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हार्मोन्स का संतुलन बिगड़ने पर दिखते हैं कई लक्षण, पुष्टि के लिए कराएं ये 5 हार्मोनल टेस्ट

Hormone Imbalance Test In Hindi: शरीर में कुछ संकेत दिखाई देने पर आपको हार्मोनल असंतुलन टेस्ट करा सकते हैं, जानें इसके लिए कौन से टेस्ट कराने चाहिए।  
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हार्मोन्स का संतुलन बिगड़ने पर दिखते हैं कई लक्षण, पुष्टि के लिए कराएं ये 5 हार्मोनल टेस्ट


Hormone Imbalance Test In Hindi: अक्सर हम देखते हैं कि कुछ लोगों का वजन अचानक बढ़ जाता है, साथ ही वे पेट संबंधी और चिंता, तनाव जैसे मुद्दों का भी सामना करते हैं। शरीर के बढ़ते वजन को देखकर लोगों को लगता है कि वे अधिक कैलोरी खा रहे हैं, और वे सोचते हैं कि कैलोरी कम करने से उनकी समस्या हल हो जाएगी। लेकिन सभी मामलों में यह सिर्फ अधिक कैलोरी के सेवन से ही नहीं होता है, बल्कि कुछ मामलों में इस तरह की समस्याएं शरीर में हार्मोनल असंतुलन के कारण भी देखने को मिल सकती हैं। ऐसे में आपको अपनी कैलोरी इनटेक को कम करने से पहले कुछ बातों पर ध्यान देना चाहिए जैसे...

  • क्या आपके पेट के आसपास चर्बी जमा हो गई है?
  • क्या आपको बार-बार या लगातार सिरदर्द होता है?
  • क्या आप हमेशा थकान महसूस करते हैं?
  • क्या आप पेट में कब्ज और ब्लोटिंग जैसी समस्याओं से परेशान रहते हैं?
  • क्या आपको हमेशा कुछ अनहेल्दी खाने की क्रेविंग होती है?

अगर आप इस तरह की समस्याओं का सामना अक्सर करते हैं, तो यह शरीर में हार्मोन्स में गड़बड़ी का संकेत हो सकते हैं, ऐसे में आपको अपनी कैलोरी इनटेक को कम करने से पहले हार्मोनल असंतुलन की पुष्टि करने की जरूरत है। लेकिन लोग इस बात का लेकर काफी असमंजस में रहते हैं कि हार्मोनल असंतुलन का पता लगाने के लिए कौन से टेस्ट कराएं? डायटीशन मनप्रीत कालरा ने अपनी एक इंस्टाग्राम रील में इसके बारे में विस्तार से बताया है। आइए जानते हैं हार्मोन असंतुलन का पता लगाने के लिए 5 हार्मोनल टेस्ट।

हार्मोन असंतुलन का पता लगाने के लिए हार्मोनल टेस्ट- Hormonal Test For Hormone Imbalance In Hindi

1. एस्ट्रोजन टेस्ट

शरीर में एस्ट्रोजन हार्मोन का स्तर बढ़ने से ब्लोटिंग, वॉटर रिटेंशन, पेट के हिस्से में वजन बढ़ना और पीएमएस के लक्षण गंभीर होने जैसी समस्याएं देखने को मिलती हैं।

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2. प्रोजेस्टेरोन टेस्ट

शरीर में इस हार्मोन का स्तर अनियंत्रित होने पर थकान, धीमा मेटाबॉलिज्म, थाइराइड फंक्शन का असंतुलन जैसी समस्याएं देखने को मिलती हैं। जिससे वजन भी बढ़ता है।

3. टेस्टोस्टेरोन टेस्ट

इस हार्मोन का कम स्तर, खासकर पुरुषों में मांसपेशियां कमजोर होने और बैली फैट बढ़ने का कारण बनता है।

 

 

 

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4. थायराइड प्रोफाइल टेस्ट

थायराइड असंतुलन मेटाबॉलिज्म को प्रभावित करता है। यह  नींद से जुड़ी समस्याएं, चिंता, तनाव और वजन बढ़ने का कारण बन सकता है।

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5. फास्टिंग इंसुलिन टेस्ट

इंसुलिन रेजिस्टेंस के कारण बहुत भूख लगती है। यह मीठे की क्रेविंग होने, बैली फैट और वजन बढ़ाने के लिए भी जिम्मेदार हो सकता है।

उपरोक्त लक्षण नजर आने पर आप अपने डॉक्टर से परामर्श कर सकते हैं। वह आपको कुछ जरूरी टेस्ट का सुझाव दे सकते हैं। आमतौर पर डॉक्टर उपरोक्त टेस्ट का ही सुझाव देते हैं।

All Image Source: Freepik

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