितनी जल्दी या देरी से शुरू किया है। ऐसे में एचआईवी संक्रमण का समय पर इलाज कराना बहुत ही जरूरी हो जाता है।
किन चीजों से नहीं फैलता है एचआईवी (HIV Cannot Be Spread)
- हवा और पानी के जरिए एचआईवी नहीं फैलता है।
- मच्छर या कीड़े के काटने से एचआईवी नहीं फैलता है।
- सलाइवा, आंसू या फिर पसीने के जरिए भी एचआईवी नहीं फैलता है।
- एचआईवी संक्रमित व्यक्ति के साथ हाथ मिलाने से, टॉयलेट शेयर करने से या फिर साथ बैठकर खाने-पीने से नहीं फैलता है।
एचआईवी के लक्षण (Symptoms of HIV)
एचआईवी के कुछ सामान्य लक्षण निम्न हैं। -
- शरीर का वजन कम होना।
- काफी थकान महसूस होना।
- जोड़ों में दर्द और सूजन होना।
- मांसपेशियों में खिंचाव होना।
- सिर दर्द होना।
- गले में खराश और खिचखिच होना।
- बहुत जल्दी-जल्दी बीमार पड़ना।
- स्किन और नाखूनों में बदलाव आना, इत्यादि।

एचआईवी और एड्स से बचाव (How to Prevent HIV and Aids)
- पार्टनर के साथ शारीरिक संबंध बनाते समय कंडोम का इस्तेमाल करें। असुरक्षित यौन संबंध आपके लिए खतरनाक साबित हो सकता है।
- हमेशा नया इंजेक्शन लगवाएं। किसी भी व्यक्ति द्वारा इस्तेमाल किए गए सुई का इस्तेमाल न करें।
- ब्लड की जरूरत पड़ने पर बिना टेस्ट कराए खून का इस्तेमाल न करें।
- एक से अधिक पार्टनर के साथ असुरक्षित शारीरिक संबंध न बनाएं।
- अगर आपको एचआईवी के लक्षण दिखें, तो तुरंत अपनी जांच कराएं।
ध्यान रखें कि एचआईवी से संक्रमित होने पर इसका समय से इलाज कराना बहुत ही जरूरी है ताकि एड्स होने के खतरे से बचा जा सके। एचआईवी के लक्षणों को कभी भी नजरअंदाज न करें। साथ ही इसके बचाव के टिप्स अपनाएं।