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Bird Flu के खतरे में दूध, अंडा और चिकन खाना कितना सुरक्षित है? एक्सपर्ट से जानें

Bird Flu in India: बर्ड फ्लू के हालिया प्रकोप ने दुनियाभर के लोगों को चिंता में डाल दिया है। बर्ड फ्लू के प्रकोप के बीच सवाल उठ रहा है कि इस दौरान दूध, अंडे और चिकन खाना कितना सुरक्षित है? आइए जानते हैं इस सवाल का जवाब  
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Bird Flu के खतरे में दूध, अंडा और चिकन खाना कितना सुरक्षित है? एक्सपर्ट से जानें

भारत में एक बार फिर बर्ड फ्लू ने लोगों की चिंता बढ़ा दी है। अब तक केरल, झारखंड और उत्तर भारत के कुछ राज्यों में बर्ड फ्लू के मामले सामने आए हैं। बर्ड फ्लू के बढ़ते हुए मामलों के बीच सरकार एक्टिव हो गई है और राज्यों में निगरानी के लिए स्पेशल टीमों को उतारा गया है। बर्ड फ्लू मुर्गियों, बत्तखों और गायों के जरिए इंसानों में फैलता है। बर्ड फ्लू एक संक्रामक हैं, जो इंसानों की मौत का कारण भी बन सकता है। बर्ड फ्लू संक्रमण के मुर्गियों और गायों द्वारा इंसानों में फैलने के बाद यह सवाल उठना लाजमी है, कि क्या इस दौर में दूध, अंडा और चिकन खाना चाहिए या नहीं। इस सवाल का जवाब दे रही हैं दिल्ली के भाग्य आयुर्वेदा की न्यूट्रिशनिस्ट और डाइटिशियन पूजा सिंह।

Bird Flu में दूध, अंडा और चिकन कितना सुरक्षित है?

डाइटिशियन पूजा सिंह के अनुसार, बर्ड फ्लू संक्रमित मुर्गे, बत्तख और गायों के जरिए इंसानों में फैलने वाला वायरस है। बर्ड फ्लू को एवियन इन्फ्लूएंजा वायरस भी कहा जाता है। इस वायरस के संपर्क में आने से व्यक्ति गंभीर रूप से बीमार पड़ सकता है। इतना ही नहीं इस संक्रमण का इलाज सही वक्त पर न किया जाए, तो व्यक्ति की मौत भी हो सकती है। डाइटिशियन का कहना है, बर्ड फ्लू के खतरे के बीच दूध, अंडे और चिकन का सेवन करना बिल्कुल सुरक्षित है, लेकिन इन चीजों कैसे पकाया जा रहा है और कितना पकाया जा रहा है इस बात का ध्यान रखना जरूरी है। एक्सपर्ट के अनुसार जिन पोल्ट्री प्रोडक्ट्स को हाइजीन का ध्यान रखते हुए पकाया जाता है, उनमें बर्ड फ्लू की आशंका बहुत कम होती है। लेकिन जो लोग बर्ड फ्लू संक्रमण के बीच अंडे, दूध और चिकन का सेवन कर रहे हैं, उन्हें ट्रांसमिशन को रोकने के लिए फूड सेफ्टी रेगुलेशन को फॉलो करना बहुत ही जरूरी है।

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बर्ड फ्लू के बीच अंडे और चिकन कैसे खाएं?

एक्सपर्ट के अनुसार, बर्ड फ्लू के खतरे के बीच अंडे, दूध और चिकन का सेवन करने से पहले इसको पकाया कैसे गया है, इस बात का ध्यान रखना बहुत जरूरी है। अगर चिकन को 74 डिग्री सेल्सियस पर सही तरीके से पकाया जाए, तो एवियन इन्फ्लूएंजा वायरस के सूक्ष्मजीव नष्ट हो जाते हैं। इतना ही नहीं 74 डिग्री सेल्सियस पर पकाने से चिकन के अंदर मौजूद बैक्टीरिया और वायरस को भी पूरी तरह से नष्ट किया जा सकता है। ऐसे चिकन को खाना बिल्कुल सुरक्षित है। इसके अलावा बर्ड फ्लू के खतरे के बीच गाय और भैंस के दूध का सेवन करने से पहले उसे सही तरीके से उबालना बहुत जरूरी है। अगर दूध को सही तरीके से उबाला जाता है, जो इसमें मौजूद बैड बैक्टीरिया खत्म हो जाते हैं और इंसानों के शरीर को नुकसान नहीं पहुंचाते हैं। हेल्थ एक्सपर्ट्स का कहना है कि अंडों को भी पूरी तरह पकाना चाहिए ताकि इसमें मौजूद जर्म्स नष्ट हो जाए।

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डाइटिशियन पूजा सिंह का कहना है कि बर्ड फ्लू आपको संक्रमित न करे, इसके लिए आधे पके मीट, हाफ बॉयल अंडे और कच्चे दूध का सेवन नहीं करना चाहिए। इस दौर में इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाने के लिए ताजे फल और सब्जियों के सेवन पर ध्यान दें। ये खाद्य पदार्थ आवश्यक विटामिन और खनिज प्रदान करते हैं जो समग्र स्वास्थ्य और कल्याण में योगदान करते हैं।

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