छुपे कीटाणुओं की जानकारी

हम मैली चीजों को छूने से बचते हैं। टायलेट बाउल, कूड़ेदान और सार्वजनिक स्‍थलों पर पड़े अन्‍य सामान छूने में हम हमेशा कोताही बरतते हैं। लेकिन, इन सबके बीच हम अपने करीब पड़ी कई चीजों को नजरअंदाज कर देते हैं। ऐसी चीजें जो मैली होती हैं, गंदी होती हैं, कीटाणुयुक्‍त होती हैं। लेकिन, क्‍योंकि वे देखने में साफ लगती है, इसलिए हम उनमें छुपे कीटाणुओं को देख नहीं पाते। हम आपको 20 ऐसी अनोखी मैली चीजों के बारे में बता रहे हैं, जिनकी ओर हमारा ध्‍यान ही नहीं जाता। image courtesy : getty images
किचन स्पंज

स्‍पंज में भोजन के अंश और बैक्‍टीरिया आसानी से समा सकते हैं। अंधेरा और नमी का माहौल बैक्‍टीरिया के पनपने के लिए माकूल होता है। क्‍या किया जाए - बैक्‍टीरिया के प्रभाव को कम करने के लिए आपको एंटी-बैक्‍टीरियल स्‍पंज और डिश साबुन इस्‍तेमाल करने चाहिये। लेकिन ये सभी भी ई. कोली और सेलमोनेला को पूरी तरह नियंत्रित करने में नाकाम होते हैं। बेहतर है कि आप सप्‍ताह में कम से कम एक बार स्‍पंज को पांच मिनट के लिए ब्‍लीच सॉल्‍युशन में डालें। आप इसे दो मिनट तक उच्‍च तापमान पर माइक्रोवेव में रखें। माइक्रोवेव में रखने से 99 फीसदी तक बैक्‍टीरिया मर जाते हैं। image courtesy : getty images
रसोई के बटन, नॉब और हैंडल

फ्रिज से कुछ निकालना हो, मसाले वाला दराज खोलना हो, ओवन को प्री‍-हीट करना हो या माइक्रोवेव में कुछ रखना हो। खाना पकाना कोई आसान काम नहीं। इसमें कई चरणों की कड़ी मेहतन शुमार होती है। इसके साथ ही कच्‍चे चिकन या बिना धुली सब्जियों के साथ काफी बैक्‍टीरिया भी इस प्रक्रिया का हिस्‍सा बन जाते हैं। क्‍या किया जाए- खतरे को कम करने के लिए किचन में नियमित इस्‍तेमाल होने वाले स्‍थानों को दिन में कई बार साफ करें। खासतौर पर खाना पकाने से पहले और बाद में। इस काम को आसान बनाने के लिए एंटी-बैक्‍टीरियल उत्‍पादों को अपनी पहुंच में ही रखें। image courtesy : getty images
कटिंग बोर्ड

रसोई में हर सामान के लिए अलग कटिंग बोर्ड रख पाना आसान नहीं। मांस या मछली का टुकड़ा काटने के बाद उसी बोर्ड पर आपको ताजा सब्जियां काटनी पड़ती हैं। लेकिन, सफाई जरूरी है। यूं तो प्‍लास्टिक बोर्ड को लकड़ी के मुकाबले बेहतर माना जाता है। इसे साफ करना आसान है और दूसरे इसमें रोम छिद्र भी नहीं होते।क्‍या किया जाए- प्‍लास्टिक बोर्ड को नियमित रूप से डिशवॉशर में साफ करें। यदि डिशवॉशर न हो तो लगभग उबलते हुए पानी से इसे साफ करें। बोर्ड को अंदर रखने से पहले उसे अच्‍छी तरह सुखा लें। बेहतर है कि आप ज्‍यादा कटे हुए बोर्ड को बदल लें। image courtesy : getty images
ड्रिप कॉफी मेकर

