क्या डे क्रीम और नाईट क्रीम का अलग अलग होना ज़रूरी है
डे क्रीम और नाईट क्रीम दोनों को अलग-अलग मकसद के लिए तैयार किया गया है और दोनों के अलग-अलग फायदे और काम होते हैं। साधारण भाषा में कहा जाए तो जिस क्रीम को रात को सोते समय लगाया जाता है उसे नाईट क्रीम के रूप में परिभाषित किया जा सकता है। दरअसल सोते समय त्वचा की उचित देखभाल करने से त्वचा की मृत कोशिकाएं निकल जाती हैं और नई कोशिकाओं का निर्माण होता है। इस तरह नाइट क्रीम की मदद से त्वचा का निखार बना रहता है और उसका असमय झुर्रियों से बचाव भी होता है, क्योंकि जितनी तेजी से नई कोशिकाओं का निर्माण होता है, उतनी ही त्वचा निखरती है और उम्र के प्रभाव से बची रहती है। डर्मिटोलॉजिस्टों मानते हैं कि नाइट क्रीम के इस्तेमाल से त्वचा की कोमलता बनी सरती है। चूंकि रात में त्वचा को नमी, ताप या हवा का सामना नहीं करना पड़ता, इसलिए यह एकसमान अवस्था में रहती है। ऐसी स्थिति में यह पोषक तत्वों को आसानी से सोख पाती है। नाइट क्रीम में मौजूद अल्फा हाइडॅाक्सी एसिड (एएचए) विटामिन सी व विटामिन ई जैसे एंटीऑक्सीडेंट्स होते हैं। इसी तरह दिन में भी त्वचा को पोषण व धूल-धूप आदि से सुरक्षा की जरूरत होती है। डे क्रीम के कई अलग अलग प्रकार होते हैं। जैसे झुर्रियों को दूर करने के लिए, धूप से सुरक्षा प्रदान करने के लिए, जबकि कुछ दूसरी डे क्रीम को क्रीम सिर्फ मॉस्चुराइज़ करने के लिए डिजाइन किया जोता है। आपकी स्किन दिन भर ढेर सारे स्ट्रेस और पॉल्यूशन से जूझती रही है, इसलिए इसे दिन और रात दोनों के लिएअगल अलग क्रीम की जरूरत होती है।
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