ब्रह्ममुहूर्त या अमृतबेला (सुबह चार बजे) में जागना सर्वोत्तम माना गया है। तभी तो बचपन में ही यह सिखाया जाता है कि 'अर्ली टू बेड, अर्ली टू राइज मेक्स अ पर्सन, हेल्दी, वेल्दी एंड वाइज।' यानी सुबह जल्दी जागने पर व्यक्ति बलवान, बुद्धिमान और धनवान बनता है। सुबह जल्दी जागने का मतलब है सूर्योदय के पहले बिस्तर छोड़ देना।
ऐसा करना काफी फायदेमंद होता है:
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- सूर्योदय पूर्व जागने से शरीर एवं मस्तिष्क में खून का संचार तेज होता है। आप दिन भर तरोताजा महसूस करते हैं। सूर्योदय के बाद जागने से रक्त संचार ऋणात्मक और बहाव धीमा हो जाता है। देर से जागने से न केवल उल्टे-सीधे सपने आते हैं बल्कि प्रतिरक्षा तंत्र भी कमजोर होता है
- दिमाग की क्षमता का विकास होता है और याददाश्त तेज होती है
- कब्ज एवं अपच जैसी समस्याएं कभी नहीं पैदा होंगी
- दिनभर का काम योजनाबद्ध तरीके से करना संभव होता है
- सुबह जल्दी उठने से आपकी आंखें कभी कमजोर नहीं होंगी।
क्या करें जल्दी जागकर
- सुबह जल्दी उठने के बाद पार्क या किसी हरे-भरे स्थान पर घूमने जाएं। घूमते वक्त तेजी से सांस लें ताकि आपको भरपूर शुद्ध आक्सीजन मिले
- सुबह खाली पेट रहें और खुली हवा में प्राणायाम करें। इससे खून का संचरण तथा पाचन तंत्र बेहतर रहेगा। ब्रह्ममुहूर्त में सूर्य नमस्कार करना सेहत के लिए काफी फायदेमंद होता है
- सुबह उगते सूर्य को देखना भी काफी लाभदायक होता है। इससे आंखों की रोशनी एवं दिमाग की एकाग्रता बढ़ती है।
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