हम में से अधिकांश लोगों को कभी न कभी उदासी घेर सकती है। यह उदासी किसी नुकसान किसी अपने से बिछड़ने या जीवन में कुछ चुनौतियों (Challenges) वजह से हो सकती है। लेकिन जब यही उदासी आपके निराशाजनक व्यवहार, नकारात्मकता(Negativity) या हर समय सुस्त बैठे रहने का कारण बन जाए तो यह डिप्रेशन (Depression) है। लेकिन आप डिप्रेशन में हैं यह सामने वाले को पता करना थोड़ा मुश्किल होता है। इसलिए आपका इस तरह से बैठा रहना कुछ और प्रतीत होता है। इसका असर आपके शरीर और दूसरों पर अच्छा नहीं पड़ता है। जो लोग डिप्रेस्ड होते हैं वह बस एक जगह बैठा या लेटे रहना चाहते हैं। वह कोई कार्य नहीं करते। उनका एक तरह से पैशन (Passion) ही खत्म हो जाता है। इस स्थिति में लोग उन्हें आलसी(Lazy) मानने लगते हैं। लेकिन आप को बता दें कि आलसी होने में और डिप्रेस्ड होने में एक बहुत ही पतली रेखा होती है। जिसे हर कोई समझ नहीं पाता। इसलिए अगर आपको कोई व्यक्ति आलसी लगता है तो उसे जज करने या गलत समझने से पहले एक बार उनकी स्थिति के बारे में जरूर जान लेना चाहिए। आइए जानते हैं डिप्रेशन में आ कर लोग ऐसा क्या करते हैं जिसे आलस समझ लिया जाता है।
1. सोशल लाइफ में एक्टिव न रहना (Inactive Social Interaction)
डिप्रेशन में लोग अपने कमरे में ही अकेले रहना पसंद करते हैं। वह किसी से मिलना और बात करना पसंद नहीं करते। उनके परिवार वाले इसे लोगों से न मिलने का बहाना और लापरवाही समझ लेते हैं। लेकिन यह एक डिप्रेशन का लक्षण होता है। इसलिए अगर आपको अपने परिवार में से कोई ऐसा व्यक्ति दिखता है जो ऐसा कर रहा है तो उसे आलसी न समझें।
इसे भी पढ़ें - ज्यादा बिजी रहने वाले मां-बाप के बच्चे हो सकते हैं 'साइकॉटिक डिप्रेशन' का शिकार, ऐसे पहचानें लक्षण
टॉप स्टोरीज़
2. बीच-बीच में बहुत सारे ब्रेक्स लेना (Too Much Breaks In between)
जो लोग डिप्रेस्ड होते हैं वह काफी समय के लंबे लंबे ब्रेक्स लेना और रेस्ट करना पसंद करते हैं। वह बेड से उठने और काम करने में बहुत समय लगाते हैं। उनका माइंड डिस्टर्ब होता है और उन्हें काम में फोकस लगाने में बहुत दिक्कत होती है। वह बहुत थके हुए महसूस करते हैं। वह जिंदगी में जो भी काम करते हैं उसमें उन्हें एंजाइटी महसूस होती है। जिस कारण वह स्ट्रेस भी लेते हैं। वह अपना कंफर्ट जोन इतना जल्दी छोड़ने की कोशिश नहीं करते हैं।
3. काम पूरा न करना (Incomplete Work)
यदि आप कोई प्रोफेशनल कार्य करते हैं और इसे अधूरा छोड़ देते हैं। तो इसे बहुत ही अन प्रोफेशनल माना जाता है। काम को नकारना और अधूरा छोड़ना एक बिजनेस प्रोफेशन में अच्छा नहीं माना जाता है। इसे आलस का ही एक लक्षण माना जाता है। बहुत से लोग डिप्रेशन के कारण अपना पैशन और काम करने की लग्न को खो देते हैं। जिस कारण वह जॉब या कार्यक्षेत्र में भी अच्छा नहीं कर पाते हैं।
4. अनहेल्दी खाना खाने की आदतें (Unhealthy Eating Habits)
डिप्रेस्ड लोगों को खाना न पका कर बाहर का जंक फूड खाना बहुत पसंद होता है। क्योंकि खाने से उन्हें एक प्रकार का कंफर्ट मिलता है। इसे इमोशनल ईटिंग भी कह सकते हैं। डिप्रेस्ड व्यक्ति बहुत अधिक खाते हैं या बहुत कम खाते हैं। अगर वह अपना खाना खुद नहीं पका रहे हैं तो इसका मतलब यह नहीं है कि वह आलसी हैं। ओवर ईटिंग करना भी उनका डिप्रेशन से निजात पाने का ही एक तरीका होता है।
5. अपने लुक्स और पर्सनल हाइजीन पर ध्यान न देना (Neglecting Personal Hygiene)
सेल्फ केयर किसी भी व्यक्ति के लिए बहुत जरूरी होती है। यह हमारे शरीर के लिए भी जरूरी है। लेकिन जब कोई व्यक्ति डिप्रेस्ड होता है तो वह खुद को अधिक प्रेम और सेल्फ केयर नहीं दे पाता है। वह अपने लुक के बारे में भी कोई ध्यान नहीं देता। न ही अपनी पर्सनल हाइजीन का ध्यान रखता है। इस कारण वह आलसी और स्लगिश लगते हैं।
इसे भी पढ़ें - डिप्रेशन की वजह से हो सकती है दिल की धड़कन अनियमित, जानें दोनों के संबंध और खतरे
तो यह थे डिप्रेस्ड लोगों द्वारा किए जाने वाले कुछ ऐसे काम जिन्हें हम आलस मान लेते हैं। आपको किसी भी व्यक्ति को आलसी बोलने से पहले एक बार उनकी स्थिति के बारे में पूछ लेना चाहिए और यह जानना चाहिए कि वह किस स्थिति से गुजर रहे हैं।
Read More Articles on Miscellaneous in Hindi