पूरी दुनिया की नजरें कोरोना वैक्सीन पर टिकी हैं। आतंक फैला रहे कोरोना वायरस के खिलाफ अपने देश में बन रही वैक्सीन का जायजा लेने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को देश के तीन राज्यों का दौरा किया। बता दें कि प्रधानमंत्री अहमदाबाद में जाइडस बायोटैक पार्क, पुणे में सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया और हैदराबाद में भारत बायोटेक का दौरा किया। इस बीच पीएम मोदी ने जाना कि देश में वैक्सीन कब तक उपलब्ध होगी और किसे सबसे पहले मिलेगी। बता दें, अगले साल की शुरुआत में देश में वैक्सीन आने की संभावना जताई जा रही है। यहां हम जानते हैं कि तीनों वैक्सीन के बारे में...
#WATCH | PM Narendra Modi visits Serum Institute of India in Pune, Maharashtra to review COVID-19 vaccine development. pic.twitter.com/HN2hndTFnA
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जानें जाइडस कैडिला की कोरोना वैक्सीन के बारे में
जाइडस कैडिला कोरोना वैक्सीन के निर्माण में लगी है। ये वैक्सीन जायकोव-डी के नाम से जानी जाएगी। कंपनी ने इससे पहले वैक्सीन को लेकर जानकारी दी थी वैक्सीन के पहले चरण का ट्रायल पूरा हो गया है वहीं दूसरे चरण का परीक्षण अगस्त महीने में ही शुरू हो गया था। अधिकारियों के मुताबिक, जाइडस कैडिया की वैक्सीन अगले साल मार्च तक इस्तेमाल के लिए तैयार हो सकती है। ध्यान दें कि ये वैक्सीन 17 करोड़ तैयारी हो रही हैं।
Maharashtra: Prime Minister Narendra Modi visits Serum Institute of India in Pune to review COVID-19 vaccine development. pic.twitter.com/pLhQkVtjlw — ANI (@ANI) November 28, 2020
जानें भारत बायोटेक की कोवैक्सीन के बारे में
स्वदेशी वैक्सीन हैदराबाद में भारत बायोटेक की ओर निर्मित की जा रही है। बता दें कि कोरोना वैक्सीन एम्स दिल्ली में क्लिनिकल ट्रायल के तीसरे चरण में पहुंच गई है। ये वैक्सीन भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद के साथ मिलकर बनाई जा रही है। वहीं इसका पहला टीका डॉ. एमवी पद्मा श्रीवास्तव को लगाया गया है। आने वाले दिनों में स्वयंसेवकों (15,000 से ज्यादा) को टीका लगाया जाएगा। ये टीका 18 साल या उससे ज्यादा उम्र के लोगों को लगाया है। इसके लिए विभिन्न केंद्रों पर 28,500 लोगों को परीक्षण का ये टीका लगाया जाएगा।
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At the Bharat Biotech facility in Hyderabad, was briefed about their indigenous COVID-19 vaccine. Congratulated the scientists for their progress in the trials so far. Their team is closely working with ICMR to facilitate speedy progress. pic.twitter.com/C6kkfKQlbl
— Narendra Modi (@narendramodi) November 28, 2020
जानें ऑक्सफोर्ड की वैक्सीन के बारे में
पुणे में कोविशील्ड नाम की वैक्सीन विकसित हो रही है। ये वैक्सीन सीरम इंस्टीट्यूट में ऑक्सफोर्ड और एस्ट्राजेनेका मिलकर मिर्माण कर रहे हैं। इस वैक्सीन के सीरम इंस्टीट्यूट द्वारा 100 करोड़ डोज तैयार होंगे। डोज की कीमत लगभग 500-600 रुपये बताई जा रही है।वहीं गवर्नमेंट के लिए आधी कीमत तय की गई है। महामारी पर यह वैक्सीन 90 फीसदी प्रभावशाली है।