ऑलिव ऑयल अपने गुणों और सेहत से जुड़े फायदों के कारण पिछले कुछ दशकों में दुनियाभर में बहुत पॉपुलर हुआ है। कुछ लोग इसे बेस्ट कुकिंग ऑयल मानते हैं। हालांकि ये तेल, अन्य तेलों की अपेक्षा थोड़ा मंहगा होता है, मगर शरीर और सेहत को मिलने वाले फायदों के कारण बहुत सारे लोग इसका इस्तेमाल करते हैं। ऑलिव ऑयल में मोनोसैचुरेटेड फैटी एसिड होता है, जिसे 'गुड फैट्स' भी कहते हैं। ये गुड फैट्स शरीर में कोलेस्ट्रॉल की मात्रा को घटाते हैं और आपको दिल की बीमारियों से बचाते हैं। इसके अलावा हाल में कुछ अन्य रिसर्च बताती हैं कि ऑलिव ऑयल आपके मस्तिष्क और बुद्धि के लिए बहुत फायदेमंद है। हाल में हुई एक स्टडी में भी वैज्ञानिकों ने ऐसे ही संकेत मिले हैं। इस अध्ययन के अनुसार ऑलिव ऑयल आपको दिमाग की कई गंभीर बीमारियों जैसे- डिमेंशिया, अल्जाइमर आदि से बचाता है।
क्या कहती है रिसर्च
चूहों पर की गई इस रिसर्च में पाया गया है कि खाने में एक्स्ट्रा वर्जिन ऑलिव ऑयल का प्रयोग करने से मस्तिष्क में टाउ प्रोटीन कम जमा होता है। टाउ प्रोटीन या टी प्रोटीन एक ऐसा प्रोटीन है, जो सेंट्रल नर्वस सिस्टम के न्यूरॉन्स (तंत्रिकाओं) में ही जमा होता है। इस शोध के आधार पर वैज्ञानिकों ने ये निष्कर्ष निकाला कि अगर कोई व्यक्ति अपने खानें में एक्स्ट्रा वर्जिन ऑलिव ऑयल का प्रयोग करता है, तो उसे डिमेंशिया और दिमाग संबंधी अन्य बीमारियां होने की संभावना बहुत कम हो जाती हैं।
इसे भी पढ़ें: ऑलिव ऑयल है सेहत के लिए फायदेमंद, मगर खरीदने और कुकिंग के समय बरतें ये 10 सावधानियां
टॉप स्टोरीज़
सेल्स से निकल जाते हैं टॉक्सिन्स
मेडिकल न्यूज टुडे में छपी एक रिपोर्ट के अनुसार ऑलिव ऑयल के प्रयोग से मस्तिष्क की ऑटोफैगी की क्षमता बढ़ जाती है। ऑटोफैगी एक ऐसा प्रॉसेस है, जिससे सेल्स अपने अंदर मौजूद टॉक्सिन्स और वेस्ट मैटीरियल को बाहर निकाल देती हैं। इसलिए ऑलिव ऑयल के प्रयोग से मस्तिष्क अधिक उम्र तक स्वस्थ रहता है।
ये रिसर्च फिलाडेल्फिया की टेम्पल यूनिवर्सिटी की Lewis Katz School of Medicine के Departments of Pharmacology and Microbiology and the Center for Translational Medicine के प्रोफेसर Dr. Domenico Praticò ने की है। इस रिसर्च को Aging Cell नामक जर्नल में छापा गया है।
कैसे की गई रिसर्च
शोधकर्ताओं ने इस शोध के लिए सबसे पहले बहुत सारे चूहों में थोड़े जेनेटिकल बदलाव करके उन्हें इस तरह ढाला कि उनके मस्तिष्क कोशिकाओं में सामान्य से बहुत ज्यादा टाउ प्रोटीन एकत्रित होने लगे। इन चूहों को लगातार 6 महीने तक एक्स्ट्रा वर्जिन ऑलिव ऑयल में बनाया हुआ भोजन दिया गया। इसके बाद जांच की गई, जिसमें पता चला कि ऑलिव ऑयल के प्रयोग से चूहों में लगभग 60% तक टाउ प्रोटीन की कम हो गया था। इसके बाद 6 महीने की उम्र से उन्हें एक्स्ट्रा वर्जिन ऑलिव ऑयल से बना भोजन दिया जाने लगा। शोध बताते हैं चूहों के शरीर में जो स्थिति 6 महीने की उम्र में होती है, वही स्थिति इंसानों में लगभग 30 साल की उम्र में होती है। इसके साथ ही कुछ चूहे ऐसे भी रखे गए जिन्हें सामान्य भोजन दिया जाता था।
इसे भी पढ़ें: 6 घंटे से कम सोने से सिकुड़ने लगता है आपका दिमाग, हो सकती हैं कई गंभीर बीमारियां
लगभग एक साल बाद (इंसानों के अनुसार 60 साल की उम्र) वैज्ञानिकों ने पाया कि जिन चूहों को एक्स्ट्रा वर्जिन ऑलिव ऑयल ने बना हुआ भोजन दिया गया, उनके मस्तिष्क में 60% कम टाउ प्रोटीन जमा हुआ। इसके अलावा ऐसे चूहों में बुद्धि क्षमता और चीजों को पहचानने की क्षमता भी दूसरे चूहों से बहुत ज्यादा बेहतर पाई गई।
Read more articles on Health News in Hindi