आप की अच्छी सेहत के लिए डाइट में कार्बोहाइड्रेट का होना जरूरी है। यह आप के शरीर के बहुत सारे अंगों को ऊर्जा प्रदान करने का काम करता है। जैसे आप के दिमाग, किडनी व नर्वस सिस्टम आदि को। इनकी मदद से पाचन तंत्र कार्बोहाइड्रेट को ग्लूकोज में तोड़ता है और पैंक्रियास ग्लूकोज को कोशिकाओं में ले जाने में मदद करने वाले इंसुलिन नामक एक हार्मोन को स्रावित करता है। कार्ब के दो प्रकार होते हैं सिंपल व कांप्लेक्स। कांप्लेक्स कार्ब आप के लिए ज्यादा लाभदायक होते हैं। परन्तु सिंपल कार्ब तब लाभदायक होते हैं जब आप को तुरन्त ऊर्जा की जरूरत हो जैसे वर्कआउट के कुछ समय पहले। कार्ब्स कब खाना चाहिए और कौन से कार्ब्स आपके लिए हेल्दी हो सकते हैं, बता रही हैं कोलंबिया एशिया हॉस्पिटल, गाज़ियाबाद की डायटीशियन डॉ अदिति शर्मा।
लो कार्ब डाइट्स (Diet With Low Carb)
इस प्रकार की डाइट वजन कम करने के लिए सहायक होती है। क्योंकि अक्सर ऐसा माना जाता है कि कार्बोहाइड्रेट से वजन बढ़ता है। कार्बोहाइड्रेट के कुछ मुख्य स्रोत हैं चावल, ब्रेड, पास्ता आदि। लो कार्ब डाइट मुख्य रूप से इन चीजों की अधिक इनटेक मात्रा को नियंत्रित करती है। हांलांकि यह गलत है क्योंकि आप का वजन आप पूरे दिन में कितनी कैलोरी खाते हैं उस हिसाब से बढ़ता है। यह न केवल कार्बोहाइड्रेट से बल्कि फैट या प्रोटीन से भी आप का वजन बढ़ सकता है। कुछ लोग जो इस प्रकार की डाइट फॉलो करते हैं उन्हें निम्न समस्याएं झेलनी पड़ सकती हैं जैसे -जी मिचलाना, कब्ज होना, आलस, डिहाइड्रेशन, भूख न लगना, सांसों से बदबू आना।
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वजन कम करने के लिए (To Reduce Weight)
रिसर्च के दौरान पता चला है कि आप का शरीर सुबह कार्ब बर्न करता है और शाम को फैट। अतः आप को फैट बर्न करने के लिए मुख्य कार्ब डाइट सुबह ही लेनी चाहिए। परन्तु कुछ अध्ययन यह भी बताते हैं कि आप का वजन अधिक कैलोरी ग्रहण करने से बढ़ता है। इसलिए यदि आप कार्ब से युक्त मील शाम को लेते हैं तो उससे फैट लॉस होने में दिक्कत होती है। अतः समय से ज्यादा जरूरी आप का कार्ब इनटेक होता है।
यदि आप ज्यादा कैलोरी व कार्ब ग्रहण करते हैं तो आप को वजन कम करने में दिक्कत होगी।आप फाइबर से युक्त व कांप्लेक्स कार्ब को भी चुन सकते हैं जैसे ओट्स आदि। लेकिन सफेद ब्रेड व पास्ता अथवा पेस्ट्री खाने से बचें।
मसल्स बनाने के लिए (If You Are Building Muscles)
वर्कआउट के पहले या बाद में कार्ब्स खाने से आप को एनर्जी मिलती है और आप के शरीर में प्रोटीन सिंथेसिस भी बढ़ता है। वर्कआउट करने के बाद हमारे शरीर को एनर्जी की आवश्यकता होती है और इसलिए कांप्लेक्स कार्ब एक बेस्ट ऑप्शन है।
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कार्बोहाइड्रेट का चुनाव (For Carbohydrates Selection)
यदि आप लो कार्ब डाइट फॉलो करना चाहते हैं तो कार्बोहाइड्रेट को बिल्कुल ही अपनी डाइट से न हटाएं। आप को ऊर्जा के लिए व फैट कम करने के लिए कुछ कार्ब की आवश्यकता होगी। ऐसे कार्ब्स का चुनाव करें जो रिफाइंड व प्रोसेस्ड न हों। मीठी चीजों से परहेज़ करें। इसके बजाय आप फल व सब्जियों को अपनी डाइट मे शामिल कर सकते हैं। साथ में प्रोटीन रिच खाद्य पदार्थ जैसे रेड मीट, मछली, लीन चिकन व पोर्क, नट्स, दाल, ऑलिव ऑयल, पीनट आदि का सेवन करें।
कार्ब खाने का सही समय (Best Time To Eat Carbs)
आप को ज्यादा से ज्यादा फाइबर से युक्त कार्ब खाने चाहिए। आप इस प्रकार के कार्ब दिन में किसी भी समय खा सकते है। स्टार्च से युक्त कार्ब आप को वर्कआउट के बाद खाना सही है। जबकि शुगर से युक्त कार्ब बहुत कम खाएं और इन्हें आप एक्सरसाइज के बाद खा सकते हैं। कार्ब हमारी डाइट का एक मुख्य हिस्सा है। इसको आप अपनी डाइट से बिल्कुल खत्म नहीं कर सकते हैं। बल्कि कार्ब के हेल्दी स्रोत को आप अपनी डाइट में शामिल कर सकते हैं। कार्ब को सही समय पर खाने से व एक हेल्दी स्रोत को अपनाने से आप अपना वजन कम कर सकते हैं।
कोलंबिया एशिया हॉस्पिटल, गाज़ियाबाद की डायटीशियन डॉ अदिति शर्मा से बातचीत पर आधारित।
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