गर्मी के मौसम में कोल्ड ड्रिंक्स का महत्व बढ़ जाता है। बाजार में सैकड़ों ब्रांड्स के रंग-बिरंगे कोल्ड ड्रिंक्स देखे जा सकते हैं। इनमें से ज्यादातर कोल्ड ड्रिंक्स में शुगर घुला हुआ कार्बोनेटेड पानी होता है। ये बात शायद सभी जानते हैं कि इन कोल्ड ड्रिंक्स का सेवन सेहत के लिए नुकसानदायक है, इसके बावजूद लोग इन्हें पीते हैं। यही कारण है कि भारत में सॉफ्ट ड्रिंक्स का मार्केट लगभग 140 बिलियन डॉलर का है, जिसके अगले 5 सालों में 200 बिलियन डॉलर तक पहुंच जाने की संभावना है। आप कोल्ड ड्रिंक पीते समय शायद ही सोचते हों कि ये मीठा पानी आपके शरीर में जाने के बाद सेहत पर क्या असर डालता है।
बहुत ज्यादा चीनी के कारण बढ़ सकता है ब्लड शुगर लेवल
बाजार में मिलने वाले सॉफ्ट ड्रिंक्स में बहुत अधिक मात्रा में चीनी घुली होती है, जिसके कारण इसे पीते ही आपका ब्लड शुगर लेवल बढ़ जाता है। ये शुगर तुरंत तो आपके सेहत पर बुरा असर डालता ही है, साथ ही लंबे समय में आपको कई गंभीर बीमारियों की तरफ धकेलता है। 500 ml के एक कोल्ड ड्रिंक की बॉटल में 50 ग्राम से ज्यादा, यानी लगभग 12 चम्मच चीनी घुली हुई होती है। नैशनल हेल्थ सर्विस (NHS) के अनुसार एक स्वस्थ व्यक्ति के लिए एक दिन में 30 ग्राम से अधिक शुगर का सेवन बेहद खतरनाक हो सकता है।
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पेट में बनने वाला एसिड प्रभावित होता है
ज्यादातर कोल्ड ड्रिंक्स में कार्बन डाई ऑक्साइड घुली हुई होती है। कोल्ड ड्रिंक पीने के बाद जब ये पेट में जाता है तो पेट की गर्मी के कारण ये गैस में बदलने लगता है, यही कारण है कि कुछ लोगों को इसे पीने पर तुरंत डकार आती है। ये कार्बन डाई ऑक्साइड पेट के लिए ब्लीचिंग एजेंट की तरह काम करता है जिससे आपके पेट में बनने वाले डाइजेस्टिव एंजाइम प्रभावित होते हैं। इसी वजह से कई बार ज्यादा कोल्ड ड्रिंक्स पीने से या रात के समय कोल्ड ड्रिंक्स पीने से सीने में जलन होने लगती है।
दांतों की सुरक्षा पर्त को पहुंचाता है नुकसान
कोल्ड ड्रिंक्स या सोडा ड्रिंक्स में फॉस्फोरिक एसिड और कार्बोनिक एसिड होता है, जो आपके दांतों के सुरक्षा पर्त यानी इनेमल को नुकसान पहुंचाता है। इससे दांतों में सेंसटिविटी और कैविटी जैसी समस्याएं हो सकती हैं। बच्चों को कोल्ड ड्रिंक्स पिलाने से कई नुकसान होते हैं, जिसमें से दांतों में सड़न प्रमुख है।
किडनी पर पड़ता है बुरा असर
एक साथ बहुत ज्यादा मात्रा में शुगर जाने से शरीर की मसल्स सारे शुगर का इस्तेमाल नहीं कर पाती हैं इसलिए किडनी इस शुगर को फिल्टर करके पेशाब के रास्ते से शरीर से बाहर निकालने का प्रयास करने लगती है। इससे आपको पेशाब ज्यादा लगती है और आपके शरीर में पानी का लेवल घटने लगता है। यही नहीं, इस पूरी प्रक्रिया में आपकी किडनी को सामान्य से कई गुना ज्यादा मेहनत करनी पड़ती है, जिसके कारण कोल्ड ड्रिंक्स का सेवन किडनी को नुकसान पहुंचाता है।
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दिमाग पर पड़ता है बुरा असर
कोल्ड ड्रिंक्स में कैफीन भी होता है, जो एक तरह का एडिक्टिव (नशीला) कंपाउंड है। रिसर्च में पाया गया है कि कोल्ड ड्रिंक्स पीने के 5-10 मिनट के अंदर ही आपके शरीर में डोपामाइन का लेवल बढ़ जाता है। इस हार्मोन के कारण आपको थोड़ी देर खुशी महसूस होती है, जिसके कारण आप इसे और ज्यादा पीना चाहते हैं। मेडिकल न्यूज टुडे पर छपे एक लेख में इस नशीलेपन की तुलना हेरोइन के नशे से की गई है। इसलिए इसका असर आपके ब्रेन फंक्शन पर भी पड़ता है।