किस करने से हो सकता है मोनोन्यूक्लियोसिस रोग, ऐसे करें बचाव

इनफेकशियस मोनोन्यूक्लियोसिस रोग मुख से जुड़ी एक खतरनाक बीमारी है, जो लार के द्वारा शरीर में फैलती है।
  • SHARE
  • FOLLOW
किस करने से हो सकता है मोनोन्यूक्लियोसिस रोग, ऐसे करें बचाव


इनफेकशियस मोनोन्यूक्लियोसिस रोग मुख से जुड़ी एक खतरनाक बीमारी है, जो लार के द्वारा शरीर में फैलती है। ये संक्रमण तब होता है जब लोग एक-दूसरे को किस करते हैं। ये बीमारी युवाओं में ज्यादा देखने को मिलती है। इसे किसिंग संक्रमण भी कहा जाता है। इसके अलावा इस बीमारी को मोनोन्यूंक्लियोसिस या ग्लेंडुलर फीवर भी कहते हैं। ये बीमारी एप्सटीन बार नामक वायरस से फैलता है। यह मुंह के लार के अलावा स्पर्म और ब्लड के माध्यम से भी फैल सकता है।

इसे भी पढ़ें: वायरल फीवर है तो ना हों परेशान, अपनाएं ये उपचार

इन लोगों बीमारी फैलने का खतरा ज्यादा

किसिंग संक्रमण का खतरा सबसे ज्यायदा 15 से 30 वर्ष की आयु के लोगों में पाई जाती है। अस्पताल में काम करने वाले, खासकर जो मरीजों की देखभाल करते हैं। इसके अलावा ऐसे लोगों को भी इस बीमारी का खतरा अधिक होता है जिनमें रोग प्रतिरोधक क्षमता काफी कमजोर होती है।

इन लक्षणों से जानें बीमारी के बारे में  

इनफेकशियस मोनोन्यूक्लियोसिस रोग के संक्रमण का पता तुरंत नहीं चल पाता है। इसके लक्षण करीब एक महीने बाद ही दिखाई देता है। जब थकान, बुखार, गले में दर्द, सिर दर्द, शरीर में दर्द, लीवर और लिम्फा नोड में सूजन हो तो यह गंभीर है। इसकी जांच के लिए डॉक्टर की सलाह लें।

उपचार

आमतौर पर देखा जाए तो इस बीमारी का कोई ठोस इलाज नहीं है। डॉक्टर अलग-अलग जांचों के माध्यम से बीमारी का पता लगाते हैं। उपचार के तौर पर कई तरह के परहेज की सलाह देते हैं। जैसे- किसी को किस करना, भोजन और पानी साझा करना।

ऐसे अन्य स्टोरीज के लिए डाउनलोड करें: ओनलीमायहेल्थ ऐप

Read More Articles On Communicable Diseases in Hindi

Read Next

वायरल फीवर है तो ना हों परेशान, अपनाएं ये उपचार

Disclaimer