ब्‍लड शुगर को नियंत्रित करने के उपाय

कुछ उचित तरीकों को अपनाकर ब्‍लड शुगर को नियंत्रित किया जा सकता है। आइये जानें ऐसे ही कुछ उपायों के बारे में इस स्‍लाइड शो में।

Pooja Sinha
Written by:Pooja SinhaPublished at: Jul 10, 2013

ब्‍लड शुगर पर नियंत्रण

ब्‍लड शुगर पर नियंत्रण
1/9

ब्‍लड शुगर एक खतरनाक बीमारी है। इसकी अगर सही समय पर रोकथाम नहीं की गई तो यह जानलेवा भी हो सकती है। आज यह बीमारी गलत खानपान, मानसिक तनाव, मोटापा और शारीरिक श्रम की कमी के कारण आम हो गई  है। बुजुर्गों के साथ ही युवा भी इसकी चपेट में तेजी से आ रहे हैं। यह बीमारी शरीर में अग्नाशय द्वारा इन्‍सुलिन का स्राव कम होने के कारण होती है। कुछ उचित तरीकों को अपनाकर ब्‍लड शुगर को नियंत्रित किया जा सकता है। आइये जानें ऐसे ही कुछ उपायों के बारे में।

फाइबर युक्‍त आहार

फाइबर युक्‍त आहार
2/9

खाद्य पदार्थो में फाइबर की भरपूर मात्रा ब्‍लड शुगर के रोगियों के लिए बहुत फायदेमंद साबित होती है। फाइबर युक्‍त आहार ब्‍लड शुगर को कंट्रोल करता है। दिल की बीमारियों का रिस्‍क कम होता है और वजन कम करने में मदद मिलती है। अवशोषित फाइबर ब्लड में शुगर की अधिक मात्रा को ऑब्‍जर्व कर लेता है और इन्सुलिन को नार्मल करके ब्‍लड शुगर को नियंत्रित करता है। अनाज, सब्जियां, फल, बीन्स, नट्स आदि में फाइबर भरपूर मात्रा में पाया जाता है।

हरी सब्जियों का सेवन

हरी सब्जियों का सेवन
3/9

ताजी हरी सब्जियों में आयरन, जिंक, पोटेशियम, कैल्शियम और अन्य कई पोषक तत्व पाये जाते हैं। जो कि हमारे शरीर के लिए आवश्‍यक हैं और इन्‍हीं से हमारा हृदय और नर्वस सिस्टम भी स्वस्थ रहता है। इससे शरीर इन्सुलिन की जरूरी मात्रा का उत्‍पादन करता है। ब्‍लड शुगर में लाल मांस का सेवन भी नहीं करना चाहिए। लाल मांस में फोलिफेनोल्स पाया जाता है, जो कोलेस्‍ट्रॉल के स्तर को बढ़ा देता है और हृदय रोग का खतरा बढ़ जाता है।

धूम्रपान ना करें

धूम्रपान ना करें
4/9

धूम्रपान से रक्‍त नलिकाएं सिकुड़ती हैं और ब्‍लड में फैट का लेवल बढ़ जाता है। लम्‍बे समय तक धूम्रपान करने से हृदय रोग और हार्मोन प्रभावित होने शुरू हो जाते हैं। धूम्रपान छोड़ने से हृदय रोग और स्ट्रोक होने की आशंका कम हो जाती है। इससे आपका स्वास्थ्य अच्छा रहेगा और ब्‍लड शुगर भी कंट्रोल रहेगी।

शारीरिक गतिविधियों को बढ़ाएं

शारीरिक गतिविधियों को बढ़ाएं
5/9

ब्‍लड शुगर को नियंत्रित करने के लिए जरूरी है कि शारीरिक गतिविधियों को बढ़ाया जाये। इससे आपका वजन नियंत्रित रहने के साथ ही ब्लड शुगर का लेवल भी कंट्रोल में रहेगा। इससे आप पर इन्सुलिन का असर अधिक प्रभावी होगा। इसके साथ ही एक्‍सरसाइज को भी अपनी दिनचर्या में शामिल करें। व्‍यायाम आपको स्वस्‍थ बनाये रखने में मदद करता है। अध्ययन बताते है की प्रतिदिन एक्सरसाइज करने से हमारा मेटाबोलिज्म भी अच्छा रहता है और ब्‍लड शुगर के रिस्क को भी कम किया जा सकता है।

वजन पर नियंत्रण

वजन पर नियंत्रण
6/9

अधिक वजन भी एक समस्‍या है, जो कि अन्‍य कई समस्‍याओं को जन्‍म देता है। वजन का जरूरत से ज्यादा होना ब्‍लड शुगर की आशंका को बढ़ा देता है। ब्‍लड शुगर और मोटापे में सीधा संबंध है। इसलिए ऐसे लोगों को वजन नियंत्रित करने की ज्‍यादा जरूरत होती है। वजन को नियंत्रित करने के लिए हेल्‍दी डाइट, वर्कआउट और समय- समय पर वजन की जांच कराना बहुत जरूरी है।

नियमित जांच करवाएं

नियमित जांच करवाएं
7/9

ब्‍लड शुगर वालों को अपनी जांच नियमित रुप से करवानी चाहिए। रोगियों को ब्लड ग्लूकोज मॉनिटर खरीद लेना चाहिए, जिससे वे घर पर भी आसानी से ब्लड ग्लूकोज की जांच कर सकते हैं। इसका प्रयोग काफी आसान होता है। इसमें जांच के लिए आपको रक्‍त की कुछ बूंदे चाहिए, जिससे आप ये जान सकते हैं कि आपका ब्लड शुगर सामान्य है या नहीं।

छोटे छोटे अन्तराल में भोजन

छोटे छोटे अन्तराल में भोजन
8/9

ब्‍लड शुगर से पीडि़त व्यक्ति को हमेशा अपने साथ कोई मीठी चीज जैसे ग्लूकोज, शक्‍कर, चॉकलेट, मीठे बिस्किट रखना चाहिए। यदि हाइपोग्‍लाइसीमिया के लक्षण दिखें तो तुरंत इनका सेवन करना चाहिए। एक सामान्य डायबिटिक व्यक्ति को ध्यान रखना चाहिए कि वे थोड़ी-थोड़ी देर में कुछ खाते रहें। दो या ढाई घंटे में कुछ खाएं। एक समय पर बहुत सारा खाना न खाएं। अध्ययन बताते है की थोड़े-थोड़े अन्तराल में भोजन करने से पोषक तत्व ज्यादा ऑब्‍जर्व होते हैं और फैट शरीर में कम जमा होता है। इससे इन्सुलिन नार्मल हो जाती है।

ट्रांस फैट से दूर रहें

ट्रांस फैट से दूर रहें
9/9

ब्‍लड शुगर वालों को ट्रांस फैट से दूर रहना चाहिए। इससे हमारा शरीर प्रोटीन की सही मात्रा ग्रहण नहीं कर पाता। इसके चलते शरीर में इन्सुलिन की कमी हो जाती है और हमारे शरीर में ब्लड शुगर का स्तर बढ़ जाता है। ब्‍लड शुगर में केक, पेस्ट्री, चिप्स और फास्ट फूड का सेवन ना करें क्योंकि इनमें ट्रांस फैट का इस्तेमाल होता है।

Disclaimer