क्या आपको भी बात-बात पर गुस्सा आता है और फिर थोड़ी देर बाद आप सामान्य हो जाते हैं? अगर ऐसा है, तो सही है लेकिन अगर इसके विपरीत है, तो यह आपके लिए नुकसानदायक है। यानि अगर आप उनमें से एक हैं, जिन्हें गुस्सा आता है और वह उसे मन में लंबे समय के लिए दबाए रहते हैं, तो वह उनके स्वास्थ्य के लिए खतरनाक हो सकता है। अक्सर लोगों को यह कहते आपने सुना होगा कि हमारे दिमाग का हमारे शरीर पर बहुत प्रभाव पड़ता है। यदि हम भावनात्मक रूप से ठीक नहीं हैं, तो यह शारीरिक रूप से हमें प्रभावित कर सकता है। यह बिलकुल सही है, क्योंकि हमारा दिमाग और शरीर एक दूसरे से जुड़े हैं, इसलिए इनका एक-दूसरे पर भी असर पड़ता है। हालांकि हम सभी को अपने जीवन में संघर्ष और टकराव का सामना करना पड़ सकता है, लेकिन अगर आप स्वस्थ रहना चाहते हैं, तो गुस्सा, द्वेष, ईर्ष्या को त्याग दें। आइए यहां हम आपको बताते हैं कि गुस्सा मन में रखने से आपकी सेहत किस तरह प्रभावित होती है।
सेहत के लिए कैसे हानिकारक है मन में गुस्सा रखना
आपने लोगों को यह कहते तो बहुत सुना होगा कि ज्यादा गुस्सा करना सेहत के लिए अच्छा नहीं होता है। लेकिन कैसे? यह आपको हम इस लेख में बता रहे हैं। शोध के अनुसार, जो लोग बहुत अधिक गुस्सा करते हैं या फिर मन में गुस्सा दबाए रखते हैं, उनमें तनाव, हृदय रोग, कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली और मेटाबॉलिज्म में गड़बड़ी की संभावना अधिक होती है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि हमारी शारीरिक स्वास्थ्य हमारे भावनात्मक कल्याण से अत्यधिक प्रभावित होता है।
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मन में गुस्सा रखना क्यों खराब हैं?
मन में गुस्सा रखने से आपके मन में वे नकारात्मक भावनाएं बार-बार याद आती रहती हैं, जो आपको गुस्सा और दुखी करती हैं। यह आपको अपने जीवन का आनंद लेने से भी रोक सकता है। इसलिए सभी नकारात्मकता को पीछे छोड़ दें और उन सभी बुरी यादों को भूलकर एक यात्रा शुरू करें। यदि आप गुस्से को मन में रखेंगे, तो यह आपके रिश्तों को खराब करने के साथ-साथ आपकी सेहत को भी नुकसान पहुंचाएगा।
मन में गुस्सा रखने के नुकसान
यदि आप अपने मन में गुस्से को लंबे समय तक दबाए रखते हैं, तो इससे आपका स्वास्थ्य इस तरह प्रभावित हो सकता है:
- तनाव बढ़ सकता है
- हृदय रोगों का खतरा
- हाई ब्लड प्रेशर की समस्या
- कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली
- भावनात्मक रूप से कमजोर
- रिश्तों में दूरी
- नकारात्मक होना आदि।

मन मे गुस्सा रखने को कैसे रोकें?
- आप गुस्से को अपने मन से निकालने के लिए इन चीजों का अभ्यास कर सकते हैं:
- अपने आप को कमजोर या पीड़ित मत समझो, बल्कि दर्द को महसूस कर अंततः आगे बढ़ने की क्षमता रखो। चोट लगना और संघर्ष, हमारे जीवन का सामान्य हिस्सा है।
- गुस्सा मन में रखने के बजाय उसे निकाल फेंको। यदि आपको किसी से शिकायत है, तो आप उस व्यक्ति से बात करके कारण जानने की कोशिश करें।
- गलतफहमियों का शिकार बनकर मन में गुस्सा न रखें। सच्चाई जानें और सकारात्मकता के साथ आगे बढ़ें।
- दयालू बने और यदि किसी ने आपको जान बूझकर भी चोट पहुंचाने के लिए कुछ किया है, तो उन्हें हमेशा जाने देना बेहतर है। क्योंकि इससे आपकी अच्छाई दिखेगी।
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