तिरछा सोयें

पेट या पीठ के बल सीधा सोने के बजाय तिरछा सोने से अल्जाइमर और पर्किंसंस जैसे न्यूरोलॉजिकल बीमारियों से बचा जा सकता हैं। हाल ही में ब्रिटने में हुई एक स्टडी में यह खुलासा हुआ है। अध्ययन के मुताबिक, सोने के तरीके से दिमाग में मौजूद हानिकारक केमिकल के निकलने का तरीका भी प्रभावित होता है। Image Source-Getty
भ्रूण की तरह सोना

भ्रूण की तरह सोने की मुद्रा भी फायदेमंद होती है क्योंकि ऐसे में आप रात में कभी भी आराम से करवट बदल सकते हैं, रीढ़ पर जोर नहीं पड़ता। ऐसे सोने वाले लोग सुबह उठाकर ज्याद तरोताजा महसूस करते हैं।इसका नुकसान यह है कि अगर गर्दन में दर्द है तो ऐसे सोने से दर्द बढ़ सकता है। Image Source-Getty
बायें हाथ के सहारे सोयें

अगर आपको हार्ट बर्न की समस्या हो तो आप बायें हाथ के सहारे सोने की आदत डालें। ब्रिटेन में देखा गया है कि जब वे लेफ्ट हैंड के सहारे सोने लगे तो उन्हें परेशानी से कुछ राहत मिली। उन्होंने बताया कि पहले हार्ट बर्न की शिकायत रात में ज्यादा होती थी, लेकिन अब दिक्कत कम हुई है। हांलाकि इसे बुरे सपने आने की समस्या देखी गई है। Image Source-Getty
पीठ के बल सोना

पीठ दर्द की शिकायत हो तो आप पीठ के बल सोने की कोशिश करें। ऐसा करने से आपको पीठ दर्द से राहत मिल सकती है। यहां तक कि पीठ के बल सोने से आपकी खूबसूरती भी बढ़ती है। आप इस कंडिशन में ज्यादा आराम महसूस करते हैं।लेकिन कई स्टडीज यह बता चुकी हैं कि जो लोग पीठ के बल सोते हैं, उनमें खर्राटे लेने की समस्या बढ़ जाती है और यहां तक कि स्लीप ऐप्निया के शिकार हो सकते हैं।Image Source-Getty
दाहिने हाथ के सहारे

अगर आप मानसिक तनाव से जूझ रहें है या फिर ब्लडप्रेशर की शिकायत हो आपको दाहिने हाथ के सहारे सोने से इस परेशानी से राहत मिल जाती है।लेकिन अगर आप नेक पेन से परेशान हैं तो राइट हैंड साइड के सहारे सोने से परेशानी और बढ़ जाती है।Image Source-Getty