गिलोय के नुकसान भी हैं

गिलोय बहुत ही फायदेमंद मानी जाती है, इसका वैज्ञानिक नाम टीनोस्पोरा कार्डीफोलिया है और यह एक बहुवर्षिय लता होती है। इसके पत्ते पान के पत्ते कि तरह होते हैं। यह बहुत ही गुणकारी औषधि मानी जाती है। गिलोय की लता जंगलों, खेतों की मेड़ों, पहाड़ों की चट्टानों आदि स्थानों पर आसानी से मिल जाती है। इसकी पत्तियां और रस दोनों ही गुणकारी होते हैं। सामान्य और खतरनाक बीमारी के उपचार में इसका प्रयोग किया जाता है। लेकिन क्या आप जानते हैं इतने गुण होने के बाद भी कुछ बीमारियों में गिलोय का सेवन नुकसानदेह (side effects of giloy) है। इस स्लाइडशो में हम आपको बता रहे हैं कब गिलोय का सेवन ना करें।
पेट की समस्या होने पर

अगर आपको पेट की समस्या है तो गिलोय का प्रयोग बिलकुल न करें, क्योंकि इसके कारण अपच की शिकायत हो सकती है। अपच की समस्या होने पर इसका किसी भी तरह से यानी की कैप्सूल या गिलोय जूस का सेवन करना नुकसानदेह हो सकता है। इसके कारण पेट में दर्द और मरोड़ की शिकायत हो सकती है।
लो ब्लड शुगर में

गिलोय के सेवन से ब्लड शुगर कम होता है। इसलिए अगर आपका ब्लड शुगर पहले से ही कम है तो इसका सेवन बिलकुल न करें। अगर आप डायबिटीज के मरीज हैं तो ब्लड शुगर कम करते वक्त सावधानी बरतें। डायबिटीज में चिकित्सक की सलाह के बिना इसका सेवन न करें।
ऑटोइम्यून बीमारी का खतरा

आपके इम्यून सिस्टम का एक्टिव होना बेहद जरूरी है, लेकिन अगर आपका इम्यून सिस्टम ज्यादा एक्टिव हो जाए तो ये खतरनाक है। क्योंकि इस स्थिति में ऑटोइम्यून बीमारियों के होने का खतरा बढ़ जाता है। यानी इसके अधिक प्रयोग से ल्यूपस, मल्टीपल स्क्लेरोसिस और रूमेटाइड अर्थराइटिस जैसी बीमारियां हो सकती हैं। अगर आपको ये बीमारियां हैं तो गिलोय का सेवन बिलकुल न करें।
गर्भावस्था के दौरान

गर्भवती महिलाओं और स्तनपान कराने वाली महिलाओं को गिलोय का सेवन नहीं करना चाहिए। क्योंकि इसके कारण इस दौरान शरीर पर नकारात्मक असर पड़ता है। इसके अलावा अगर आप सर्जरी कराने जा रहे हैं या सर्जरी हुई है तो भी गिलोय का सेवन न करें, क्योंकि यह ब्लड शुगर को प्रभावित करता है और इसके कारण सर्जरी के घाव सूखने में समस्या हो सकती है।