उच्च रक्तचाप के लिए सर्वोत्तम आहार

बदलती जीवनशैली में हाइपरटेंशन यानी उच्च रक्तचाप एक ऐसी समस्या है जो लोगों में तेजी से फैल रही है। इसमें धमनियों में रक्त का दबाव बढ़ जाता है जिसके कारण दिल को सामान्य से अधिक कार्य करना पड़ता है। आमतौर पर ये समस्या अधिक तला-भुना चिकनाई युक्त भोजन करने और शारीरिक श्रम न करने की वजह से होती है। बच्चों में उच्च रक्तचाप का सबसे आम कारण मोटापा और गुर्दे की बीमारी होते हैं। हालांकि कुछ खाद्य पदार्थों का सेवन कर आप उच्च रक्तचाप की समस्या से निजात पा सकते हैं। आइए जानते हैं उन खाद्य पदार्थों के बारे में।
सफेद सेम

सफेद सेम का एक कप 13 प्रतिशत कैल्शियम 30 प्रतिशत मैग्नीशियम और 24 पोटेशियम प्रदान करता है। आप इन्हें कई प्रकार जैसे सब्जी बनाकर, सूप के रूप में या सलाद में खा सकते हैं। एसिटाइलकोलाइन (acetylcholine) के उत्पादन के लिए विटामिन बी 1 महत्वपूर्ण है जो एक न्यूरोट्रांसमीटर है जो तंत्रिकाओं से मांसपेशियों तक संदेश पहुंचाता है। दिल इन संकेतों पर निर्भर करता है। ऊर्जा का समुचित उपयोग तंत्रिकाओं और मांसपेशियों के बीच संकेत प्रदान करने में मदद करता है। अध्ययनों से पता चलता है कि सेम में मौजूद विटामिन बी 1 दिल की बीमारी का सामना करने में मदद और दिल की विफलता का भी इलाज करता है।
कद्दू के बीज

कद्दू का बीजों में जिंक प्रचुर मात्रा में पाया जाता है जो तनाव को कम करने में मदद करता है और रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है। गौरतलब है कि यदि शरीर में जिंक की कमी हो तो आप डिप्रेशन और चिड़चिडेपन के शिकार हो सकते हैं। इसे भी पढ़ें: व्हाइट ब्रेड भी हो सकता है आपके बढ़ते मोटापे की वजह
पोटेशियम खाएं

पोटेशियम एक ऐसा खनिज होता है जो रक्तचाप कम करने में मददगार है। पोटेशियम से भरपूर खाद्य पदार्थों में सेम व मटर, गिरियां, पालक, बंदगोभी जैसी सब्जियां, केला, पपीता व खजूर आदि प्रमुखता से शामिल होते हैं। इसे भी पढ़ें: पैक्‍ड केक, कुकीज और चिप्‍स खानें से पहले जान लें इसके दुष्‍परिणाम
किशमिश

अमेरिकन कॉलेज आफ कार्डियोलॉजी कांफ्रेंस में पेश एक अध्ययन में बताया गया कि दिन में तीन बार मुट्ठी भर किशमिश खाने से बढ़े रक्तचाप में कमी होती है। इस शोध के पहले परीक्षण में 46 लोगों को शामिल किया गया, जिनका रक्तचाप सामान्य से कुछ अधिक था और जिन्हें उच्च रक्तचाप होने का खतरा भी था। इन लोगों का रक्तचाप 120-80 से 139-89 मापा गया, जो सामान्य से कुछ ज्यादा था। इन लोगों ने जब आहार में नियमित रूप से किशमिश को शामिल किया तो इनके रक्तचाप में 12 हफ्ते में कमी दर्ज हुई और रक्तचाप सामान्य हो गया।
सोयाबीन

एक और अध्ययन के मुताबिक सोयाबीन को अपने आहार में नियमित रूप से शामिल करने से भी रक्तचाप को कम करने में मदद मिलती है। 18 से 30 वर्ष की आयु के 5100 श्वेत और अफ्रीकी अमेरिकी लोगों पर किए अध्ययन के अनुसार प्रतिदिन सोयाबीन, पनीर, मूंगफली और ग्रीन टी को अपने भोजन में शामिल करने वाले लोगों के रक्तचाप में कमी दर्ज की गई।
दही

दही में प्रोटीन, कैल्‍शियम, राइबोफ्लेविन, विटामिन बी 6 और विटामिन बी 12 काफी मात्रा में होते हैं, जो कि उच्‍च रक्‍तचाप की समस्‍या को कम करते हैं और शरीर को कई प्रकार को लाभकारी अवयव मिलते हैं। दही में कैल्शियम अधिक मात्रा में पाया जाता है। यह हड्डियों के विकास में सहायक होता है। साथ ही, दांतों और नाखूनों को भी मजबूत बनाता है। इससे मांसपेशियों के सही ढंग से काम करने में मदद मिलती है।
कीवी फ्रूट

एक कीवीफ्रूट में 2 प्रतिशत कैल्शियम, 7 प्रतिशत मैग्नीशियम और 9 प्रतिशत पोटेशियम होता है। इसका नियमित सेवन करने से आपको उच्च रक्तचाप की समस्या से निजात मिल सकती है। अनुसंधान में पाया गया है कि मधुमेह के कारण पैर अल्सर के उपचार में कीवी बहुत लाभदायक है। अनुसंधान में यह देखा गया कि कीवी में मौजूद प्राकृतिक यौगिकों ने घाव भरने की प्रक्रिया में सुधार किया और घाव संक्रमण की शुरुआत में देरी हुई। इसके अलावा किवी का ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम है जो मधुमेह रोगियों के लिए लाभदायक होता है। कीवी डायबिटीज मैलिटस वाले व्यक्तियों के लिए पूरी तरह से सुरक्षित है और आसानी से उपलब्ध भी है।
अंडा

अंडे में विटामिन, मिनरल और कई अन्य पौष्टिक तत्व पाए जाते हैं, जो एंडोर्फिन नामक एक रसायन का उत्पाद करते है। यह रसायन हमारे दिमाग में भी पाया जाता है। जो अवसाद व दर्द जैसी समस्याओं से राहत दिलाता है। अंडे को कई प्रकार, उबाल कर, सब्जी बनाकर या कच्चा भी खाया जा सकता है।
शकरकंद

शकरकंद जिसे अंग्रेजी में स्वीट पोटैटो कहा जाता है, में बीटा कैरोटीन, कैल्शियम और घुलनशील रेशे होते हैं। जो स्ट्रेस को कम करते हैं। इसलिये प्रतिदिन अपने आहार में करीब 1 से 2 स्लाइस शकरकंद जरुर शामिल करें।