5 में से 1 भारतीय मानसिक तौर पर अस्वस्थ

हर 5 में से 1 भारतीय मानसिक तौर पर बीमार है। आज इंडिया में एक अरब से अधिक की आबादी रहती है। इस आंकड़े के अनुसार 5 करोड़ भारतीय मानसिक बीमारी से ग्रस्त हैं। जबकि सरकार के मेंटल हेल्थकेयर के बजट के अनुसार इंडिया इस पर 0.06% खर्च करता है। source of data @ Trijog
50% कॉर्पोरेट वर्किंग लोग तनाव पीड़ित

कॉर्पोरेट कल्चर ने पूरी दुनिया में पैर पसार लिए हैं जिसकी पहुंच में भारत भी आ गया है। लेकिन ये कॉर्पोरेट कल्चर ने लोगों को बीमार भी कर दिया है। जिसके कारण आज भारत के कॉर्पोरेट कल्चर में काम करने वाले लोगों में से 50% लोग तनाव से पीड़ित है। जिसमें से 30% लोग किसी तरह के एडिक्शन या वैवाहिक जीवन में कलह के कारण परेशान हैं तो बाकी के 20% अवसादग्रस्त हैं। source of data @ Trijog
दुनिया में इंडिया सबसे डिप्रेस्ड कंटरी

डब्ल्यूएचओ रिपोर्ट के अनुसार दुनिया में इंडिया सबसे डिप्रेस्ट कंटरी है। इंडिया के बाद चीन और यूएस का नम्बर आता है। इसी रिपोर्ट में ये भी खुलासा किया गया है कि 15-35 उम्र के लोगों के मरने की तीसरी सबसे बड़ी वजह आत्महत्या है। ये तथ्य खतरनाक तब बना जाता है जब इसमें ये भी जोड़ा जाता कि आज भारत 50 फीसदी आबादी ही 15-35 उम्र के समूह का है। इस कारण ही हिंदुस्तान को यंगिस्तान कहा जाता है।source of data @ Trijog
हर 5 में से एक यूथ है मानसिक रोगी

मेंटल, बिहेवरियल और साइक्लॉजिकल समस्याओं के 50% मामले किशोरावस्था में शुरू होते हैं। कम से कम 20% यूथ किसी ना किसी तरह की मानसिक बीमारियों का सामना कर रहे हैं। मतलब हर 5 में से एक यूथ मानसिक रोग से ग्रस्त है। source of data @ Trijog
औसतन 300 लोग करते हैं आत्महत्या

रोजाना औसतन 300 लोग भारत में आत्महत्या करते हैं। इन 300 में से 200 पुरुष और 100 महिलाएं होती हैं। आत्महत्या सबसे अधिक कारण घरेलू समस्याओं के कारण की जाती हैं। 2014 के आंकड़ों के अनुसार कुल 1,09,456 लोगों ने आत्महत्याएं कीं। source of data @ Trijog