गर्भावस्था के दौरान पहली तिमाही में सामान्‍य समस्‍या है रक्तस्राव

गर्भावस्‍था की पहली तिमाही में रक्‍तस्राव होना सामान्‍य है, लेकिन ज्‍यादा रक्‍तस्राव गर्भपात का संकेत हो सकता है, विस्‍तार से जानिये इस लेख में।

Written by: Nachiketa Sharma Updated at: 2014-01-28 12:14

गर्भवती होने के बाद महिलाओं को कई प्रकार की जटिलताओं का सामना करना पड़ता है। प्रेग्‍नेंसी के दौरान ब्‍लीडिंग सामान्‍य बात है, लेकिन यदि पहली तिमाही में ज्‍यादा रक्‍तस्राव हो जाये तो कई गर्भपात होने की संभावना बढ़ जाती है।

गर्भधारण करने के बाद रक्‍तस्राव हो तो ज्‍यादा घबरायें नहीं, यह एक सामान्‍य प्रक्रिया है, लेकिन यदि यह समस्या गंभीर या असामान्य लगे तो इसे बिलकुल भी अनदेखा न करें। अधिकांश गर्भवती महिलाएं योनी से रक्त स्राव का अनुभव करती हैं। ज्यादातर महिलाएं प्रथम तिमाही में योनी से रक्त स्राव का अनुभव करती हैं जो एक सामान्य बात है। इसके लिए आपको चिंता करने की कोई जरुरत नहीं है जब तक रक्त स्राव असामान्य न लगे। आइए हम आपको इसके बारे में विस्‍तार से जानकारी देते हैं।

 

पहली तिमाही में रक्‍तस्राव

गर्भावस्था के दौरान प्रथम तिमाही में रक्त स्राव सामान्य होता है लेकिन जब यह असामान्य महसूस हो तो हो सकता है कि  यह गर्भपात होने का संकेत दे रहा हो। ऐसे में योग्य डॉक्टर से तुरंत मिलें और अपनी जांच करवाएं। असामान्य रक्त स्राव न सिर्फ गर्भपात बल्कि कोई और समस्या का संकेत दे सकता है, इसलिए इस मामले को ज्यादा हल्के से न लें।


गर्भावस्था के दौरान मासिक धर्म यानि मासिक स्राव बंद हो चुका होता है इसलिए अगर इस दौरान रक्त स्राव हो तो इसे मासिक धर्म वाला रक्त स्राव समझने की भूल न करें और अगर ऐसा है तो चिकित्‍सक की सलाह लें।


अगर आपकी योनी से रक्त स्राव पहली तिमाही यानि पहले तीन महीनो के भीतर होता है तो चिंता की उतनी बात नहीं होती, जब तक रक्त स्राव असामान्य न हो लेकिन अगर दूसरी तिमाही यानि तीन से 6 महीनो में रक्त स्राव हो यां अंतिम तीन महीनो में रक्त स्राव हो तो समस्या हो सकती है।

 

पहली तिमाही के बाद रक्‍तस्राव

  • गर्भधारण करने के 28 वें महीने में रक्त स्राव होता है तो इसे हल्के से बिलकुल नहीं लेना चाहिए। यह अत्यंत हीं गंभीर स्थिति होती है और तुरंत उपचार न दिए जाने पर यह उस महिला के लिए जानलेवा भी हो सकता है।
  • जब पहली तिमाही में रक्त स्राव होता है तो इसे कुछ मामलों में एक्टोपिक प्रेग्नन्सी के संकेत के रूप में भी देखा जाता है।
  • एक्टोपिक प्रेग्नन्सी में गर्भ यानि भ्रूण महिला के गर्भाशय के बाहर स्थित हो जाता है और उस महिला को गर्भवती होने का एहसास दिलाता रहता है।
  • रक्त स्राव गर्भपात का नहीं बल्कि इस बात का संकेत देता है कि  आपकी कुछ दवाइयों से अथवा किसी तरह के संक्रमण से या अन्य किसी कारण से आपके गर्भ में पल रहे बच्चे को तकलीफ पहुंच रही है और जल्द कुछ नहीं किया गया तो आपको गर्भपात भी हो सकता है।


अतः गर्भावस्था के दौरान यदि पहले तिमाही में रक्त स्राव हो तो ज्यादा घबराएं नहीं लेकिन उसके बाद रक्त स्राव हो, खासकर अंतिम हफ़्तों में, तो इसे नजरअंदाज न करें और चिकित्‍सक से जरूर मिलें।

 

 

Read More Articles On Pregnacy Care In Hindi

Disclaimer

इस जानकारी की सटीकता, समयबद्धता और वास्तविकता सुनिश्चित करने का हर सम्भव प्रयास किया गया है हालांकि इसकी नैतिक जि़म्मेदारी ओन्लीमायहेल्थ डॉट कॉम की नहीं है। हमारा आपसे विनम्र निवेदन है कि किसी भी उपाय को आजमाने से पहले अपने चिकित्सक से अवश्य संपर्क करें। हमारा उद्देश्य आपको जानकारी मुहैया कराना मात्र है।

Related News