नवजात शिशुओं में होने वाली समस्याओं में प्रमुख हैं, नर्सिंग बॉटल केरीज यानी बोतल से दूध पिलाने की वजह से होनेवाली कैविटी। अक्सर मांएं बच्चे के मुंह में बोतल लगाकर छोड़ देती हैं। इससे उसके दांतों में कीड़ा लग सकता है। दरअसल दूध पीने के कई घंटे बाद तक बच्चों के दांतों सुगर लेवल मौजूद रहता है। ऐसे में दूध की बोतल लगाकर सुलाना काफी हानिकारक हो जाता है। इसलिए ऐसा कभी भी नही करना चाहिए। अगर प्रॉब्लम बढ़ गई है तो तुरंत डॉक्टर के पास ले जाएं।
इलाज है मौजूद- डॉक्टर दांत में फिलिंग और जरूरत पड़ने पर पल्प ट्रीटमेंट (रूट कनाल की तरह) करेगा। बच्चों के लिए जीआईसी यानी ग्लास आइनोमर सिमेंट की फिलिंग सही रहती है क्योंकि इससे फ्लोराइड निकालता है, जो दांतों के लिए फायदेमंद है। इसमें मर्करी या दूसरे नुकसानदेह केमिकल भी नहीं होते। अगर दांत की दोनों वॉल टूट गई हैं तो कंपोटिज या कंपोमर फिलिंग भी करा सकते हैं।
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