
फ्लू से पीडि़त कोई व्यक्ति छह फुट की दूरी से आपको संक्रमित कर सकता है। और कोल्ड एंड फ्लू के मौसम में आपके संक्रमित होने की आशंका वैसे भी बहुत अधिक होती है।
वायरस तेजी से फैलते हैं। बहुत तेजी से। इतना तेजी से कि कई बार हमारे आपके लिए यह सोच पाना भी असंभव होता है। क्या आप विश्वास करेंगे कि दरवाजे के हैंडल पर बैठे कीटाणु पूरे ऑफिस, इमारत और होटल में फैल सकते हैं और वह भी दो घंटे से भी कम समय में।
शोध के नतीजे
युनिवर्सिटी ऑफ एरिजोना, टस्कन ने अपने शोध में दरवाजे के हैंडल और टेबलटॉप जैसे स्थानों, जिन्हें काफी छुआ जाता है, पर एक ट्रेसर वायरस लगाया। थोड़े-थोड़े अंतराल के बाद- दो से आठ घंटों के बीच- शोधकर्ताओं ने लाइट स्विच, बैड रेल, काउंटर, सिंक टैप हैंडल और पुश बटन से सैम्पल जमा के लिए। उन्होंने पाया कि 40 से 60 फीसदी स्थान दो से चार घंटों के बीच ही कीटाणुयुक्त हो गए थे।
शोधकर्ताओं का कहना था कि किसी ऑफिस की पुश प्लेट पर ट्रेसर वायरस लगाने के चार घंटे के बाद यह वायरस ऑफिस के लगभग उन आधे स्थानों पर पहुंच गया जहां कर्मचारियों के हाथ ज्यादा लगते हैं। शोध के लेखक और माइक्रोबॉयोलॉजिस्ट चार्ल्स गरबा का कहना है कि हमने होटल के एक कमरे के नाइटस्टैंड पर एक वायरस लगाया, और मेड ने सफाई के दौरान इस वायरस को अगले चार कमरों में भी पहुंचा दिया।
सबसे पहले कॉफी पॉट
ऑफिस में कॉफी मग सबसे पहले कीटाणुओं से प्रभावित होता है। आप यह भी कह सकते हैं कि कॉफी पॉट का हैंडल ऑफिस में सबसे पहले कॉफी का मजा लेता है। इसके अलावा फोन, कंप्यूटर और डेस्कटॉप आदि पर भी कीटाणुओं का हमला होता है।
क्या है ट्रेसर वायरस
इस स्टडी में इस्तेमाल किये गए ट्रेसर वायरस की प्रवृत्ति मनुष्यों में पाये जाने वाले नोरोवायरस जैसी ही है। अमेरिकन सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (सीडीसी) के मुताबिक यह अमेरिका में आंत्रशोथ का सबसे सामान्य कारण है। 15 में से एक अमेरिकी हर वर्ष नोरोवायरस के संपर्क में आता है। इसके साथ ही 56 हजार से 71 हजार लोग अस्पताल में भर्ती होते हैं। और साथ ही हर वर्ष 570 से 800 लोग इस बीमारी के कारण मौत का ग्रास बनते हैं। संक्रमण का मुख्य कारण दूषित पदार्थों को छूकर उन्हीं हाथों को मुंह में डालना होता है।
इस शोध में एक टास्क भी था। जिसमें प्रतिभागियों और कर्मचारियों को कीटाणुनाशक कपड़ा दिया गया था और उन्हें एक दिन इस्तेमाल करने को कहा गया। और इसके बाद कीटाणुयुक्त स्थानों की संख्या में 80 फीसदी की कमी देखी गई।
कीटाणुओं से लड़ने से हैंड सेनेटाइजर सबसे अच्छा हथियार है। इसके साथ ही बच्चों को क्लासरूम में कीटाणुओं से बचाने के लिए उन्हें कीटाणुनाशक कपड़ा लेकर भेजना चाहिये, जिससे वे अपना डेस्क साफ कर सकें।
नोरोवायरस के फैलने के खतरे को कम
अच्छी तरह हाथ धोयें
अपने हाथों को साफ रखें। अपने हाथ साबुन और पानी से अच्छी तरह धोयें। खासतौर पर शौच के बाद, खाना पकाने और खाने से पहले हाथ जरूर धोयें। अगर आपके पास साबुन और पानी न हो तो एल्कोहल आधारित सेनेटाइजर भी इस्तेमाल कर सकते हैं।
रसोई में रखें सावधानी
सब्जियों को पकाने से पहले अच्छी तरह धोयें। इसके साथ ही फलों को भी बिना धोये न खायें। अगर आप बीमार हैं, तो बेहतर रहेगा कि दूसरों के लिए खाना न पकायें।
कपड़े अच्छी तरह धोयें
कीटाणुयुक्त कपड़ों को फौरन धो दें। ऐसे कपड़ों को पकड़ने के लिए रबड़ के दस्तानों का इस्तेमाल करें। कपड़ों को डिटर्जेंट के साथ अच्छी तरह धोयें।
तो अब आपको मालूम है कि कीटाणु कितनी तेजी से फैलते हैं और लोगों को अपना शिकार बनाते हैं। इसके साथ ही आप इस बात से भी वाकिफ हैं कि आखिर इनसे कैसे बचा जा सकता है। तो हमें उम्मीद है कि आप इनसे बचने के लिए सभी जरूरी उपाय आजमायेंगे।
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