Doctor Verified

पीरियड्स में सिट-अप्स करना सही या गलत? जानें क्या कहते हैं एक्सपर्ट

Sit Ups During Periods: स‍िट-अप्‍स एब्‍डॉम‍िनल एक्‍सरसाइज है। ऐसे में इसे पीर‍ियड्स के दौरान करना चाह‍िए या नहीं? इस सवाल का जवाब आपको आगे म‍िलेगा।

Yashaswi Mathur
Written by: Yashaswi MathurUpdated at: Feb 16, 2023 13:13 IST
पीरियड्स में सिट-अप्स करना सही या गलत? जानें क्या कहते हैं एक्सपर्ट

मलेरिया और डेंगू दिवस 2023: बुखार के कारण, लक्षण और रोकथाम गाइड - Onlymyhealth

Can I Do Sit Ups During Periods: पीर‍ियड्स का समय मह‍िलाओं के ल‍िए मुश्‍क‍िल होता है। इन द‍िनों में उन्‍हें कई शारीर‍िक समस्‍याओं का सामना करना पड़ता है। मह‍िलाओं को थकान, स‍िर दर्द, उल्‍टी, जी म‍िचलाना, तनाव, पेट दर्द, पेल्‍व‍िक एर‍िया में दर्द, च‍िड़च‍िड़ापन आदि‍ लक्षण महसूस होते हैं। पीर‍ियड्स में आराम के साथ-साथ व्‍यायाम भी जरूरी है। कई मह‍िलाएं फ‍िटनेस के ल‍िए स‍िट-अप्‍स करती हैं। स‍िट-अप्‍स एक तरह की एब्‍डोम‍िनल यानी पेट की एक्‍सरसाइज है। इसे पीठ के बल लेटकर करते हैं। इस कसरत को करने के ल‍िए धड़ को ऊपर उठाना पड़ता है। ऐसे में मह‍िलाओं के मन में सवाल उठता है क‍ि क्‍या वो पीर‍ियड्स के दौरान स‍िट-अप्‍स कर सकती हैं? इस सवाल का जवाब आगे लेख से जानेंगे। इस व‍िषय पर बेहतर जानकारी के ल‍िए हमने लखनऊ के केयर इंस्‍टिट्यूट ऑफ लाइफ साइंसेज की एमडी फ‍िजिश‍ियन डॉ सीमा यादव से बात की।

सिट-अप्स क्‍यों करती हैं मह‍िलाएं?

स‍िट-अप्‍स एब्‍डॉम‍िनल एक्‍सरसाइज है। पेट की चर्बी कम करने के ल‍िए ये एक बेहतरीन कसरत है। इस कसरत को करने से पेट पर जमा एक्‍सट्रा फैट कम होता है और आसपास की मसल्‍स टोन्‍ड होती हैं। स‍िट-अप्‍स करने से एब्‍डॉम‍िनल मसल्‍स मजबूत होती हैं। स्‍पाइन में लचीलापन बढ़ता है। मस्कुलर एंड्यूरेंस भी बढ़ती है।

क्‍या पीर‍ियड्स में स‍िट-अप्‍स कर सकती हैं म‍ह‍िलाएं?- Sit-Ups in Periods is Safe or Not

sit ups in periods

पीर‍ियड्स में स‍िट-अप्‍स करने से मसल्‍स पर जोर और जलन की समस्‍या हो सकती है। पीर‍ियड्स में पेट और पेल्‍व‍िक एर‍िया में दर्द रहता है, ऐसे में अगर आप स‍िट-अप्‍स करेंगे, तो दर्द बढ़ सकता है। पीर‍ियड्स में शरीर हार्मोनल बदलाव से गुजरता है। इस दौरा स‍िट-अप्‍स करने से थोड़ी तकलीफ भी ज्‍यादा महसूस हो सकती है। पीर‍ियड्स में हाई-इंटेस‍िंटी एक्‍सरसाइज से भी बचना चाह‍िए। इससे रक्तस्त्राव और दर्द बढ़ सकता है। साथ ही मेंस्ट्रुअल सर्कल पर भी बुरा प्रभाव पड़ सकता है। पीर‍ियड्स के दौरान मह‍िलाओं को स्‍ट्रेच‍िंग और हैवी वेट ल‍िफ्ट‍िंग से भी बचना चाह‍िए। हालांक‍ि ऐसा नहीं है क‍ि पीर‍ियड्स में कसरत करना गलत है। आप हल्‍के व्‍यायाम कर सकती हैं। पीर‍ियड्स में कसरत करने से मसल्‍स लचीली रहती हैं। शरीर के मूव होने से एंडोर्फिन बढ़ता है, जो क‍ि एक प्राकृत‍िक पेनक‍िलर माना जाता है।    

इसे भी पढ़ें- रोज सुबह हल्दी का पानी पीने से दूर होती हैं कई बीमारियां, जानें इस पर डायटीशियन और ज्योतिष की राय

पीर‍ियड्स में कौनसी कसरत करें?- Safe Exercises During Periods

  • पीर‍ियड्स के शुरुआती द‍िनों में वॉक, ब्र‍िस्‍क वॉक, जॉग‍िंग, कार्ड‍ियो, योगा, प्‍लैंक्‍स, स्‍व‍िम‍िंग आद‍ि कर सकते हैं।
  • पीरियड्स ब्लूज से बचने के ल‍िए डांस करना भी एक अच्‍छा व‍िकल्‍प है।    
  • पीर‍ियड्स में कोई भी कसरत करने से दर्द बढ़ता है, तो आप केवल डीप ब्रीद‍िंग एक्‍सरसाइज या स्‍ट्रेच‍िंग भी कर सकते हैं।
  • मास‍िक चक्र के दौरान बालासन या चाइल्‍ड पोज भी कर सकते हैं। इससे पीठ के न‍िचले ह‍िस्‍से और ह‍िप्‍स में ख‍िंचाव महसूस होता है और दर्द से आराम म‍िलता है।

Can I Do Sit Ups in Periods: पीर‍ियड्स में स‍िट-अप्‍स करना सभी मह‍िलाओं के ल‍िए हान‍िकारक नहीं होता लेक‍िन इसे करने से पेट और पेल्‍व‍िक एर‍िया में होने वाला दर्द बढ़ सकता है। इसल‍िए इस कसरत को पीर‍ियड्स में न करें। पीर‍ियड्स में हल्‍के व्‍यायाम जैसे अनुलोम-व‍िलोम, वॉक‍िंग, जॉग‍िंग आद‍ि कर सकते हैं।          

Disclaimer