
अगोराफोबिया एक प्रकार का एंजाइटी डिसऑर्डर है जो कि किसी जगह या स्थिति से जुड़े भय के कारण होता है। इससे बचना मुश्किल होता है। यदि यह परेशानी किसी व्यक्ति को हो जाती है तो उसका समाधान बड़ी मुश्किल से ही हो पाता है। इस फोबिया के लोगो को बहुत डर लगता है और वह स्वयं को हताश समझते हैं। उन्हें बार-बार पैनिक अटैक आ सकते हैं। इससे बहुत अधिक चिंता भी होने लगती है। वे भीड़-भाड़ वाली जगहों में ज्यादा कंफर्टेबल महसूस नहीं करते। ऐसे में जिन लोगो को यह फोबिया होता है वह ज्यादातर घर पर ही रहना पसंद करते हैं। यदि वह बाहर निकलते हैं तो उन्हें अपने साथ कम से कम, एक या दो लोगों का साथ चाहिए होता है।
अगोराफोबिया के लक्षण व संकेत
जिन लोगो को अगोराफोबिया होता है वह स्वयं को अकेला रखने से डरते हैं, वह पब्लिक प्लेस पर भी अपना नियंत्रण खोने से डरते हैं।
- दूसरे लोगों से अलग रहना पसंद करते हैं।
- स्वयं को मजबूत महसूस करना चाहते हैं।
- उनको लगता है कि उनका शरीर या उनके आस पास का माहौल असली नहीं है।
- यह फोबिया लोगो को किसी और व्यक्ति विशेष पर निर्भर रहने पर मजबूत कर देता है।
- इस फोबिया के कारण कुछ पैनिक अटैक्स भी आते हैं जिनके लक्षण निम्न हैं :
- डायरिया व जी मिचलाना
- धड़कन तेज हो जाना।
- छाती में दर्द होना या डिस्कंफर्ट महसूस करना।
अगोराफोबिया के कारण
एंजाइटी डिसऑर्डर के अलावा अभी तक इसके कारणों का स्पष्टता से पता नहीं चला है। परंतु इसके कुछ जाने माने कारण निम्न हैं:
जेनेटिक कारण
इस प्रकार के डिसऑर्डर परिवार से सम्बन्धित हो सकते हैं। यदि आप के परिवार में किसी अन्य व्यक्ति को भी यह फोबिया है तो निश्चित ही यह आप को भी हो सकता है।
ब्रेन स्ट्रक्चर की वजह से
यदि आप के दिमाग के उन हिस्सों में डिफरेंस है जो आप को डर व स्ट्रेस आदि से बचाने में मदद करते हैं तो यह भी आपके फोबिया के कारणों में से एक हो सकता है।
किसी दुर्घटना से जुड़ी यादें
यदि आप के साथ बचपन में या कभी भी कोई शारीरिक या सेक्सुअल ट्रौमा हुआ है तो उसे याद करने पर भी आप को अगोराफोबिया हो सकता है।
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यह कितनी अवधि तक रह सकता है?
यदि इस फोबिया को आप शुरुआत से ही गम्भीरता से नहीं लेते हैं तो इसको बाद में ठीक करना थोड़ा मुश्किल हो जाता है। परंतु यदि आप प्रभावित तरीको या कुछ थेरेपी द्वारा इसको ठीक करने का प्रयास करते हैं तो लगभग 10 से 20 सेशंस में आप को इस फोबिया में पूरा असर देखने को मिलेगा। और उसके बाद कुछ ही हफ्तों में आप पूरी तरह से ठीक हो सकते हैं।
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अगोराफोबिया का उपचार
इस को मुख्य तौर से साइको थेरेपी जैसे सीबीटी आदि की मदद से ठीक किया जा सकता है। यदि इस फोबिया के साथ साथ आप को कोई अन्य मानसिक बीमारी भी पाई जाती है तो उसको ठीक करने के लिए एंटी डिप्रेसेंट का प्रयोग किया जाता है।
सीबीटी पीड़ित लोगो को उनके अंदर होने वाले बदलावों को पहचानने में मदद करती है। यदि आप को लंबे समय तक उपचार लेने की जरूरत है तो आप के लिए यह थेरेपी बहुत ही उपयोगी है। क्योंकि यह ज्यादा महंगी नहीं होती है और आप के बजट में ही आ जाती है।
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