प्रेग्नेंसी एक ऐसी स्टेज है जो महिलाओं के लिए बेहद संवेदनशील मानी जाती है। कोई महिला जब गर्भवती होती है, तो उसके स्वास्थ्य और खानपान का असर उसके होने वाले शिशु पर भी पड़ता है। चूंकि प्रेग्नेंसी के दौरान महिलाओं के शरीर में कई तरह के हार्मोनल और शारीरिक बदलाव होते हैं, जिसके कारण कई बार कुछ समस्याएं भी पैदा हो जाती हैं। हाल में हुए एक अध्ययन में बताया गया है कि अगर कोई महिला गर्भावस्था के दौरान इंफेक्शन का शिकार होती है, तो इसका असर उसके होने वाले शिशु के मानसिक विकास पर पड़ता है। प्रेग्नेंसी के दौरान इंफेक्शन होने पर शिशु साइकैट्रिक डिस्ऑर्डर का शिकार हो सकता है। ये खतरा सिर्फ इंसानों नहीं, बल्कि गर्भवती मादा जानवरों के बच्चों पर भी होता है।
कमजोर इम्यूनिटी वाली महिलाओं को ज्यादा खतरा
गर्भावस्था के दौरान ऐसी महिलाएं इंफेक्शन का शिकार जल्दी होती हैं, जिनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता (इम्यूनिटी पावर) कमजोर होती है। इंफेक्शन का असर होने वाले शिशु के मस्तिष्क के विकास को बाधित करता है। रिसर्च के अनुसार किसी महिला को अगर प्रेग्नेंसी के दौरान इंफेक्शन होता है, तो उसका होने वाला शिशु बाद की जिंदगी में सीजोफ्रेनिया, ऑटिज्म स्पेक्ट्रम जैसी मानसिक डिसऑर्डर्स का शिकार हो सकता है।
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कैसे किया गया रिसर्च
ये रिसर्च 'Molecular Psychiatry' नाम के साइंटिफिक जर्नल में छापा गया है। कोपेनहेगन के शोधकर्ताओं ने ये रिसर्च गर्भवती चुहियों पर किया। रिसर्च के अनुसार मादा चूहे में इंफेक्शन के कारण उसके होने वाले शिशु चूहे के मस्तिष्क के न्यूरॉनल ब्रेन सेल्स के विकास में गड़बड़ी पाई गई, जिसके कारण होने वाला शिशु कम मानसिक क्षमताओं के साथ पैदा हुआ।
बायोटेक रिसर्च एंड इनोवेशन सेंटर (BRIC) के एसोसिएट प्रोफेसर Konstantin Khodosevich के अनुसार, 'हालांकि ये शोध अभी इंसानों पर नहीं किया गया है मगर वैज्ञानिक इस बात को लेकर आश्वस्त हैं कि गर्भावस्था के दौरान इंफेक्शन का असर शिशु के मानसिक विकास पर पड़ता है। साइकैट्रिक डिसऑर्डर्स को समझना थोड़ा मुश्किल होता है, मगर हमने प्राप्त परिणाम के आधार पर एक अनुमान लगाया है, जिसके बारे में अभी और शोध की जरूरत है।'
प्रेग्नेंसी के दौरान होने वाले सामान्य इंफेक्शन
- वजाइनल यीस्ट इंफेक्शन
- बैक्टीरियल वैजिनॉसिस
- साइटोमेगैलोवायरस
- जेनिटल हर्पीज
- हेपाटाइटिस बी वायरस
- हेपाटाइटिस सी वायरस
- ह्यूमन पैपिलोमावायरस (HPV)
- लिस्टीरियोसिस या लिस्टीरिया
- रूबेला
- जीका
- साइफिलिस
- टैक्सोप्लास्मोसिस
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प्रेग्नेंसी के दौरान इंफेक्शन के अन्य खतरे
प्रेग्नेंसी के दौरान ऊपर बताए गए सभी इंफेक्शन खतरनाक हो सकते हैं और होने वाले शिशु के लिए भी खतरनाक हो सकते हैं। कई बार ये इंफेक्शन शिशु के विकास को बाधित करते हैं, तो कई बार शिशु को जन्म से पहले ही खत्म कर देते हैं।
आमतौर पर महिला में होने वाला इंफेक्शन शिशु को 3 तरह से प्रभावित करता है-
- इंफेक्शन के कारण महिला का शरीर कमजोर हो जाता है, जिससे शिशु को विकसित होने के लिए सही माहौल और पोषक तत्व नहीं मिल पाते हैं।
- इंफेक्शन का असर सीधे शिशु को प्रभावित कर सकता है, जिससे शिशु के कुछ अंग अविकसित या खराब हो सकते हैं।
- इंफेक्शन के कारण महिला को गर्भपात हो सकता है या समय से पहले शिशु का जन्म हो सकता है।
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