International Yoga Day 2020: स्ट्रेस और एंग्जाइटी को दूर करता है बालासन, जानें इसे करने का सही तरीका और लाभ

इस योग दिवस हम सभी को विशेष तौर पर मानसिक शांति के लिए योग करना चाहिए। तो आइए जानते हैं स्वास्थ्य के लिए कैसे फायदेमंद है बालासन योगमुद्रा।

Pallavi Kumari
Written by: Pallavi KumariUpdated at: Jun 19, 2020 16:18 IST
International Yoga Day 2020: स्ट्रेस और एंग्जाइटी को दूर करता है बालासन, जानें इसे करने का सही तरीका और लाभ

मलेरिया और डेंगू दिवस 2023: बुखार के कारण, लक्षण और रोकथाम गाइड - Onlymyhealth

बालसन या बाल विश्राम मुद्रा योग का एक शानदार आसन है। इस आसन का नाम संस्कृत के शब्द 'बाला' (बाल) से लिया गया है, जिसका अर्थ है बच्चा के की आराम मुद्रा। दरअसल अगर आप गौर करेंगे तो पाएंगे कि यह आसन भ्रूण की स्थिति जैसा दिखता है यानी कि एक शिशु जब मां के पेट में रहता है, तो वो इसी आसन में होता है। यह एक आराम करने वाली मुद्रा है, जो जांघों पर केंद्रित होती है पर शरीर के सभी मांसपेशियां इसमें इस्तेमाल हो रही होती हैं। अगर इस आसन को पूर्ण गुरुत्वाकर्षण यानी कि खिंचाव के साथ किया जाए, तो ये व्यक्ति के मानसिक, शारीरिक और भावनात्मक संवेग पर एक बड़ा प्रभाव डाल सकता है।

insidebalansanyoga

बालासन से जुड़ा शरीर का विज्ञान

बालासन एक पुनर्स्थापनात्मक, शांत करने वाला मुद्रा है, जो शरीर को आराम पहुंचाकर इसे फिर से से जीवंत बनाता है। इस आसन को करते वक्त पीठ का खिंचाव स्पाइनल कॉलम को आराम देता है, तो दूसरी तरफ मांसपेशियों को शांत करता है, जिससे दर्द को कम करने में मदद मिलती है। ये विशेष रूप से पीठ, गर्दन और कंधों पर बल देता है। साथ ही इसमें घुटनों को भी फैलाकर आराम दिया जाता है और टेंडन को एक लंबे कामकाज के लिए तैयार करता है। यह मुद्रा वास्तव में सकारात्मक भावनाओं को बढ़ावा देती है और आपको मानसिक रूप से स्वस्थ महसूस करवाती है।

बालासन कैसे करें (How To Do Balasana) 

insidehowtodobalasana

इसे भी पढ़ें : International Yoga Day 2020: खुश रहने का मूल मंत्र है प्राण योग, जानें प्राण मुद्रा करने की विधि और फायदे

शुरुआती लोगों के लिए बालासन के टिप्स 

आमतौर पर इसे शुरुआत में करने पर आपको परेशानी महसूस हो सकता है। खासकर सिर को जमीन पर लगाने में और सांस लेने में। ऐसे में कल्पना करें कि प्रत्येक सांस लेने के साथ आपको पीठ के साथ एक गुंबद का आकार बनाना है। इसके बाद रीढ़ को लंबा और चौड़ा करें। फिर प्रत्येक सांस छोड़ने के साथ सिर को और थोड़ा जमीन पर सही पोज में लगाने की कोशिश करें। पहले कुछ दिनों में इसे लेकर परेशान न हो, आराम से करें और फिर आने वाले दिनों में मांसपेशियों और शरीर पर दवाब बनाते हुए इसे करें।

सावधानियां

इस आसन को करने से पहले सावधानी बरतने के लिए ये कुछ बिंदु हैं-

  • -अगर आपको अपने सिर को फर्श पर रखना मुश्किल या असहज लगता है, तो आप आराम के लिए एक तकिया का उपयोग कर सकते हैं।
  • -अगर आप दस्त या घुटने की चोटों से पीड़ित हैं तो इस आसन को करने से बचना चाहिए।
  • -उच्च रक्तचाप के रोगियों को इस आसन के अभ्यास से बचना चाहिए।
  • -प्रेग्नेंसी में भी इसे न करें।

योग को लेकर कितने जागरूक हैं आप? खेलें ये क्विज :

Loading...

इसे भी पढ़ें : पीठ दर्द और पीरियड्स में ऐंठन जैसी कई समस्याओं को दूर करते हैं ये 3 योगासन, जानें इन्हें करने का तरीका

बालासन के लाभ (balasana benefits)

  • -यह आसन तनाव और चिंता को कम करने में मदद करता है और आपके मानसिक स्वास्थ्य के लिए अच्छा है।
  • -यह छाती, पीठ और कंधों में तनाव को कम करने में मदद करता है।
  • -यह पूरे शरीर में ब्लड सर्कुलेशन को बेहतर बनाता है।
  • -अगर आपको दिन में या अपने वर्कआउट के दौरान चक्कर आना या थकान की समस्या है, तो ये आसन आपके लिए फायदेमंद है।
  • -यह योग करना शरीर में आंतरिक अंगों की मालिश करने के समान है।
  • -ये शरीर को सक्रिय और कोमल बनाने में मदद करता है।
  • - पीठ के निचले हिस्से और गर्दन में दर्द से राहत देता है।
  • -यह टखनों, कूल्हों और जांघों को फैलाने में मदद करता है।
  • -घुटने के क्षेत्र में टेंडन और मांसपेशियों को आराम पहुंचाता है।
  • -यह सांस लेने के सही तरीके को सीखने में मदद करता है और शरीर और दिमाग दोनों को शांत करता है।

Read more articles on Yoga in Hindi

Disclaimer