शरीर का कांपना

हाथ-पैरों या पूरे शरीर में कंपकंपी होना किसी गंभीर समस्या का संकेत हो सकता है। अगर आपके हाथ या पैर अक्सर कांपते हैं, तो आपको नर्व्स (तंत्रिकाओं) से जुड़ी कोई बीमारी हो सकती है। अगर आपका पूरा शरीर या शरीर का कोई एक हिस्सा कभी-कभार अचानक कुछ सेकंड के लिए कांपता है, तो ये मस्तिष्क की किसी गंभीर बीमारी का संकेत हो सकता है। इसलिए शरीर या हाथ-पैरों में होने वाली कंपकंपी को नजरअंदाज कभी न करें। कई बार समस्या बढ़ जाने पर व्यक्ति कोमा में जा सकता है या उसके शरीर का एक हिस्सा खराब हो सकता है। इसलिए ऐसा होने पर लापरवाही ठीक नहीं। आइए आपको बताते हैं हाथ-पैर या शरीर के कांपने के 7 बड़े कारण।
शरीर या हाथ-पैर में कंपकंपी के आम कारण

शरीर में कंपकंपी के कई संभावित कारण हो सकते हैं। आमतौर पर अगर व्यक्ति आराम की स्थिति में है यानी वो कुछ नहीं कर रहा है और उसे लेटे-बैठे हुए कंपकंपी होने लगे तो इसका कारण ज्यादा तनाव, नींद की कमी या पार्किंसंस रोग हो सकता है। वहीं अगर कोई व्यक्ति काम कर रहा है और काम के दौरान उसके हाथ-पैरों में कंपकंपी होती है (जैसे- कप उठाते हुए, मोबाइल पकड़ने में, हाथ मिलाने में, टाइपिंग करने में या हाथ का कोई अन्य काम करने में) तो इसका कारण नर्व्स की कोई समस्या या दिमाग की गंभीर बीमारियां जैसे स्ट्रोक, ब्रेन ट्यूमर आदि हो सकता है। इसलिए आपको कभी भी हाथ-पैरों या शरीर में होने वाली कंपकंपी को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए।
शराब छोड़ने के कारण शरीर में कंपकंपी

शराब या एल्कोहल छोड़ने के बाद बहुत सारे लोगों के शरीर में कंपकंपी होती है। दरअसल लगातार एल्कोहल लेने से शरीर इसका आदी होता जाता है। आमतौर पर एल्कोहल पीने के बाद मस्तिष्क का फंक्शन स्लो हो जाता है और एनर्जी लेवल डाउन होता है। शरीर में हो रहे इन त्वरित बदलावों को ठीक करने के लिए शरीर नर्व्स (तंत्रिकाओं) की एक्टिविटी बढ़ा देता है। ऐसे में अगर कोई व्यक्ति रेगुलर एल्कोहल ले रहा है, तो उसके नर्व्स सामान्य की अपेक्षा ज्यादा संवेदनशील हो जाती हैं और एक निश्चित अवधि के बाद एल्कोहल की मांग करने लगती हैं। इसलिए एल्कोहल छोड़ने पर नर्व्स की संवेदनशीलता के कारण ही कंपकंपी महसूस होती है।
नींद की कमी के कारण शरीर में कंपकंपाहट

शरीर में कंपकंपाहट की समस्या का एक कारण नींद की कमी भी हो सकती है और अगर ऐसा है तो ये पार्किंसंस डिजीज का संकेत हो सकता है। इसके अलावा सेंट्रल स्लीप एप्निया भी एक ऐसी ही समस्या है, जिसमें व्यक्ति के शरीर में कंपकंपी हो सकती है। दरअसल सेंट्रल स्लीप एप्निया (CSA) होने पर नींद के दौरान मस्तिष्क कई बार मसल्स को हवा लेने का संकेत नहीं भेजता है, जिससे कई बार कुछ समय के लिए व्यक्ति की सांसें रुक जाती हैं। इसकी वजह से व्यक्ति को कंपकंपी होती है और कई अन्य समस्याएं हो सकती हैं।
मल्टीपल स्क्लेरोसिस के कारण शरीर में कंपकंपी

मस्तिष्क और रीढ़ की हड्डी में तंत्रिका कोशिकाओं के इन्सुलेटिंग कवर खराब होने के कारण मल्टीपल स्क्लेरोसिस की समस्या होती है। यह आमतौर पर सूजन की बीमारी है, जो नर्व्स के संचार की क्षमता को प्रभावित करती है। इस बीमारी से कई प्रकार की न्यूरोलॉजिकल समस्याएं होने लगती है जिसमें से एक शरीर में कंपकंपी भी है। अगर आपको लगातार कंपकाहट हो रही है तो आप डॉक्टर से संपर्क कर इसकी जांच जरूर कराएं।
ब्रेन स्ट्रोक का संकेत हो सकता है हाथों और शरीर में कंपकंपी

ब्रेन स्ट्रोक एक गंभीर बीमारी है, जिसमें इस्कीमिया या रक्तस्राव के कारण मस्तिष्क तक रक्त की आपूर्ति ठीक प्रकार से नहीं हो पाती है। इसके कारण ही नर्व्स ठीक से काम नहीं कर पाती हैं। आमतौर पर ब्रेन स्ट्रो के लक्षण अलग-अलग होते हैं क्योंकि मस्तिष्क के जिस हिस्से में परेशानी आती है, वहां से फंक्शन होने वाली एक्टिविटीज पर असर पड़ता है। स्ट्रोक शरीर में कांपने के प्रमुख कारणों में से एक है जो मस्तिष्क में बड़े घाव या चोट के कारण होता है। ये गंभीर समस्या है इसलिए डॉक्टर से संपर्क करना जरूरी है।
ट्रामेटिक ब्रेन इंजरी (टीबीआई)

ट्रामेटिक ब्रेन इंजरी मस्तिष्क की दर्दनाक चोट को दर्शाता है। इसमें मस्तिष्क में बाहरी से ज्यादा चोट लगने से अंदर की नसें दब जाती है या उनमें कई प्रकार की विकृति आ जाती है। यह एक गंभीर बीमारी होती है। ट्रामेटिक ब्रेन इंजरी दुनिया भर में होने वाली मौतों या विकलांगता के लिए जिम्मेदार कारकों में से एक है। टीबीआई से जुड़े प्रमुख लक्षणों में शरीर का कांपना भी शामिल है। संभव है कि ये कंपकंपी व्यक्ति के पूरी तरह ठीक होने के कुछ सालों बाद हो। इसलिए अगर किसी को दिमाग में पुरानी चोट लगी है और ऐसी समस्या हो रही है, तो डॉक्टर से संपर्क करके उचित सलाह लें।
पार्किंसंस रोग

पार्किंसंस रोग केंद्रीय तंत्रिका तंत्र का विकार है। इसके लक्षणों में शरीर के अंगों में बेकाबू रूप से कंपन विशेष रूप से हाथों में, शामिल है। ऐसा मस्तिष्क का शरीर की गतिविधियों का सही प्रबंधन न करने के कारण होता है। कंपना पार्किंसंस रोग के कार्डिनल लक्षणों में से एक है। जो रोग के निदान में आपकी मदद कर सकता है। पार्किंसंस रोग के कारण कम उम्र के युवाओं में भी हाथों के कांपने, पैरों के कांपने या शरीर के एक हिस्से में कंपकंपी की समस्या हो सकती है।