सेहत से जुड़ी गलतफहमियां

अच्छा स्वास्थ्य को पाने के लिए लोग क्या जतन नहीं करते। एक सर्वे की मानें तो एक सामान्य व्यक्ति अपने वार्षिक बजट में से औसतन 12 प्रतिशत सेहत बनाने के नाम पर व्यय करता है। लेकिन यह चिंतनीय है कि हमारे बीच सेहत और इससे जुड़ी जानकारियों को लेकर तरह तरह के मिथ और भ्रम पनपे हुए हैं। दुनियाभर में हो रहे शोध तथा नित छपते स्वास्थ्य लेख हमें लगातार ऐसे भ्रमों से दूर रहने की हिदायद देते रहते हैं। तो चलिये हांसिल करते हैं कुछ नई जानकारियां और करते हैं खुद को सेहत से जुड़ी गलतफहमियों से दूर। courtesy: © Thinkstock photos/ Getty Images
ठंडा मौसम हमेशा बनाता है बीमार

बहुत से लोगों मानते हैं कि ठंडे मौसम में लोग ज्यादा बीमार पड़ते हैं, जबकि अध्ययन की मानें तो ठंडे मौसम में रोग अपेक्षाकृत कम फैलते हैं। यही नहीं ठंडे मौसम या ठंडी चीजों से लोग कम बीमार पड़ते हैं, बनिस्बत अन्य कारकों और कारणों के। courtesy: © Thinkstock photos/ Getty Images
दातुंन नहीं करना चाहिए

बुजुर्ग मानते हैं कि ब्रश न करके दांतों को साफ करने के लिए नीम की दातुन आदि का इस्तेमाल करना चाहिए। यह धारणा गलत है पहले और अब के खान-पान में काफी बदलाव आ चुका है। इसलिए सोफ्ट ब्रश का प्रयोग करना चाहिए। courtesy: © Thinkstock photos/ Getty Images
सख्त चीजें नहीं खानी चाहिए

यह सोच गलत है कि खाने में सख्त चीजें खानी ही नहीं चाहिए। कभी-कभी गन्ना, अमरूद जैसी सख्त चीजें भी खानी चाहिए इससे दांत मजबूत बनते हैं और मसूड़े और जबड़े का व्यायाम भी हो जाता है। courtesy: © Thinkstock photos/ Getty Images
रक्तदान से होती है खून की कमी

अगर आप यह सोचते हैं कि रक्तदान करने से आपके शरीर में खून की कमी हो जाएगी तो आप बिल्कुल गलत सोच रहे हैं। रक्तदान करने के 48 घंटे के भीतर ही दिये गये रक्त की पूर्ति हो जाती है। यही नहीं, अगर आप पूरी तरह स्वस्थ हैं तो आप हर तीन महीने में बिना किसी स्वास्थ्य समस्या के एक बार रक्तदान कर सकते हैं।courtesy: © Thinkstock photos/ Getty Images
रक्तदान से सेहत को नुकसान

आपको बता दें कि रक्तदान पूरी तरह सुरक्षित है और रक्तदान करने से सेहत पर कोई बुरा असर नहीं होता। वास्तविकता तो यह है कि रक्तदान से दिल की बीमारियों की आशंका कम होती है और रक्तदान शरीर में अतिरिक्त आयरन को जमने से रोकता है। courtesy: © Thinkstock photos/ Getty Images
सिर से निकलती है सारी गर्मी

ऐसा सच नहीं नहीं है। शरीर की गर्मी हमारे शरीर के उन सभी अंगों से बाहर निकलती है जिन्हें हमने कपड़ो आदि से न ढ़का हो। फिर चाहे वह सिर हो या शरीर का कोई अन्य अंग। courtesy: © Thinkstock photos/ Getty Images
दूध पीने से कफ बनाता है

यह बात वैज्ञानिक तौर पर प्रमाणित नहीं है। एक अध्ययन के दौरान शोधकर्ताओं ने पाया कि वायरल बुखार वाले कई मरीजों ने स्वेच्छापूर्वक काफी मात्र में दूध पिया। शोधकर्ताओं ने पाया कि दूध पीने वाले मरीजों में से किसी के शरीर में न कफ बना और न ही इस वजह से कंजेशन (रक्तसंकुलता) हुआ।courtesy: © Thinkstock photos/ Getty Images
अविवाहितों का यौन जीवन ज्यादा बेहतर

बहुत से लोग ऐसा मानते हैं कि शादीशुदा लोगों की बनिस्पत अविवाहितों का भावनात्मक और सैक्स जीवन ज्यादा बेहतर होता है, जबकि शोधों के परिणाम इस धारणा से उलट जानकारी देते हैं। एक अध्ययन के अनुसार शादीशुदा व्यक्ति के पास उसकी भावनाओं को समझने वाला व्यक्ति हमेशा मौजूद रहता है जबकि अविवाहित व्यक्ति अधिकांश समय अकेला होता है। courtesy: © Thinkstock photos/ Getty Images
एंटीबायोटिक के साथ बर्थकंट्रोल पिल नहीं लेनी चाहिए

कई लोगों का मानना है कि गर्भ निरोधक गोलियां एंटीबायोटिक दवाओं के साथ नहीं लेनी चाहिए क्योंकि इन्हें साथ लेने पर इनका प्रभाव खत्म हो जाता है। जबकि यह सोच गलत है। गर्भ निरोधक गोलियों को नियत समय पर लिया जाना चाहिए तभी वे असर करती हैं।courtesy: © Thinkstock photos/ Getty Images