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कई बार यात्रा के दौरान छोटे बच्चे बीमार पड़ जाते हैं या यात्रा से पहले ही उनकी तबीयत थोड़ी बहुत खराब हो जाती है। ऐसे में पेरेंट्स यात्रा के दौरान काफी परेशान हो जाते हैं। साथ ही उन्हें इस बात की चिंता भी सताती है कि कहीं उनका बच्चा और अधिक बीमार न पड़ जाए और स्थिति नियंत्रण से बाहर न हो जाए। सबसे बड़ी परेशानी तब होती है, जब बच्चा बहुत छोटा होता है और वह अपनी तकलीफ आपको बोलकर बता नहीं पाता है। छोटे बच्चे सिर्फ रोकर अपनी तकलीफ बता पाते हैं। ऐसे में पेरेंट्स के लिए ये समझना मुश्किल हो जाता है कि उन्हें शांत कैसे कराएं और उनकी तकलीफ कैसे दूर करें। ऐसी स्थिति में माता-पिता के तौर आपके घबराने की जगह बच्चे को कैसे आऱाम मिले, इस पर विचार करना चाहिए। हो सके तो उन्हे सुलाने के लिए आऱामदायक जगह लें। उन्हें बिल्कुल हल्का खाना दें क्योंकि यात्रा के दौरान अधिक खाना से पेट की कई परेशानियां बच्चे को हो सकती है। इसके अलावा उन्हें अधिक से अधिक पानी पीने को दें ताकि उनका शरीर हाइड्रेट रहे। इसके अलावा यात्रा के दौरान बच्चे के हाइजीन पर पूरा ध्यान दें ताकि किसी प्रकार का संक्रमण न उनके शरीर में न फैले। सर्दी-जुकाम की परेशानी होने पर उन्हें कुछ गर्म चीज खाने-पीने को दें। गर्मी के मौसम में ठंडी-गर्म चीजों के एक साथ सेवन से बचें।
बीमार बच्चे का ऐसे रखें ध्यान
1. बाल रोग विशेषज्ञ से सलाह लें
अगर आपका बच्चा यात्रा के दौरान बीमार पड़ता है या उससे पहले से बीमार है, तो खुद किसी भी प्रकार की दवा देने से बेहतर है कि आप सबसे पहले अपने पीडियाट्रीशियन से बच्चे के स्वास्थ्य के बारे में बताएं। अगर बच्चे में किसी भी तरह के लक्षण देखते हैं, तो उसे अनदेखा न करें और तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें। यात्रा के दौरान भी परेशानी होने पर आपको सबसे पहले डॉक्टर से संपर्क करने का प्रयास करना चाहिए क्योंकि डॉक्टर मौजूद साधनों के साथ बच्चे के इलाज के बारे में बेहतर जानकारी दे सकते हैं। ताकि बच्चे की परेशानी कुछ कम हो सके। इसके अलावा बीमार बच्चे के साथ यात्रा करना जोखिम भरा हो सकता है इसलिए इसे हमेशा इग्नोर करें।
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2. यात्रा में दवा साथ रखें
यात्रा के दौरान भले ही आपका बच्चा बीमार हो या न हो लेकिन सेहत से जुड़ी कुछ जरूरी दवाएं साथ लेकर जरूर चलें। ताकि यात्रा के दौरान बच्चे को जुकाम या बुखार होने पर आप उन्हें डॉक्टर द्वारा बताई गई दवा दे सकते हैं। इसके अलावा बच्चे के पेट में दर्द, उल्टी और गले में दर्द होने पर ये दवाएं काम आ सकती है क्योंकि हो सकता है कि आपको जरूरत पर सामने कोई दुकान नजर न आए और बच्चे की तबीयत अधिक खराब हो जाए। इसलिए यात्रा के दौरान सामान में दवाओं को जरूर पैक करें।
3. हवाई यात्रा के दौरान सर्तक रहें
आजकल कई लोग ट्रेन की जगह हवाई यात्रा करना अच्छा और समय की बचत के लिहाज से बेहतर समझते हैं। ऐसे में ऊंचाई पर जाने पर बच्चे को सांस लेने या नाक से खून आने की परेशानी हो सकती है लेकिन उस दौरान भी आपको पैनिक होने की जगह धैर्य से काम लेना होगा ताकि समस्या से निपटा जा सके। इससे बच्चे के कान में भी दिक्कत हो सकती है। वायुदाब कम होने पर इस तरह की परेशानी होती है। दबाव को कम करने के लिए आप टेक ऑफ और लैंडिंग के दौरान बच्चे के कुछ खाने के लिए दे सकते हैं। इससे बच्चे का ध्यान भी अलग चीजों में लगा रहेगा।
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4. बच्चे के खानपान का ध्यान रखें
अक्सर बच्चे यात्रा के दौरान कई बाहर की चीजों को लेकर जिद्द करने लगते हैं लेकिन बाहर का खाना अधिक खाने से उनकी परेशानी बढ़ सकती है। ऐसे में आप यात्रा के दौरान उन्हें अधिक से अधिक घर का बना खाना खाने को दें ताकि वह फ्रेश और अच्छा महसूस करें। इस दौरान बच्चे को हल्की चीजों का सेवन करने दें और अधिक से अधिक पानी का सेवन करने की सलाह दें ताकि शरीर हाइड्रेट रहे। किसी तरह की परेशानी न हो।
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5. बच्चे को आराम करने को कहें
बच्चे को खेलना बहुत पसंद होता है। ऐसे में वह यात्रा के दौरान भी खेलना-कूदना और भागना-दौड़ना पसंद करते हैं। इससे उनकी सेहत खराब हो सकती है। लंबी यात्रा के दौरान अच्छे से नींद न लेना और अधिक शारीरिक थकान बच्चे को कमजोर बना सकती है। इसलिए बच्चे को थोड़ा बहुत खेलने के साथ सोने को भी कहें ताकि थकान दूर हो सके।
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