हालांकि कॉफी में कीटाणुरोधी गुण होते हैं, लेकिन कॉफी मेकर को साफ करने की जरूरत होती है। अधिकतर घरेलू कॉफी मेकर इतने गर्म नहीं होते कि वे अपने भीतर पनप रहे कीटाणुओं को खत्‍म कर सकें।क्‍या किया जाए महीने में एक बार आधा पानी और आधा सिरका मिलाकर उसे मशीन से एक बार साफ करें। इससे बैक्‍टीरिया समाप्‍त हो जाते हैं। एक बार साफ करने के बाद एक घंटे के लिए मशीन बंद कर दें। और फिर इस प्रक्रिया को दोहरायें। image courtesy : getty images
तकिये

तकिये में सिर्फ रुई ही नहीं होती, इनमें संक्रमण फैलाने वाले कई फंगस भी हो सकते हैं। और पसीने, गंदगी आदि भी धूल कणों और एलर्जी को बढ़ाने का काम करते हैं। क्‍या करें बिस्‍तर को नियमित रूप से साफ करें। इसके साथ ही एंटी-एलर्जन कवर भी कीटाणुओं को तकिये में गहरे समाने से रोकने में मदद करते हैं। image courtesy : getty images
चादर

जो कारण तकिये को कीटाणुओं के लिए उपयुक्‍त बनाते हैं, वही चादर पर भी लागू होते हैं। आप इसमें हर रात का पसीना और जोड़ सकते हैं। क्‍या किया जाएसब चीजों को बेहतर से बेहतर उपलब्‍ध तरीके से धोयें और सुखायें। इसके साथ ही इन्‍हें नियमित रूप से ब्‍लीच भी करें। शोध में यह साबित हुआ है कि गर्म पानी से धोना और ब्‍लीच का मेल न केवल कपड़ों में मौजूद बैक्‍टीरिया को ही साफ करता है, बल्कि इससे मशीन में भी कीटाणु नहीं पनपते। image courtesy : getty images
बाथ मैट

बाथ मैट कितना कुछ सहते हैं। नहाते समय आपका पानी सोखते हैं। लगातार जमीन के संपर्क में रहते हैं। नमी और अंधेरा बैक्‍टीरिया के लिए माकूल माहौल मुहैया कराता है। शोध में यह प्रमाणित हुआ है कि बाथरूम का फर्श कीटाणुओं के पनपने का सही माहौल उपलब्‍ध कराता है। इसलिए हमें बाथरूम मैट को साफ रखना चाहिये। क्‍या किया जाए- सप्‍ताह में एक बार बार गर्म पानी और साबुन के साथ धोयें। इसमें ब्‍लीच भी मिला लें। अगर मेट का तला रबड़ का हो, तो इसे बाकी कपड़ों से अलग करके धोयें। image courtesy : getty images
लॉन्ड्री बास्केट

आपके सभी पसीने वाले कपड़े, अंत:वस्‍त्र और बिस्‍तर सब उस लॉन्‍ड्री बैग में जाता है। तो इसमें कि‍तने बैक्‍टीरिया जमा हो जाते हैं। क्‍या किया जाए - साफ और गंदे कपड़ों के लिए अलग-अलग बैग रखें। और कपड़ों के साथ ही गंदा बैग भी धो दें। image courtesy : getty images
मेकअप ब्रश

रूप संवारते समय तो बीमार होना कोई भी नहीं चाहेगा। लेकिन कॉस्‍मेटिक आपको इन हालात में बीमार कर सकते हैं। आंखों का मेकअप चिंता का सबसे बड़ा कारण हो सकता है। एक शोध के अनुसार इस्‍तेमाल के सिर्फ तीन महीने के अंदर 40 फीसदी मस्‍कारा ट्यूब में बैक्‍टीरिया पैदा होने लगते हैं। क्‍या किया जाए - आंखों के मेकअप को हर सीजन बदलें। टॉस लोशन और तरल फाउंडेशन को हर छह महीने में बदल दें। और हर दो वर्ष में ताजा पाउडर बेस उत्‍पाद, लिपस्टिक, और नेल पॉलिश लेकर आएं। image courtesy : getty images