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Hartalika Teej 2023: तीज पर लगाएं मेहंदी, बढ़ेगी हाथों की खूबसूरती और दूर होंगी सेहत से जुड़ी ये 5 समस्‍याएं

Hartalika Teej Mehendi: तीज पर आप भी मेहंदी लगाने का व‍िचार बना रहे हैं? जानें हाथों में मेहंदी लगाने से आपकी सेहत को क्‍या फायदे म‍िलते हैं। 
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Hartalika Teej 2023: तीज पर लगाएं मेहंदी, बढ़ेगी हाथों की खूबसूरती और दूर होंगी सेहत से जुड़ी ये 5 समस्‍याएं


Hartalika Teej 2023: इस साल 18 सितंबर 2023 को हरतालिका तीज का व्रत रखा जाएगा। इस शुभ अवसर पर भगवान श‍िव और पार्वती की पूजा-अर्चना की जाती है। मह‍िलाएं इस त्‍यौहार पर हाथों में मेहंदी लगाती हैं। पुराने समय से यह प्रथा रही है क‍ि हर शुभ अवसर पर घर की मह‍िलाएं, दादी-नानी और लड़क‍ियां साथ बैठकर मेहंदी लगाती हैं। हाथों में मेहंदी लगाना शुभ माना जाता है। बदलते जमाने के साथ अब तो लड़के भी शौक से हाथों में मेहंदी लगवाते हैं। मेहंदी रचे हाथ द‍िखने में बेहद खूबसूरत लगते हैं। वैसे क्‍या आपको पता है क‍ि मेहंदी को केवल हाथों का सौंदर्य बढ़ाने मात्र नहीं लगाया जाता। मेहंदी लगाने से सेहत को भी कई तरह के फायदे म‍िलते हैं। इस लेख में हम मेहंदी लगाने के फायदे पर बात करेंगे। इस व‍िषय पर बेहतर जानकारी के ल‍िए हमने लखनऊ के व‍िकास नगर में स्‍थित प्रांजल आयुर्वेद‍िक क्‍लीन‍िक के डॉ मनीष स‍िंह से बात की। 

teej mehendi

1. स‍िर दर्द दूर करती है मेहंदी- Mehendi Cures Headache  

हाथों में मेहंंदी लगाने से स‍िर दर्द की समस्‍या दूर होती है। मेहंदी में मौजूद कंपाउंड्स में एंटीइंफ्लेमेटरी गुण होते हैं। मेहंदी की खुशबू सूंघने से स‍िर दर्द ठीक हो जाता है। आयुर्वेद में मेहंदी के तेल से स‍िर दर्द और माइग्रेन का दर्द दूर क‍िया जाता है। स‍िर दर्द होने पर मेहंदी को माथे पर लगाना भी फायदेमंद होता है। मेहंदी की ठंडी तासीर से दर्द ठीक हो जाता है। केवल स‍िर दर्द ही नहीं, बल्‍क‍ि जोड़ों में होने वाले दर्द को दूर करने के ल‍िए मेहंदी फायदेमंद मानी जाती है। घुटने या पैर में मेहंदी मलने से दर्द से राहत म‍िलती है। लेक‍िन आपको बता दें क‍ि केम‍िकल्‍स युक्‍त मेहंदी लगवाने के बजाय ताजी मेहंदी का प्रयोग करें। केम‍िकल युक्‍त मेहंदी से स‍िर में दर्द उठ सकता है।        

2. त्‍वचा में जलन से राहत द‍िलाती है मेहंदी- Mehendi Cures Skin Irritation 

मेहंदी में एंटीसेप्‍ट‍िक, एंटीफंगल और एंटीबैक्‍टीर‍ियल गुण पाए जाते हैं। आयुर्वेद में स्‍क‍िन इन्‍फेक्‍शन का इलाज करने के ल‍िए मेहंदी का इस्‍तेमाल क‍िया जाता है। अगर हाथ या पैर की त्‍वचा में जलन हो रही है, तो आप मेहंदी लगाते हैं, तो त्वचा को मेहंदी की ठंडक से आराम म‍िलेगा और जलन दूर हो जाएगी। मेहंदी की तासीर ठंडी होती है, इसल‍िए गर्मी के दि‍नों में मेहंदी लगाना ज्‍यादा फायदेमंद माना जाता है। नीचे द‍िए गए स्‍टडी ल‍िंक में मेहंदी के फायदे को शोध से स‍िद्ध क‍िया गया है। 

study link: https://www.ncbi.nlm.nih.gov/pmc/articles/PMC3273913/   

3. अन‍िद्रा की समस्‍या दूर करती है मेहंदी- Mehendi Cures Insomnia 

मेरी बड़ी बहन केरल घूमने गई थीं और वहां उन्‍होंने प्राकृत‍िक स्‍पा ट्रीटमेंट ल‍िया। थेरेपी के दौरान एक्‍सपर्ट ने उन्‍हें बताया क‍ि हम थकान दूर करने और मन को शांत करने के ल‍िए मेहंदी के तेल का उपयोग करते हैं। एक्‍सपर्ट्स का भी यही मानना है। अरोमा थेरेपी के ल‍िए मेहंदी की सुगंध का प्रयोग क‍िया जाता है। हाथों में मेहंदी लगाने से उसकी खुशबू हाथों पर कई द‍िनों तक रहती है, इससे अन‍िद्रा की समस्‍या दूर होती है। ज‍िन लोगों को अन‍िद्रा की समस्‍या होती है, उनके ल‍िए मेहंदी लगाना फायदेमंद हो सकता है। 

4. ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस दूर होता है- Mehendi Cures Oxidative Stress 

mehendi benefits

मेहंदी लगाने से ऑक्‍सीडेट‍िव स्‍ट्रेस दूर होता है क्‍योंक‍ि मेहंदी में एंटीऑक्‍सीडेंट गुण पाए जाते हैं। ऑक्‍सीडेट‍िव स्‍ट्रेस का मतलब है शरीर में फ्री रेड‍िकल्‍स बढ़ने की समस्‍या। इस वजह से स्‍क‍िन में उम्र से पहले ही बुढ़ापे के लक्षण नजर आने लगते हैं। ऑक्‍सीडेट‍िव स्‍ट्रेस के कारण झुर्र‍ियां और काले घेरे नजर आने लगते हैं। मेहंंदी लगाते रहने से ऑक्‍सीडेट‍िव तनाव को कम करने में मदद म‍िलती है।

इसे भी पढ़ें- Teej 2023: क्या प्रेग्नेंट महिलाएं तीज पर हाथों में मेहंदी लगा सकती हैं? डॉक्टर दे रही हैं जवाब

5. पित्त दोष को संतुलित करती है मेहंदी- Mehendi Cures Pitta Dosha 

आयुर्वेद की मानें तो मेहंदी लगाने से पित्त दोष संतुलि‍त होता है। मेहंदी स्‍क‍िन का पीएच लेवल भी संतुलि‍त करती है। पित्त दोष अग्नि और पानी जैसे दो तत्वों से मिलकर बना है। यह हमारे शरीर में बनने वाले हार्मोन्‍स को नियंत्रित करता है। शरीर का तापमान और पाचन क्र‍िया, पित्त से ही नियंत्रित होती हैं। पित्त का संतुलित रहना जरूरी है। ऐसा न होने से पेट से जुड़ी समस्याएं देखने को म‍िलती हैं जैसे कब्ज, अपच और एसिडिटी आदि। 

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study source: National Library of Medicine (NLM)

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