अस्थमा सांस से जुड़ी एक बीमारी है, जिसकी वजह से किसी को भी काफी तकलीफ हो सकती है। अस्थमा को दमे की बीमारी के नाम से भी जाना जाता है। अस्थमा (Asthma) में पीड़ित के फेफड़े बुरी तरह प्रभावित होते हैं। इसके साथ ही इस रोग में फेफड़ों में न तो सही मात्रा में ऑक्सीजन पहुंच पाती है न ही पीड़ित सही तरह से सांस ले पाता है। दिल्ली जैसे बड़े शहरों में अस्थमा के मरीज काफी ज्यादा तादात में मिल जाएंगे, इसके पीछे वजह बढ़ता प्रदूषण और और बदलती जीवनशैली है। वैसे तो अस्थमा एक ऐसा रोग है जिसमें कोई उम्र नहीं है ये किसी भी उम्र के शख्स को अपना शिकार बना सकती है। कई मामलों में ये इतना गंभीर हो जाती है कि मरीज को नाम मात्रा का भी सांस लेने के लिए पूरी ताकत लगानी पड़ती है।
बढ़ते प्रदूषित वातावरण में अक्सर देखा जाता है कि जो लोग अस्थमा (Asthma) से पीड़ित होते हैं उन्हें सांस लेने में परेशानी के साथ खांसी और कफ की समस्या भी होती है। वहीं, उनके लिए स्मोकिंग, वायु प्रदूषण, धूल, धुआं, कॉस्मेटिक और अगरबत्ती जैसी चीजें काफी नुकसानदायक होती है, इन सभी चीजों से अस्थमा की परेशानी काफी गंभीर हो सकती है और अस्थमा का अटैक भी आ सकता है। अस्थमा अटैक कभी भी कहीं भी हो सकता है।
इन कारणों से आता है अटैक
आस्थमा (Asthma) अटैक तब होता है जब धूल के कण आक्सीजन ले जाने वाली नलियों को बंद कर देते हैं, ऐसा ठंड या एक्सरसाइज से भी हो सकता है। इससे बचना मरीज के लिए बहुत जरूरी होता है नहीं तो इससे मरीज की मौत भी हो सकती है। कई बार ऐसा होता है कि हमारे सामने अस्थमा का कोई मरीज अटैक के कारण काफी छटपटाता रहता है और हमे समझ नहीं आता कि क्या करना चाहिए या फिर बहुत से लोग ऐसे भी होते हैं जिन्हें पता ही नहीं होता कि सामने वाले शख्स को अस्थमा का अटैक आया है। आइए जानते हैं कि अस्थमा अटैक से कैसे बचाव करना चाहिए और इसे कैसे पहचानना चाहिए।
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लक्षण
- सांस लेने में काफी परेशानी होना।
- जल्दी-जल्दी सांस लेने की कोशिश करना।
- बीच-बीच में खांसी आना
- सीने में दर्द।
- सीने में जकड़न महसूस होना।
अटैक आने पर करें ऐसे बचाव
- अटैक आने पर आप कभी भी घबराएं नहीं, इससे आपके मांसपेशियों में गहरा तनाव पड़ता है जिससे आपको और भी ज्यादा परेशानी हो सकती है।
- अटैक आने पर एक-दो इनहेलर का इस्तेमाल कर आप धीरे- धीरे सांस लेने की कोशिश करें।
- पीक फ्लो मीटर की मदद से अपने अटैक की स्थिति नापें।
- अगर आपको आराम न आए या फिर अगर आराम आ भी जाए तो आप डॉक्टर से संपर्क जरूर करें। ध्यान रहे इस स्थिति में अपने आपकी परेशानी को नजरअंदाज करना आपके लिए काफी नुकसानदायक हो सकता है।
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मरीज इस तरह रखें अपना ध्यान
- अपने खान-पान पर रखें विशेष ध्यान।
- बढ़ते प्रदूषण में बरतें सावधानी
- धूम्रपान से हमेशा रहें दूर।
- समय पर दवा लें।
- ज्यादा ठंडी और खट्टी चीजों का सेवन न करें।
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