कोलेस्ट्रॉल के साथ ट्राइग्लिसराइड्स को कम करने के उपाय
उच्च कोलेस्ट्रॉल के साथ ट्राइग्लिसराइड्स शरीर में अवरुद्ध धमनियों, दिल के दौरे या स्ट्रोक और एक्यूट पैंक्रियाटिस होने के खतरे को बढ़ा देता है। इसलिए आपको शरीर में ट्राइग्लिसराइड के स्तर को कम करने के उपायों के बारे में जानकारी होनी चाहिए।

ट्राइग्लिसराइड्स फैट की तीन श्रृंखलाओं से मिलकर बना पदार्थ है। यह शरीर में फैट को पहुंचने और इकट्ठा करने का काम करता है। हमारे रक्त में ट्राइग्लिसराइड्स का उच्च स्तर रक्त वाहिकाओं और अग्न्याशय (पैंक्रियास) को नुकसान पहुंचता है। और उच्च कोलेस्ट्रॉल के साथ इसकी उपस्थिति, जो आमतौर पर होती है, अवरुद्ध धमनियों, दिल के दौरे या स्ट्रोक और एक्यूट पैंक्रियाटिस होने के खतरे को बढ़ा देता है। इसलिए आपको शरीर में ट्राइग्लिसराइड के स्तर को कम करने के तरीके पता होने चाहिए। image courtesy : getty images

ट्राइग्लिसराइड्स का उच्च स्तर मेटाबोलिक सिंड्रोम का कारण बनता है, जिससे शरीर में हृदय रोग और स्ट्रोक होने का खतरा बढ़ जाता है। आमतौर पर मोटे लोग मेटाबोलिक संबंधी विकार से पीड़ित होते हैं। अगर आप जानना चाहते हो कि आप इस जोखिम पर हो या नहीं तो अपनी कमर की निचली पसलियों और कूल्हे की हड्डी के बीच मध्य बिंदु को नाप लें, यह आपकी कमर का सही आकार है। पुरुष की कमर का आकार 37 से अधिक और महिलाओं का 31.5 से अधिक होने पर वह इसके जोखिम पर होते हैं। अधिक वजन या मोटापे से ग्रस्त व्यक्ति में ट्राइग्लिसराइड का उच्च स्तर होने की अधिक संभावना होती है। image courtesy : getty images

भोजन में अतिरिक्त कैलोरी ट्राइग्लिसराइड्स में परिवर्तित हो जाती है। शुगर और फैट से भरपूर फूड्स और शराब उच्च कैलोरी वाले खाद्य पदार्थ हैं और यह उच्च ट्राइग्लिसराइड्स के लिए जिम्मेदार होते हैं। ट्राइग्लिसराइड्स और अतिरिक्त वजन को कम करने के लिए इन सभी खाद्य पदार्थों का सेवन कम करें। image courtesy : getty images

समय-समय पर हुए अनुसंधान ने ब्रिटेन के लोगों को चेतावनी दी कि अधिक चीनी सेहत के लिए अच्छी नहीं होती है। जबकि फल और दूध में मौजूद प्राकृतिक चीनी हानिरहित होती है, लेकिन मिठाई, चॉकलेट, बिस्कुट और मीठे पेय में पायी जानी वाली कैलोरी ट्राइग्लिसराइड के स्तर को बढ़ा देती है। हमेशा शुगर उत्पाद खरीदते समय लेबल को चैक कर लें, क्योंकि किसी भी प्रकार की चीनी अच्छी नहीं होती है चाहे वाइट हो या ब्राउन, कॉर्न सिरप, फ्रूट जूस कॉन्सेंट्रेटस या शहद। image courtesy : getty images
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रेशेदार खाद्य पदार्थों का सेवन बढ़ाने और स्टार्च का सेवन कम करने से ट्राइग्लिसराइड के स्तर को कम करने में मदद मिलती है। कुछ घुलनशील फाइबर तो ब्लड शुगर और ट्राइग्लिसराइड्स को नियंत्रित करते हैं। लेकिन हम में से कुछ ही लोग केवल पर्याप्त मात्रा में फाइबर खाते हैं। दलिया, बीन्स, जई, नट्स, बीज, दालें, ब्राउन राइस, पास्ता और साबुत अनाज आदि फाइबर से भरपूर होते है। image courtesy : getty images

