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Elisa Test: एलिसा टेस्ट क्या है? जानें डेंगू की जांच के लिए कब पड़ती है इस टेस्ट को करवाने की जरूरत

Elisa Test in Hindi: डेंगू की सही पुष्टि करने के लिए एलिसा टेस्ट करवाने की सलाह दी जाती है। जानें, इस टेस्ट की कब पड़ती है जरूरत-
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Elisa Test: एलिसा टेस्ट क्या है? जानें डेंगू की जांच के लिए कब पड़ती है इस टेस्ट को करवाने की जरूरत

Elisa Test Meaning in Hindi: दिल्ली समेत कई राज्यों में डेंगू के मामलों में लगातार इजाफा हो रहा है। डेंगू को लेकर सरकार भी सतर्क है। हाल ही में लुधियाना स्वास्थ्य विभाग ने अधिसूचना जारी कर, अस्पतालों को डेंगू के मरीजों की पुष्टि के लिए एलिसा टेस्ट को अनिवार्य कर दिया है। आपको बता दें कि आमतौर पर स्वास्थ्य संस्थान डेंगू की पुष्टि के लिए प्लेटलेट्स काउंट या फिर रैपिड डायग्नोस्टिक किट पर निर्भर रहते हैं। लेकिन, डेंगू के मरीजों की सही पुष्टि के लिए एलिसा टेस्ट करवाना बेहद जरूरी होता है। एलिसा टेस्ट क्या होता है? डेंगू की पुष्टि के लिए एलिसा टेस्ट करवाना जरूरी क्यों होता है

आपको बता दें कि लोगों को मच्छर जनित बीमारियों से बचाने के उद्देश्य से हर साल 20 अगस्त को विश्व मच्छर दिवस मनाया जाता है। इस मौके पर ओन्लीमायहेल्थ ‘मच्छर मुक्त इंडिया’ कैंपेन चला रहा है। आइए, इस अवसर पर एसएस स्पर्श अस्पताल, बेंगलुरु के सीनियर कंसल्टेंट इंटरनल मेडिसिन डॉ. एस.जी.हरीश से जानते हैं एलिसा टेस्ट के बारे में विस्तार से

एलिसा टेस्ट क्या है?- What is Elisa Test in Hindi

डॉ. एस.जी.हरीश बताते हैं, "एलिसा टेस्ट (ANA) एक ब्लड टेस्ट है, जिसका उपयोग खून में एंटीन्यूक्लियर एंटीबॉडी की उपस्थिति का पता लगाने के किया जाता है। इस टेस्ट को एंटीन्यूक्लियर एंटीबॉडी स्क्रीन टेस्ट और एंटीन्यूक्लियर एब टेस्ट के नाम से भी जाना जाता है। इस टेस्ट में एंटीजन और एंटीबॉडी डिटेक्ट होते हैं। एलिसा एक रीडर मशीन है, जिसे एंटीबॉडी टेस्ट को मापने के लिए डिजाइन किया गया है। इस मशीन में मरीज का ब्लड डाला जाता है। इससे डेंगू है या नहीं, इसका पता चलता है।"

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एलिसा टेस्ट से डेंगू का पता कैसे लगाया जाता है?

डॉ. एस.जी.हरीश बताते हैं, "जब मरीज का ब्लड एलिसा मशीन में डाला जाता है, तो इससे आईजीएम एंटीबॉडी, आईजीजी एंटीबॉडी और एनएस1 एंटीजन का पता लग जाता है। अगर किसी व्यक्ति में आईजीजी एंटीबॉडी पॉजिटिव होता है, तो इसका मतलब है कि व्यक्ति को पहले भी डेंगू हो चुका है। इस टेस्ट में सबसे पहले एनएस1 डिटेक्ट होता है, इसके बाद आईजीएम एंटीबॉडी और फिर आईजीजी एंटीबॉडी डिटेक्ट होती है। इन सब का पता एक ही टेस्ट से लगाया जा सकता है। इस टेस्ट की रिपोर्ट आने में 2-3 दिन का समय लग सकता है।"

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डेंगू की जांच के लिए एलिसा टेस्ट क्यों जरूरी है?- Why Elisa Test Required for Dengue Fever in Hindi

डॉ. एस.जी.हरीश बताते हैं, "डेंगू की जांच के लिए एलिसा टेस्ट करवाना बहुत जरूरी होता है। दरअसल, कई बार प्लेटलेट्स कम होने पर ही डेंगू का निदान कर दिया जाता है। लेकिन, यह सही नहीं है। डेंगू की सही पुष्टि के लिए एलिसा टेस्ट जरूर करवाना चाहिए। इस टेस्ट के माध्यम से व्यक्ति को डेंगू है या नहीं, इसका बिलकुल सही पता लगाया जा सकता है।"

क्या सिर्फ प्लेटलेट्स की जांच करने से डेंगू का पता नहीं चल सकता है?

डॉ. एस.जी.हरीश बताते हैं, "सिर्फ प्लेटलेट्स की जांच करने से डेंगू का पता नहीं चल सकता है। दरअसल, जब किसी भी व्यक्ति को  बुखार, सिरदर्द, आंखों में दर्द या उल्टी जैसे लक्षणों का अनुभव होता है, तो इस स्थिति में व्यक्ति का कंप्लीट ब्लड काउंट टेस्ट (CBC Test) किया जाता है। इस टेस्ट में प्लेटलेट्स, रेड ब्लड सेल्स और व्हाइट ब्लड सेल्स का पता चल जाता है। अगर प्लेटलेट्स कम है, तो इस स्थिति में डॉक्टर को डेंगू का संकेत मिल सकता है। लेकिन, कुछ मामलों में मलेरिया या अन्य किसी वायरल बीमारी की वजह से भी प्लेटलेट्स कम हो जाते हैं। ऐसे में डेंगू की सही पुष्टि करने के लिए एलिसा टेस्ट करवाया जाता है।"

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डेंगू के लिए एलिसा टेस्ट कब करवाया जाता है?- What is Elisa Test for Dengue in Hindi

डेंगू के लक्षण महसूस होने पर एलिसा टेस्ट करवाने की सलाह दी जा सकती है। इसके अलावा, अगर किसी व्यक्ति के प्लेटलेट्स कम है, तो इस स्थिति में डेंगू की पुष्टि के लिए एलिसा टेस्ट करवाया जाता है। डेंगू के आम लक्षण हैं-

  • थकान और कमजोरी
  • सांस लेने में तकलीफ
  • त्वचा पर रैशेज
  • बेचैनी और शरीर में दर्द
  • आंखों में दर्द 
  • जोड़ों में दर्द
  • बुखार आदि

क्या किसी अन्य बीमारी का पता लगाने के लिए भी एलिसा टेस्ट किया जाता है?

डॉ. एस.जी.हरीश बताते हैं, "एलिसा टेस्ट से सिर्फ डेंगू की पुष्टि की जा सकती है। अगर किसी व्यक्ति में डेंगू के लक्षण नजर आते हैं या फिर प्लेटलेट्स कम होते हैं, तो इस स्थिति में डॉक्टर एलिसा टेस्ट करवाने की सलाह दे सकते हैं।"

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