Barley Vs Wheat: गेहूं या जौ कौन सा है ज्यादा फायदेमंद? जानें दोनों के बीच का अंतर और स्वास्थ्य लाभ

बहुत से लोगों को गेहूं और जौ के बीच का अंतर पता नहीं होता है। तो आइए जानते हैं इन दोनों का अंतर और स्वास्थ्य लाभ।
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Barley Vs Wheat: गेहूं या जौ कौन सा है ज्यादा फायदेमंद? जानें दोनों के बीच का अंतर और स्वास्थ्य लाभ


गेहूं और जौ, ये दोनों दुनिया भर में व्यापक रूप से इस्तेमाल किए जाने वाले साबुत अनाज हैं। कुछ लोग इन्हें एक ही मानते हैं, लेकिन ये बिल्कुल अलग अनाज हैं। हालांकि गेहूं और जौ, दोनों एक ही घास के परिवार (Poaceae) के हैं। इसी घास परिवार से चावल, गन्ना, और मकई भी संबंध रखते हैं। इनकी खास बात ये होती है कि ये फल एक "स्पाइक" यानी कि पौधे के सबसे ऊंचे हिस्से यानी कि इसके सिर पर पाए जाते हैं। पर क्या आप गेहूं और जौ में अंतर कर सकते हैं? क्या आपको पता है कि दोनों में से कौन सा स्वास्थ्य के लिए ज्यादा फायदेमंद है। नहीं तो आइए हम आपको इन दोनों को बारे में विस्तार से बताते हैं और समझते हैं कि हमें अपने खानपान में ज्यादा किसे शामिल करना चाहिए।

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गेहूं और जौ के बीच का अंतर (Difference Between Wheat and Barley) 

गेहूं (Wheat)

गेहूं एक प्रमुख खाद्य पदार्थ है, जिसका उपयोग आटे से बने ब्रेड, केक, बिस्कुट, कुकीज, नाश्ते के लिए अनाज, नूडल्स, पास्ता, और फर्मेंटेट करके बीयर और अन्य पेय पदार्थ तैयार किए जाते हैं। गेहूं के दाने जिसे एन्डोस्पर्म कहा जाता है, इसे पीसकर आटा बनाया जाता है। गेहूं का अनाज विटामिन, प्रोटीन और खनिजों का एक केंद्रित स्रोत है, जबकि अगर इसे प्रोस्सेड फूड के रूप में इस्तेमाल किया जाए, तो ये सबसे ज्यादा स्टार्च वाला अनाज बन सकता है। वहीं गेहूं के पोषक तत्वों की बात करें, तो 

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गेहूं के फायदे 

जौ के समान, गेहूं पूरी तरह से पच नहीं सकता है। इसकी उच्च फाइबर सामग्री हृदय रोग और मोटापे से बचाने में हमारी मदद कर सकती है। वहीं मुख्य रूप से गेहूं जैसे अनाज (प्रति दिन कम से कम 210 ग्राम) खाने से हृदय रोग, कैंसर और पुरानी बीमारियों से मृत्यु का खतरा कम होता है।

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जौ (Barley)

जौ की बात करें, तो ये भारत में लंबे समय से इस्तेमाल किया जा रहा है। ये यहां पर सात्विक भोजन (Sattvic Diet) यानी खासकर के त्योहोरों में तरह-तरह के व्यंजनों को बनाने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। ऐसा इसलिए क्योंकि ये मिनरल्स, प्रोटीन और विटामिन से भरपूर आहार है, जिसे पचाना आसान होता है। वहीं इसके पोषक तत्वों की बात करें, तो 

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जौ के फायदे

जौ में फास्फोरस, पोटेशियम और फोलेट महत्वपूर्ण आहार खनिज और विटामिन हैं जो विभिन्न शारीरिक कार्यों को बनाए रखते हैं। फास्फोरस हमारे ऊतकों को विकसित और बढ़ने की अनुमति देता है। हमारे न्यूरॉन्स को अच्छी तरह से काम करने के लिए पोटेशियम की आवश्यकता होती है। वहीं रेड ब्लड सेल्स और व्हाइट ब्लड सेल्स को बनाने के लिए शरीर को फोलेट की आवश्यकता होती है।जौ और गेहूं ग्लूटेन सेंसिटिविटी वाले लोगों के लिए अनुपयुक्त हैं। वे IBS (बाउल सिंड्रोम) वाले लोगों के लिए भी समस्या पैदा कर सकते हैं। फिर भी, गेहूं की एलर्जी वाले कई लोग जौ को सहन कर सकते हैं। जौ कोलेस्ट्रॉल और ब्लड के स्तर में सुधार करने में मदद कर सकता है।

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गेहूं या जौ कौन सा है ज्यादा फायदेमंद (which is more healthy wheat or barley)?

जबकि दोनों अनाज पौष्टिक होते हैं, पर जौ फाइबर और कोलेस्ट्रॉल कम करने वाले बीटा-ग्लूकन में समृद्ध है और गेहूं की तुलना में प्रोसेस्ड होने के दौरान कम पोषक तत्व खो देता है। इस तरह जौ गेहूं से आगे निकल जाता है। जिन लोगों को डायबिटीज, ब्लड शुगर और पेट से जुड़ी परेशानियां रहती हैं उन्हें गेहूं की तुलना में जौ का ज्यादा सेवन करना चाहिए। पर इसका मतलब ये नहीं कि आप गेहूं पूरी तरह खाना बंद कर दें, क्योंकि गेहूं के फाइबर शरीर को स्वस्थ्य रखने के लिए अलग ही महत्व रखते हैं। 

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