ब्रिटिश डाइटिक एसोसिएशन के अनुसार, ब्रिटेन में ज्यादातर लोग, जितना की उन्हें खाना चाहिए की तुलना में 20 प्रतिशत अधिक सैचुरेटेड फैट खाते हैं। इस तरह का फैट फैटयुक्त मीट, पनीर, पेस्ट्री और हाइड्रोजनीकृत वनस्पति तेल में बने खाद्य पदार्थों में पाया जाता है। हालांकि, कुछ वसा हमारे लिये अच्छा होता है, उन्हें आप अधिक खा सकते हैं। जैसे मोनो और पॉलीअनसेचुरेटेड फैट जो एवोकैडो, मछली के तेल, नट्स, बीज, सनफ्लावर और ऑलिव ऑयल में पाया जाता है। image courtesy : getty images

पोषण पर ब्रिटेन वैज्ञानिक सलाहकार समिति के अनुसार, मछली से भरपूर आहार, विशेष रूप से मछली का तेल, हृदय रोग के खतरे को कम करता है। वास्तव में आपको एक हफ्ते में कम से कम दो बार मछली का तेल खाने की सलाह दी जाती है। मछली के तेल में मौजूद ओमेगा-3 फैटी एसिड ब्लड प्रेशर को बनाये रखने और ट्राइग्लिसराइड के स्तर में सुधार करने में मदद करता हैं। image courtesy : getty images

अगर आप शाकाहारी हैं, और मछली का तेल नहीं खाते हैं तो चिंता की कोई बात नहीं हैं। क्योंकि आवश्यक अमीनो फैटी एसिड आपको अखरोट, अलसी, सोयाबीन तेल, कद्दू के बीज, पालक, गोभी, ब्रसेल्स स्प्राउट्स और सेम जैसे स्रोतों से मिल सकता हैं। लेकिन तेल और नट्स का सेवन एक सीमित मात्रा में करना चाहिए क्योंकि इसमें कैलोरी की मात्रा बहुत ज्यादा होती है। image courtesy : getty images

आप आहार में साधारण परिवर्तन के साथ भी ट्राइग्लिसराइड के स्तर को कम कर सकते हैं, लेकिन इनके पूरक आहार को लेने पर किसी भी कोर्स को शुरु करने से पहले आपको चिकित्सक की सलाह जरूर लेनी चाहिए। यूरोपीय वयस्कों के लिए इपीए और डीएचए पर आधरित सीवीडी जोखिम के लिए यूरोपीय संघ के वयस्क को प्रतिदिन 250-500 मिलीग्राम अाहार की सिफारिश की जाती है। image courtesy : getty images

कुछ लोगों में थोड़ी सी शराब का सेवन भी ट्राइग्लिसराइड्स के स्तर को बढ़ा सकता है। लेकिन अगर आप तनाव को कम करने के लिए वाइन लेते हैं तो उसकी मात्रा कम ही रखें। इसके विकल्प के रूप में आप नींबू पानी या ताजी हर्बल चाय को पीने की कोशिश कर सकते हैं। image courtesy : getty images

बहुत ज्यादा वजन विशेष रूप से आपकी कमर के आसपास ट्राइग्लिसराइड्स को बढ़ा देता है। इसलिए ट्राइग्लिसराइड्स के खतरे से बचने के लिए अपने वजन को कम करें। एक स्वस्थ आहार योजना और नियमित एक्सरसाइज वजन को कम करने, दिल की बीमारी और पैंक्रिटिस के जोखिम को कम करने में आपकी मदद कर सकती हैं। image courtesy : getty images
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