जुवेनाइल डायबिटीज अथवा किशोर मधुमेह में डायबिटीज टाइप1 और डायबिटीज टाइप2 दोनों आते हैं। हालांकि इन दोनों के लक्षण आमतौर पर एक जैसे ही होते हैं लेकिन इसका इलाज करने में बहुत दिक्कतें आती हैं। जब पैंक्रियाज नामक ग्लैंड शरीर में इंसुलिन बनाना कम कर देता है या बंद कर देता है, तो मधुमेह रोग होता है। इंसुलिन ब्लड में ग्लूकोज को नियंत्रित करने में मदद करता है। हालांकि ज्यादातर मधुमेह की समस्या वयस्कों और बूढ़ों को होती है, लेकिन कुछ कारणों से किशोर भी इसकी चपेट में आ जाते हैं। किशोरों में डायबिटीज माता-पिता के जरिए मिलता है। यदि किशोरावस्था में ये लक्षण हैं तो इसे बिलकुल ही नजरअंदाज न करें।
जुवेनाइल डायबिटीज के लक्षण
- डायबिटीज होने पर आंखों की रोशनी प्रभावित होती है, यदि देखने में समस्या हो और उनकी रोशनी लगातार कम होने लगे तो यह जुवेनाइल डायबिटीज का इशारा हो सकता है।
- अगर आप या आपका बच्चा खान-पान पर पूरा ध्यान दे रहा है, लेकिन इसके बाद भी वजन लगातार अनियंत्रित हो रहा है, तो यह भी किशोरावस्था मधुमेह का संकेत है।
- मधुमेह के कारण शरीर में ऊर्जा का हृास होता है। बच्चे और किशोर हमेशा ऊर्जावान रहते हैं, लेकिन हर समय कमजोरी और थकान महसूस करना, खेलकूद में कोई रुचि न रहना, किसी काम में मन न लगना आदि लक्षण कुछ और ही कहानी कहते हैं।
- किशोरावस्था में खरोंच और चोट लगना सामान्य है। लेकिन यदि आपकी चोट लगने के बाद जल्दी ठीक नहीं हो रही है, घाव हमेशा बढ़ रहा है तो ये लक्षण सामान्य नहीं हैं।
- इस उम्र में त्वचा नाजुक होती है, इसलिए त्वचा संबंधी रोग आसानी से हो सकते हैं, लेकिन यदि आपको बार-बार त्वचा के रोग हो रहे हैं, त्वचा में इंफेक्शन हो रहा है, तो यह जुवेनाइल डायबिटीज का लक्षण हो सकता है।
- सामान्य से ज्यादा भूख लग रही है, बार-बार खाने की इच्छा हो रही है। इसके अलावा आप अपनी खुराक से ज्यादा खा रहे हैं, इस लक्षण को बिलकुल भी नजरअंदाज मत कीजिए।
- डायबिटीज होने पर बार-बार पेशाब होता है, यदि आप बार-बार टॉयलेट जा रहे हैं, तो यह डायबिटीज का लक्षण है।
- फ्लू जैसे लक्षण दिखें तो इसे सामान्य बीमारी बिलकुल भी न मानें, सामान्य वॉयरल तो एक सप्ताह में ठीक हो जाता है लेकिन ये फ्लू जैसा लक्षण कई दिनों बाद भी ठीक नहीं होता।
टॉप स्टोरीज़
कुछ सावधानी भी जरूरी
- यदि ब्लड शुगर लगातार बढ़ता रहे तो इससे किडनी खराब होने की आशंका होती है। डायबिटीज सर्दियों में बढ़ जाती है और इस समय ध्यान न दिया जाये तो दिल पर भी इसका बुरा असर पड़ता है।
- अगर नजर पर इसका असर पड़ रहा हो, तो फौरन आंखों के डॉक्टर को दिखाएं, रेटिना की जांच से पता चलेगा कि रेटिनोपैथी तो नहीं है।
- आलू, चावल आदि बिलकुल न खाएं। इसके साथ ही शुगर फ्री मिठाइयां आदि का सेवन भी न करें। इनके सेवन से उतनी ही कैलोरी और शुगर बढ़ती है। फाइबर की एक संतुलित मात्रा भोजन में होनी चाहिए। 3 बार भारी भोजन करने की बजाय 4-5 बार हल्का खाना खायें।
- जंक फूड से दूरी आपकी सेहत के लिए बहुत जरूरी है। अच्छा होगा कि आप बर्गर, पेटीज आदि जंक फूड से तौबा कर लें।
- समय पर भोजन करें। रात का भोजन अगर सोने 2 घंटे पहले कर लिया जाए तो आपके लिए काफी फायदेमंद होगा।
डायबिटीज एक बार हो गई तो उसे समाप्त नहीं किया जा सकता है, लेकिन इस पर ध्यान देकर नियंत्रण में रखा जा सकता है। इसके लिए जरूरी है कि अपने डॉक्टर से सलाह लें समय-समय पर शुगर लेवल का चेकअप करवाते रहें।
Read More Articles On Diabetes Symptoms In Hindi