कब्ज की दिक्कत होना आजकल आम दिक्कत हो गई है, जिसका कारण गलत खान पान, पानी की कमी और डाइजेस्टिव सिस्टम की कमजोरी होती है। अगल लंबे टाइम तक यह दिक्कत बनी रहे, तो शरीर में टॉक्सिन्स जमा होने लगते हैं, जिससे कई दिक्कत होती हैं। आइए कब्ज से राहत के लिए कच्चे पपीते का इस्तेमाल और फायदे जानें।
फाइबर से भरपूर कच्चा पपीता
कच्चे पपीते में सॉल्यूबल और इनसॉल्यूबल फाइबर होते हैं, जो आंतों की अच्छे से सफाई करते हैं और मल त्याग को आसान बनाते हैं।
डाइजेस्टिव सिस्टम की मजबूती
कच्चे पपीते में मौजूद पपेन एंजाइम डाइजेशन की प्रोसेस को तेज करता है, जिससे खाना जल्दी डाइजेस्ट हो पाता है और कब्ज की दिक्कत नहीं होती।
नेचुरली डिटॉक्स के लिए पपीता
कच्चा पपीता शरीर से टॉक्सिन्स को बाहर निकालने में मदद करता है, जिससे पेट हल्का और आंतें हेल्दी बनी रहती हैं।
सूजन और गैस से आराम
कब्ज के कारण पेट में होने वाली सूजन और गैस की दिक्कत को कच्चा पपीता जल्दी दूर करने में मदद करता है और पेट को आराम पहुंचाता है।
पेट में गुड बैक्टीरिया बढ़ाता है
कच्चे पपीते का नियमित सेवन करने से आंतों में गुड बैक्टीरिया को बढ़ाने में मदद मिलती है, जिससे डाइजेशन स्ट्रांग होता है और पेट की बीमारियों से बचाव होता है।
कैसे करें कच्चे पपीते का सेवन?
कच्चे पपीते को सलाद में कद्दूकस करके, हल्का स्टीन करके या इसकी सब्जी बनाकर खाया जा सकता है। इसे रोजाना खाने से कब्ज की दिक्कत नहीं होती है।
किसे कच्चा पपीता नहीं खाना चाहिए?
प्रेग्नेंसी में कच्चा पपीता खाने से बचना चाहिए, क्योंकि इसमें मौजूद तत्व से यूटेरिन कॉन्ट्रैक्शन बढ़ सकता है।
कच्चा पपीता कब्ज के लिए बहुत असरदार और नेचुरल उपाय है। स्वास्थ्य से जुड़ी और जानकारी के लिए पढ़ते रहें onlymyhealth.com