फोड़े को पकाकर बहाने के घरेलू नुस्खे

गर्मियों और मानसून के मौसम में अक्सर फोड़े-फुंसी की समस्या होने लगती हैं। हालांकि यह आम समस्या है। इसे बिना चिकित्सक के घरेलू नुस्खों की मदद से घर पर भी ठीक किया जा सकता है। साफ सुधरी त्वचा पर फोड़े निकल जाने से यह त्वचा की खूबसूरती को भी प्रभावित कर देते हैं। फोड़े को आसानी से पकाकर घरेलू नुस्खों की मदद से निकाला जा सकता है। आइये जानते हैं फोड़े को पकाकर बहाने के घरेलू नुस्खे।
क्यों होते हैं फोड़े

फोड़े आमतौर पर बैक्टीरियल संक्रमण के कारण होते हैं। अमूमन फोड़े होने की समस्या आपको गर्मियों और बारिश के मौसम में ही देखने को मिलेंगी। ऐसे मौसम में बैक्टीरिया की ग्रोथ ज्यादा होती है। इसके अलावा सफेद रक्त कोशिकाओं का असंतुलित होना या फिर चोट आदि लगना भी इसका कारण हो सकते हैं। शुरूआती तौर पर इन्हें पकाकर भी बहाया जा सकता है।
नीम और तुलसी

नीम अपनी एंटीसेप्टिक गुणों के कारण सदियों से आयुर्वेद में एक औषधी के रूप में इस्तेमाल किया जाता है। साथ ही तुलसी की एंटीसेप्टिक, एंटीबैक्टीरियल, एंटीफंगल और एंटीइंफ्लेमेटरी गुण फोड़े को ठीक करने में बहुत उपयोगी होते हैं। इसके लिए आप नीम और तुलसी का लेप फोड़े को जल्दी पका कर उसे बहा देता है। इसके लिए नीम और तुलसी की पत्तियों को धोकर लेप बनाएं और फोड़े पर दिन में 2 से 3 बार लगाएं। इससे आपको जलन और दर्द से भी राहत मिलेगी।
हल्दी

हल्दी चोट, फोड़े फुंसी आदि पर बहुत जल्दी प्रतिक्रिया करता है। घरेलू नुस्खों के तौर पर इसे सबसे पहले इस्तेमाल किया जाता है। हल्दी के एंटीबैक्टीरियल, एंटीफंगल, एंटीमाइक्रोबियल और एंटी इन्फ्लेमेटरी गुण फोड़े को पकाने के लिए बहुत फायदेमंद होते हैं। इसके साथ सरसों का तेल मिलाएं। इससे दर्द और सूजन में राहत मिलती है और यह फोड़े को पकाने में मदद करती है। इसके लिए आप नहाने के बाद साफ हाथों से फोड़े पर हल्दी और सरसों के तेल का गुनगुना लेप लगाएं।
एलोवेरा

एलोवेरा स्किन से संबंधित समस्याओं के लिए बहुत कारगर उपचार है। एलोवेरा की मेडिसिनल प्रॉपर्टीज के कारण इसे हमेशा से आयुर्वेद में इस्तेमाल किया जाता हैं एलोवेरा के एंटी इन्फ्लेमेटरी गुण फोड़े की सूजन कम करते हैं। इससे जलन और दर्द से भी राहत मिलती है और एक ठंडा एसहास मिलता है। एलोवेरा की एंटीमाइक्रोबियल, एंटीफंगल और एंटीबैक्टीरियल गुण फोड़े को नरम कर जल्द ही पकाकर ठीक करते हैं। इसके लिए आप सीधा एलोवेरा जेल फोड़े पर लगाएं।
टी ट्री ऑयल

टी ट्री ऑयल एक मेडिसिनल एसेंशियल ऑयल होता है। टी ट्री ऑयल के एंटीबैक्टीरियल और एंटीसेप्टिक गुण फोड़े को ठीक करने में बहुत फायदेमंद होते हैं। टी ट्री ऑयल की एंटी इन्फ्लेमेटरी गुण फोड़े की सूजन कम कर दर्द से राहत दिलाते हैं। टी ट्री ऑयल को फोड़े पर लगाने के लिए ऑलिव ऑयल या फिर नारियल तेल के साथ मिक्स करके फोड़े पर रूई की मदद से लगाएं या उसे बांध लें। यह फोड़े को पकाने में और अंदर की गंदगी निकलने में मदद करता है।
गर्म सिकाई

फोड़े की चुभन और दर्द से राहत पाने के लिए गर्म सिकाई का सहारा लेना अच्छा होता है। गर्म सिकाई से फोड़े का दर्द नम हो जाता है। गर्माहट पाकर फोड़े जल्दी पकने लगते हैं और अंदर की सारी गंदगी बाहर फूटकर निकल आती है। इसके लिए आपको एक बर्तन में गर्म पानी लेना होगा। आप चाहें तो इस गर्म पानी में नमक भी मिला सकते हैं। अब एक कपड़े के कोने को पानी में डुबोए और फोड़े पर हल्के हाथ से लगाएं। अगर फोड़ा हाथ या पैर की उंगलियों पर है तो आप कुछ समय तक इसे गर्म पानी में भिगो कर भी रख सकते हैं। गर्म कपड़े को आप प्रभावित हिस्से पर भी रख सकते हैं।
कैस्टर ऑयल

कैस्टर ऑयल घाव भरने में बहुत फायदेमंद होता है। यह एक एंटी इंफ्लेमेटरी और लैक्सेटिव एसेंशियल ऑयल है। कैस्टर ऑयल को फोड़े पर लगाने से फोड़ा नर्म होकर जल्द ही फूट जाता है। कैस्टर ऑयल प्राकृतिक तौर पर मॉइश्चराइज भी करता है। फोड़े से परेशान हैं तो कैस्टर ऑयल को फोड़े के ऊपरी भाग पर लगाएं। दिन में इसके 3 से 4 बार उपयोग करने पर यह काफी असर दिखाता है। इससे फोड़ा अपने आप पकने लगता है।
बेकिंग सोडा

फोड़े के लिए बेकिंग सोडा एक बहुत ही आसान घरेलू उपाय है। बेकिंग सोडा फोड़े पर लगाने से वह सूखकर ऊपरी परत हटा देता है और अंदर का पस निकाल देता है। यह फोड़ा ठीक करने में बहुत कारगर होता है। इसके लिए आपको केवल बेकिंग सोडा को पानी में मिलाकर एक थिक पेस्ट बनाना है और इसे कुछ मिनट तक के लिए छोड़ देना है। बेकिंग सोडा बैक्टीरिया को भी खत्म करता है।
सावधानियां

फोड़े के आस-पास साफ सफाई रखना बहुत जरूरी होता है। इसके लिए साफ बैंडेज लगाएं। साफ सुथरे कपड़े से ही फोड़े को पोछें। इससे इंफेक्शन फैलने का खतरा नही रहता है। फोड़े को अपने आप ठीक करने की कोशिश न करें। बड़ा फोड़ा होने पर कुछ लोग उससे खुद ही फोड़ देते हैं। इससे इंफेक्शन होने का खतरा होता है। फोड़े के अंदर बैक्टीरिया होते हैं। अगर इससे बिना खुद ही फोड़ दिया जाए तो इससे घाव बन सकता है। फोड़े वाली जगह को बार-बार न छुएं। दवाई या लेप लगाने से पहले और बाद में हाथ को अच्छे से धोएं।